श्रीनगर: पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (PDP) की वरिष्ठ नेता और हजरतबल विधानसभा की उम्मीदवार आसिया नक्श ने 2016 की अशांति के दौरान पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ़्ती के निर्देशों का बचाव किया है. उन्होंने स्पष्ट किया कि मुफ़्ती ने पुलिस को भीड़ को तितर-बितर करने के लिए छर्रे इस्तेमाल करने का अधिकार दिया था, न कि गोला-बारूद के इस्तेमाल की इजाजत.
नक्श ने कहा कि उस अवधि के दौरान एक ही दिन में 16 पुलिस स्टेशनों को आग के हवाले कर दिए जाने के बावजूद, छर्रे इस्तेमाल करने और गोलियों से बचने का निर्देश जारी रहा.
'दूध और टॉफी' वाले बयान पर बात
ईटीवी भारत से बातचीत में नक्श ने मुफ्ती द्वारा अशांति के दौरान दिए गए विवादित 'दूध और टॉफी' वाले बयान पर बात की. उन्होंने बताया, "महबूबा मुफ्ती ने मौजूदा हालात के संदर्भ में यह टिप्पणी की थी, लेकिन इसके पीछे कुछ तथ्य थे, जिन्हें वह प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान उजागर नहीं कर सकीं."
नक्श ने याद किया कि मुफ्ती के निर्देश का उद्देश्य गैर-घातक उपायों का उपयोग करके भीड़ को नियंत्रित करना था, ताकि पुलिस स्टेशनों पर हमलों के बाद भी कम से कम मौतें सुनिश्चित की जा सकें. अपने चुनावी कैंपेन के दौरान नक्श 2016 की घटना और महबूबा मुफ्ती की टिप्पणियों को युवा वोटर्स के साथ संबोधित कर रही हैं, जिनमें से कई अभी भी पीडीपी प्रमुख से नाराज हैं.
ईटीवी भारत से बात करतीं आसिया नक्श (ETV Bharat) नेशनल कॉन्फ्रेंस के साथ प्रतिद्वंद्विता
हजरतबल में अपने चुनावी अभियान के बारे में नक्श ने सलमान सागर के नेतृत्व वाली नेशनल कॉन्फ्रेंस (NC) के साथ पारंपरिक प्रतिद्वंद्विता पर जोर दिया. उन्होंने कहा, "मैं चुनावी लड़ाई को कभी हल्के में नहीं लेती. हमने हमेशा एनसी को अपने प्राथमिक प्रतिद्वंद्वी के रूप में देखा है और इसे एक चुनौती के रूप में लिया है. मुझे उम्मीद है कि लोग एक बार फिर पीडीपी पर अपना भरोसा जताएंगे."
नक्श ने पिछले एक दशक में जनता और राजनीतिक नेताओं के बीच बढ़ती दूरी को भी ध्यान में रखा और कहा कि चुनाव प्रचार के दौरान मतदाताओं से फिर से जुड़ना 'शुरुआत से शुरू करने' जैसा लगता है. उन्होंने परिसीमन से उत्पन्न चुनौतियों पर प्रकाश डाला, जिसने हजरतबल निर्वाचन क्षेत्र की सीमाओं को फिर से परिभाषित किया, जिससे यह और अधिक विस्तृत हो गया.
उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने कथित तौर पर अपने राजनीतिक लाभ के लिए इसके विस्तार में भूमिका निभाई है. उल्लेखनीय है कि हजरतबल निर्वाचन क्षेत्र में 13 उम्मीदवार चुनाव लड़ रहे हैं. यहां मुख्य मुकाबला पारंपरिक प्रतिद्वंद्वियों, पीडीपी और एनसी के बीच है. यहां 112,541 रजिस्टर वोटर्स हैं, जिनमें 56,175 पुरुष और 56,366 महिलाएं हैं. इस निर्वाचन क्षेत्र में कोई भी थर्ड-जेंडर मतदाता पंजीकृत नहीं है.
यह भी पढ़ें- क्यों इतनी खास है बांग्लादेश की हिलसा मछली, जिससे मोहम्मद यूनुस सरकार ने हटाया बैन? जानें