दिल्ली

delhi

ETV Bharat / bharat

पूजा खेडकर की अग्रिम जमानत याचिका खारिज, दिल्ली पुलिस को जांच का दायरा बढ़ाने का आदेश - PuJA KHEDKAR BAIL PLEA REJECTED

पूर्व प्रशिक्षु आईएएस अधिकारी पूजा खेडकर की अग्रिम जमानत याचिका को दिल्ली की अदालत ने खारिज कर दिया. साथ ही दिल्ली पुलिस को जांच का दायरा बढ़ाने का आदेश दिया.

UPSC ने बुधवार को पूजा की उम्मीदवारी को रद्द कर दिया.
UPSC ने बुधवार को पूजा की उम्मीदवारी को रद्द कर दिया. (Etv Bharat)

By ETV Bharat Delhi Team

Published : Aug 1, 2024, 4:40 PM IST

Updated : Aug 1, 2024, 5:00 PM IST

नई दिल्लीःदिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने यूपीएससी परीक्षा में धोखाधड़ी करने के आरोप में आरोपी पूर्व प्रशिक्षु आईएएस अधिकारी पूजा खेडकर को अग्रिम जमानत देने से इनकार कर दिया. न्यायाधीश देवेंद्र कुमार जंगला ने मामले में जांच का दायरा बढ़ाते हुए दिल्ली पुलिस को आदेश दिया कि वह जांच करे कि क्या अन्य लोगों ने बिना पात्रता के ओबीसी और दिव्यांगों के तहत कोटे का लाभ उठाया है?

अदालत ने कहा है कि दिल्ली पुलिस को यह भी जांच करनी चाहिए कि क्या यूपीएससी के अंदर से किसी ने खेडकर की मदद की है? अदालत ने यूपीएससी को अन्य उम्मीदवारों के बारे में भी जानकारी जुटाने का निर्देश दिया, जिन्होंने गैर-क्रीमी लेयर से संबंधित हुए बिना ओबीसी कोटे का लाभ उठाया और यहां तक ​​कि जिन्होंने बेंचमार्क विकलांग व्यक्तियों के लिए कोटा का धोखाधड़ी से लाभ उठाया.

31 जुलाई को कोर्ट ने सुरक्षित रखा था फैसलाः जज ने बुधवार को अग्रिम जमानत याचिका पर दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद आदेश सुरक्षित रख लिया था. खेडकर ने दावा किया था कि उन्हें "गिरफ्तारी का खतरा" है. सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष के साथ-साथ यूपीएससी की ओर से पेश वकील ने याचिका का विरोध करते हुए कहा था कि इन्होंने व्यवस्था को धोखा दिया है. UPSC के वकील ने दावा किया कि इस व्यक्ति ने कानून और कानूनी प्रक्रिया का दुरुपयोग किया है. आगे भी कानून का दुरुपयोग करने की संभावना बनी हुई है. यह एक साधन संपन्न व्यक्ति है.

31 जुलाई को UPSC ने की थी बड़ी कार्रवाईःसंघ लोक सेवा आयोग ने बड़ी कार्रवाई करते हुए पूजा की उम्मीदवारी को रद्द कर दिया था. साथ ही भविष्य की सभी परीक्षाओं और सेलेक्शन से स्थायी रूप से भी वंचित कर दिया है. पूजा सिविल सेवा परीक्षा-2022 (CSE-2022) की प्रोविजनली रेकेमंड कैंडिडेट थीं. UPSC ने आरोप लगाया कि पूजा खेडकर ने न केवल अपना नाम बल्कि अपने माता-पिता का नाम भी आवेदन में बदल दिया, यही वजह है कि सिस्टम इस गड़बड़ी का पता नहीं लगा सका.

आयोग ने कहा कि हम एसओपी को और मजबूत करने की प्रक्रिया में है, ताकि भविष्य में इस तरह का मामला दोबारा न हो. इससे पहले यूपीएससी ने पहले खेडकर के खिलाफ कथित तौर पर फर्जी पहचान बताकर सिविल सेवा परीक्षा में शामिल होने के लिए पुलिस में मामला दर्ज कराया था.

क्या है आरोपः दरअसल, 2022 बैच की ट्रेनी आईएएस पूजा खेडकर पर सत्ता के दुरुपयोग और फर्जी सर्टिफिकेट के जरिए आरक्षण का लाभ लेने जैसे कई आरोप लगे हैं. केंद्र सरकार ने पूजा खेडकर के खिलाफ सभी आरोपों की जांच के लिए एक सदस्यीय पैनल का गठन किया था. पैनल ने 27 जुलाई को अपनी जांच रिपोर्ट कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग को सौंप दी थी.

पूजा खेडकर पर आरोप है कि उसने यूपीएससी परीक्षा में बैठने से पहले खुद को ओबीसी श्रेणी का बताते हुए एक फर्जी प्रमाणपत्र जमा किया था. जाति आरक्षण का लाभ लेने के लिए घुमंतु जनजाति-3 श्रेणी के तहत भर्ती किया गया था, जो केवल बंजारी समुदाय के लिए आरक्षित है. पूजा खेडकर पर ये भी आरोप है कि उन्होंने फर्जी विकलांगता प्रमाण पत्र के लिए आवेदन किया था.

यह भी पढ़ेंःUPSC का बड़ा एक्शन, पूजा खेडकर की उम्मीदवारी रद्द, भविष्य में भी नहीं दे सकेंगी एग्जाम

यह भी पढ़ेंःपूजा खेडकर का एक और फर्जीवाड़ा! दिव्यांगता प्रमाण पत्र के लिए दिया था फर्जी राशन कार्ड और पता

यह भी पढ़ेंःखत्म नहीं हो रहा IAS पूजा खेडकर का फर्जीवाड़ा...अब मेडिकल सर्टिफिकेट पर उठे सवाल, डॉक्टरों की भी होगी जांच

Last Updated : Aug 1, 2024, 5:00 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details