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केजरीवाल की टिप्पणी के बाद पूर्वांचली वोटर्स को साधने में जुटी भाजपा, क्या 'AAP' का चुनावी गणित बिगड़ जाएगा ? जानिए सब कुछ - DELHI PURVANCHAL VOTERS CONTROVERSY

दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल द्वारा यूपी-बिहार के लोगों पर की गई टिप्पणी को भाजपा ने पूर्वांचली वोटरों के अपमान से जोड़ा.

पूर्वांचली वोटर्स को साधने के लिए प्लान सेट
पूर्वांचली वोटर्स को साधने के लिए प्लान सेट (Etv Bharat)

By ETV Bharat Delhi Team

Published : Jan 10, 2025, 6:11 PM IST

नई दिल्ली:दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए बीते दिनों तारीख के ऐलान के बाद शुक्रवार को अधिसूचना भी जारी हो गई है. साथ ही दिल्ली की कड़कड़ाती ठंड में सियासी गर्मी तेज हो चुकी है. इसमें आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल द्वारा वोटर लिस्ट में नाम कटवाने व जुड़वाने के मुद्दे पर यूपी-बिहार के लोगों पर टिप्पणी ने आग में घी डालने जैसा काम किया है.

दिल्ली में रहते हैं 30 फीसद पूर्वांचल के लोग:आम आदमी पार्टी ने सभी सीटों पर प्रत्याशियों के नाम का सबसे पहले ऐलान कर बाबा साहेब आंबेडकर के मुद्दे पर दलित वोट बैंक को एकजुट करने में जुटी. फिर उसके बाद AAP महिलाओं, बुजुर्गों, पुजारियों और जाट वोट बैंक को साधने में जुट गए. लेकिन, इसी बीच अरविंद केजरीवाल द्वारा यूपी-बिहार से लोगों को लाकर अवैध वोट बनवाने के बयान को बीजेपी ने लपकते हुए जिस तरह हमला बोला है, आम आदमी पार्टी भी असहज महसूस कर रही है. सुबह इस मुद्दे पर संजय सिंह सफाई देने पार्टी कार्यालय में आए तो उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी ने 70 सीटों के लिए जो प्रत्याशियों के नाम का ऐलान किया है उनमें 12 पूर्वांचल से ताल्लुक रखते हैं.

''दिल्ली में पूर्वांचल के रहने वाले लोगों की तादाद 30 फीसद के करीब है. पूर्वांचल मतदाताओं को अभी तक बीजेपी अपना वोट बैंक समझती रही है, लेकिन वर्ष 2013 में आम आदमी पार्टी की सरकार बनने के बाद मुफ्त बिजली, पानी और अन्य ऐलान के बाद सीन बदल गया. अपने विधायकों के जरिए आम आदमी पार्टी ने अनधिकृत कॉलोनी में जहां पूर्वांचल के लोगों के अच्छी खासी तादाद है वहां पर सुविधा प्रदान करने का काम किया, जिससे यूपी-बिहार के लोग AAP को वोट देने लगे और आम आदमी पार्टी का वोट बैंक बढ़ता गया. पिछले दिनों अरविंद केजरीवाल, संजय सिंह दिल्ली में दशकों से रहने के बाद भी पूर्वांचल वालों के जीवन स्तर को सुधारने में जो काम किया, उसका ब्योरा देने के लिए सामने आए थे.''-मनोज मिश्रा, राजनीतिक विश्लेषक

दिल्ली की 70 में से 17 सीटें पूर्वांचली बहुल:दिल्ली की 70 विधानसभा सीटों में से 17 विधानसभा सीटों में पूर्वांचल के लोग बड़ी संख्या में रहते हैं. एक अन्य राजनीतिक विश्लेषक व वरिष्ठ पत्रकार रविशंकर तिवारी बताते हैं, इन विधानसभा में जीत-हार का फैसला करने में पूर्वांचल मतदाताओं की भूमिका अहम है. इन विधानसभा में पूर्वी उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड से संबंधित वोटरों की संख्या 30 से 50 फीसद तक है. पश्चिमी दिल्ली के विकासपुरी, साउथ वेस्ट दिल्ली के द्वारका, मटियाला, उत्तरी दिल्ली के मॉडल टाउन, बुराड़ी, करावल नगर, सीमापुरी, बादली, किराड़ी, नांगलोई, उत्तम नगर, पटपड़गंज, लक्ष्मी नगर, संगम विहार, बदरपुर, पालम, देवली, राजेंद्र नगर, जैसी विधानसभा सीट है, जहां पर पूर्वांचल के मतदाताओं की संख्या अधिक है.

