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उत्तरकाशी में फिर डोली धरती, लोगों ने महसूस किये भूकंप के झटके

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Published : Feb 5, 2022, 10:19 AM IST

उत्तरकाशी जिले में भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं. इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 3.6 मेग्नीट्यूड मापी गई है. हालांकि, भूकंप से किसी तरह के जानमाल के नुकसान की खबर नहीं है.

Earthquake in uttarkashi
उत्तरकाशी में फिर डोली धरती.

उत्तरकाशी: प्रदेश के उत्तरकाशी जिले में आज तड़के सुबह 3.15 बजे भूकंप के झटके महसूस किए गए. इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 3.6 मेग्नीट्यूड मापी गई. हालांकि, अभी तक भूकंप से किसी तरह के जानमाल के नुकसान की खबर नहीं है.

आपको बता दें कि लोगों ने कुछ सेकेंड तक भूकंप के झटके महसूस किए. इसका केंद्र जिला मुख्यालय उत्तरकाशी से 10 किलोमीटर दूर था. उत्तरकाशी आपदा कंट्रोल रूम के अनुसार फिलहाल कहीं से भी भूकंप के कारण कोई जानमाल के नुकसान की सूचना नहीं है. अफसरों को अलर्ट रहने को कहा गया है. क्योंकि, उत्तरकाशी भूकंप की दृष्टि से बेहद संवेदनशील है. आपको बता दें कि लोगों ने कुछ सेकेंड तक भूकंप के झटके महसूस किए. इसका केंद्र जिला मुख्यालय उत्तरकाशी से 10 किलोमीटर दूर था.

पढ़ें- आज उत्तराखंड आएंगे राहुल गांधी, किच्छा में किसानों से करेंगे संवाद

क्यों आता है भूकंप
वैज्ञानिकों के अनुसार हिमालय रीजन में इंडियन प्लेट 40 से 50 मिलीमीटर सालाना गति कर रही है और जब दो या दो से अधिक प्लेटें आपस में टकराती हैं या फिर प्लेटों के बीच घर्षण होता है तो उससे उस क्षेत्र में तनाव पैदा है. जिस वजह से भूकंप आता है.

साथ ही जो भूकंप हिमालय क्षेत्रों में आते हैं उसे टेस्टानिक भूकंप कहते हैं और सामान्यतः हिमालय क्षेत्रों में जो भूकंप आते हैं, उसका केंद्र बिंदु जमीन की सतह से 10 से 20 किलोमीटर नीचे होता है.

उत्तरकाशी: प्रदेश के उत्तरकाशी जिले में आज तड़के सुबह 3.15 बजे भूकंप के झटके महसूस किए गए. इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर पैमाने पर 3.6 मेग्नीट्यूड मापी गई. हालांकि, अभी तक भूकंप से किसी तरह के जानमाल के नुकसान की खबर नहीं है.

आपको बता दें कि लोगों ने कुछ सेकेंड तक भूकंप के झटके महसूस किए. इसका केंद्र जिला मुख्यालय उत्तरकाशी से 10 किलोमीटर दूर था. उत्तरकाशी आपदा कंट्रोल रूम के अनुसार फिलहाल कहीं से भी भूकंप के कारण कोई जानमाल के नुकसान की सूचना नहीं है. अफसरों को अलर्ट रहने को कहा गया है. क्योंकि, उत्तरकाशी भूकंप की दृष्टि से बेहद संवेदनशील है. आपको बता दें कि लोगों ने कुछ सेकेंड तक भूकंप के झटके महसूस किए. इसका केंद्र जिला मुख्यालय उत्तरकाशी से 10 किलोमीटर दूर था.

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क्यों आता है भूकंप
वैज्ञानिकों के अनुसार हिमालय रीजन में इंडियन प्लेट 40 से 50 मिलीमीटर सालाना गति कर रही है और जब दो या दो से अधिक प्लेटें आपस में टकराती हैं या फिर प्लेटों के बीच घर्षण होता है तो उससे उस क्षेत्र में तनाव पैदा है. जिस वजह से भूकंप आता है.

साथ ही जो भूकंप हिमालय क्षेत्रों में आते हैं उसे टेस्टानिक भूकंप कहते हैं और सामान्यतः हिमालय क्षेत्रों में जो भूकंप आते हैं, उसका केंद्र बिंदु जमीन की सतह से 10 से 20 किलोमीटर नीचे होता है.

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