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इस राज्य में मनरेगा मजदूरों को मिलती है सबसे ज्यादा दिहाड़ी, ये राज्य हैं फिसड्डी, देखिए पूरी लिस्ट - MNREGA wages - MNREGA WAGES

MGNREGA Daily Wage : यूपीए सरकार की ओर से 2005 में शुरू की गई योजना ग्रामीण इलाकों में अनस्किलड लेबर के लिए रोजगार का सहारा बनी है. इस योजना के जरिए लाखों लोगों को रोजगार मिलता है. केंद्र सरकार ने इस साल मनरेगा श्रमिकों की दिहाड़ी में इजाफा किया था. इससे लाखों मनरेगा मजदूरों को लाभ मिला था. क्या आप जानते हैं कि किस राज्य में सबसे अधिक मजदूरी इस योजना के तहत मिलती है और कौन से राज्य हैं जहां सबसे कम दिहाड़ी मिलती हैं. पढ़ें

मनरेगा के तहत किस राज्य में कितनी दिहाड़ी मिलती है ?
मनरेगा के तहत किस राज्य में कितनी दिहाड़ी मिलती है ? (Etv Bharat)

By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Aug 13, 2024, 7:03 PM IST

Updated : Aug 13, 2024, 7:20 PM IST

शिमला:ग्रामीण लोगों के लिए मनरेगा एक आय का जरिया है. ग्रामीण इलाकों में रोजगार की कमी इस मनरेगा को आकर्षक बनाती हैं. यूपीए सरकार 2005 में नरेगा एक्ट लेकर आई थी. इसका उद्देश्य देश के गरीब परिवारों की आर्थिक स्थिति को मजबूत कर आर्थिक असमानता को दूर करना था. नरेगा में लोगों को 5 किलोमीटर के दायरे में रोजगार उपलब्ध करवाना था. नरेगा के जरिए अकुशल क्षेत्रों के श्रमिकों को 100 दिन का रोजगार सुनिश्चित किया गया है. देश के सभी राज्यों में संचालित ग्राम पंचायत स्तर पर इस योजना का लाभ लोगों को दिया जाता है.

मनरेगा के लिए केंद्र की सरकार की ओर से बजट के जरिए केंद्रीय निधि जारी की जाती है. योजना के तहत राज्यों में मजदूरी अलग-अलग होती है. कई राज्यों में मनरोगा मजदूरी 300 के पार है, जबकि कुछ राज्यों में 250 रुपये से भी कम हैं. मजदूरी का निर्धारण राज्य सरकारें अपने हिसाब से तय करती हैं. इस सबसे अधिक पारिश्रमिक हरियाणा में हैं. यहां मजदूर को 374 रुपये और सबसे कम अरुणाचल में 234 रुपये पारिश्रमिक मिलता है.

केंद्र सरकार ने बढ़ाई थी मजदूरी

2024-25 के लिए केंद्र सरकार ने मनरेगा श्रमिकों की मजदूरी बढ़ाई थी. केंद्र सरकार के निर्णय के बाद गोवा में मजदूरी दर पर 10.56 प्रतिशत की अधिकतम वृद्धि देखी गई थी. यूपी और उत्तराखंड में सबसे कम 3.04 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज हुई थी. नई मजदूरी दरें 1 अप्रैल से लागू हैं. सरकार के इस निर्णय से राज्यों में मनरेगा श्रमिकों की औसत मजदूरी 261 से बढ़कर 289 रुपये प्रतिदन हो गई है. सरकार के इस फैसले से देश के लाखों श्रमिकों को लाभ मिला है. मनरेगा योजना के माध्यम से अब तक देश के करोड़ों नागरिकों को लाभ मिल चुका है. आज हम आपको बताएंगे कि मनरेगा योजना में किस राज्य के किस श्रमिकों को कितना वेतन मिलता है. इसकी राज्यवार सूची भी नीचे दी गई है.

मार्च 2024 के अंत में भारत सरकार के ग्रामीण विकास मंत्रालय की ओर से राज्यों में मनरेगा के तहत मिलने वाली मजदूरी या दिहाड़ी बढ़ाई गई थी. जिसके आंकड़े इस प्रकार हैं.

क्र.सं. राज्य

मनरेगा मजदूरी 2023-24 (रु.)