पिछले चुनावों में पूर्वांचली वोटर्स ने दिया था केजरीवाल का साथ: वर्ष 2015 और 2020 विधानसभा चुनाव में अधिकांश पूर्वांचल मतदाताओं का समर्थन कांग्रेस व भाजपा की तुलना में आम आदमी पार्टी को अधिक मिला था. इसलिए इस बार भी केजरीवाल द्वारा दिए गए बयान को लपकते हुए बीजेपी पूर्वांचल के वोट बैंक को सहेज कर रखने और उनका वोट बैंक पाने की कोशिश में जुट गई है. वहीं, भाजपा द्वारा भी इस बार सियासी समीकरण बदलने का प्रयास किया जा रहा है.

पूर्वांचली वोटर्स को साधने के लिए BJP का प्लान: दिल्ली चुनाव आयोग द्वारा जारी मतदाता सूची के अनुसार दिल्ली में कुल 1.55 करोड़ मतदाताओं में करीब 40 से 42 लाख के आसपास पूर्वांचल से ताल्लुक रखते हैं. इसी का नतीजा है कि आम आदमी पार्टी को टक्कर देने में जुटी दिल्ली बीजेपी ने भी पूर्वांचल मोर्चा को महत्वपूर्ण जिम्मेदारी दे रखी है. पूर्वांचल मतदाताओं को यकीन दिलाने के लिए कि सरकार द्वारा जारी सभी मुफ्त योजनाएं जारी रहेगी और उन्हें आसानी से मिल सकेगी. बीते रविवार को रोहिणी के परिवर्तन रैली में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि दिल्ली में जनहित से संबंधित सभी योजनाएं जारी रहेंगी, उसमें पारदर्शिता लाई जाएगी.

"हमें भूलना नहीं है आज फिर से अरविंद केजरीवाल ने यह कहा कि यूपी-बिहार के लोग फर्जी वोट बनवा रहे हैं. केजरीवाल फर्जी आप हो सकते हो, फर्जी वादे आपके और आम आदमी पार्टी के हो सकते हैं. उत्तर प्रदेश और बिहार के लोग ना तो फर्जी विचार रखते हैं और ना तो कभी अपने मन की शुद्धता में कमी आने देते हैं. उत्तर प्रदेश, बिहार के लोग दिल्ली आए हैं जो प्रवासी लोग दिल्ली आए हैं, उन्होंने अपनी मेहनत से पहचान बनाई है. जो यहां रहता है उसका वोट बनाना आवश्यक है.''-मनोज तिवारी, भाजपा सांसद

भाजपा ने पूर्वांचल नेताओं को मैदान में उतारा:शुक्रवार को आम आदमी पार्टी के खिलाफ दिल्ली बीजेपी ने भी पूर्वांचल मोर्चा के अध्यक्ष संतोष ओझा, सांसद मनोज तिवारी समेत मोर्चा के अन्य पदाधिकारी व पूर्वांचल नेताओं को मैदान में उतार दिया है. इसकी शुरुआत केजरीवाल के घर के बाहर विरोध प्रदर्शन से हो गई है. बीजेपी पूर्वांचल मोर्चा आने वाले दिनों में जगह-जगह चाय की चर्चा की तरह लिट्टी-चोखा पर चर्चा करेंगे.

केजरीवाल ने यूपी-बिहार के लोगों को क्या कहा?बता दें, विधानसभा चुनाव के लिए तैयार वोटर लिस्ट में आप समर्थकों का नाम काटने की शिकायत कर चुके आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने गुरुवार शाम को यूपी-बिहार वालों को लेकर जो बयान दिया है, यह तूल पकड़ लिया है. केजरीवाल ने कहा, "एक लाख की छोटी सी विधानसभा सीट है, उसमें पिछले 15 दिन में 13 हज़ार नए वोटर बनने की एप्लिकेशन कहां से आ गई? ज़ाहिर तौर पर उत्तर प्रदेश और बिहार से ला लाकर, आस-पास के स्टेट से लाकर फर्जी वोट बनवा रहे हैं ये लोग" उन्होंन इस दौरान भाजपा प्रत्याशी प्रवेश वर्मा के नाम का जिक्र किया था. लेकिन, अब आम आदमी पार्टी के इस आरोप को बीजेपी ने पूर्वांचली वोटरों से अपमान से जोड़ा है.

बता दें कि दिल्ली में विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान हो चुका है. 5 फरवरी को सभी 70 सीटों पर वोटिंग होनी है. वहीं, 8 फरवरी को नतीजे घोषित किए जाएंगे. दिल्ली विधानसभा का मौजूदा कार्यकाल 23 फरवरी को खत्म हो रहा है.

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