मनरेगा मजदूरी 2024-25 (रु)

बढ़ोतरी प्रतिशत में
1. आंध्र प्रदेश 272 300 10.3
2. अरुणाचल प्रदेश 224 234 4.5
3. असम 238 249 4.6
4. बिहार 228 245 7.5
5. छत्तीसगढ 221 243 10.0
6. गोवा 322 356 10.6
7. गुजरात 256 280 9.4
8. हरियाणा 357 374 4.8
9. हिमाचल प्रदेश

गैर अनुसूचित क्षेत्र: 224

अनुसूचित क्षेत्र: 280

वर्तमान में 300
10. जम्मू और कश्मीर 244 259 6.1
11। लद्दाख 244 259 6.1
12. झारखंड 228 245 7.5
13. कर्नाटक 316 349 10.4
14. केरल 333 346 3.9
15. मध्य प्रदेश 221 243 10.0
16. महाराष्ट्र 273 297 8.8
17. मणिपुर 260 272 4.6
18. मेघालय 238 259 8.8
19. पंजाब 303 322 6.3
20. नगालैंड 224 234 4.5
21. ओडिशा 237 254 7.2
22. मिजोरम 249 266 6.8
23. राजस्थान 255 266 4.3
24. सिक्किम 236 249 5.5
25. तमिलनाडु 294 319 8.5
26. तेलंगाना 272 300 10.3
27. त्रिपुरा 226 242 7.1
28. उतार प्रदेश। 230 237 3.0
29. उत्तराखंड 230 237 3.0
30. पश्चिम बंगाल 237 250 5.5
31. अंडमान और निकोबार

अंडमान: 311

निकोबार: 328

अंडमान: 329

निकोबार: 347

5.7 32. दादरा और नगर हवेली और दमन और दीव 297 324 9.1 33. लक्षद्वीप 304 315 3.6 34. पुदुचेरी 294 319 8.5

मनरेगा की धारा 6(1) के अनुसार, केंद्र सरकार अधिसूचना के जरिए मनरेगा की मजदूरी दर तय कर सकती है. मजदूरी दर हर साल 1 अप्रैल से मान्य होती है, लेकिन प्रत्येक राज्य/संघ शासित प्रदेश केंद्र सरकार की ओर से अधिसूचित मजदूरी दर से अधिक मजदूरी दे सकती है.

हिमाचल में 300 रुपये दिहाड़ी

हिमाचल प्रदेश में सुखविंदर सिंह सुक्खू की सरकार ने चालू वित्त वर्ष में मनरेगा की दिहाड़ी को 1 अप्रैल से 240 रुपये से बढ़ाकर 300 रुपये कर दिया है. ऐसे में ग्रामीणों को मनरेगा के तहत काम करने पर घर द्वार पर 300 रुपये दिहाड़ी मिल रही है. अब 14 दिन काम करने पर 4200 रुपये खाते में आएंगे. चालू वित्त वर्ष में हिमाचल में चार महीनों में ग्रामीणों ने 144 लाख कार्य दिवस अर्जित कर लिए हैं.

मार्च 2024 में सरकार ने बढ़ाई थी मनरेगा की मजदूरी (ग्रामीण विकास मंत्रालय)

मनरेगा में होते हैं ये काम

मनरेगा के जरिए ग्रामीणों इलाकों में जलसंरक्षण, संचयन, कुंओं, बाबड़ियों का निर्माण, बाढ़ नियंत्रण के कार्य जैसे तटबंधों का निर्माण और मरम्मत, छोटे बांधों का निर्माण, भूमि को समतल करना और पौधा रोपण, रास्तों का निर्माण, भूमि कटाव को रोकने के लिए रिटेनिंग वॉल का निर्माण जैसे कार्य किए जाते हैं. इस योजना के तहत कुल मिलाकर 266 तरह के कार्य किए जा सकेत हैं. इन कार्यों के लिए प्रतिदिन के हिसाब से मजदूरी तय होती है. ये मजदूरी सीधे कामगार के बैंक खाते में आती है. मनरेगा में रोजगार के लिए सबसे पहले जॉब कार्ड बनवाना पड़ता है. आप घर बैठे ऑनलाइन इस जॉब कार्ड को बनवा सकते हैं.

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Last Updated : Aug 13, 2024, 7:20 PM IST

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