रुद्रपुर: दहेज उत्पीड़न के मामले में कार्रवाई से बचने के लिए आरोपी विदेश भागने की फिराक में था. लेकिन पुलिस मुस्तैदी से आरोपी ऐसा नहीं कर पाया और उधमसिंह नगर पुलिस ने आरोपी को दिल्ली एयरपोर्ट से गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी के खिलाफ उत्तराखंड पुलिस पहले ही लुकआउट नोटिस (Look Out Notice) जारी कर चुकी थी, जिसकी वजह से ही वो पकड़ा गया.
दहेज उत्पीड़न का ये पूरा मामला रुद्रपुर के ट्रांजिट कैंप थानाक्षेत्र का है. रुद्रपुर की रहने वाली महिला ने बीती 24 फरवरी को यूपी के सहारनपुर जिले के रहने वाले अपने पति हरविंदर सिंह के खिलाफ ट्रांजिट कैंप थाने में दहेज उत्पीड़न का मुकदमा दर्ज कराया था. पीड़िता ने अपनी तहरीर में बताया कि उसका पति दहेज के लिए आए दिन उसके साथ मारपीट करता है और साथ ही उसका मानसिक उत्पीड़न भी करता है.
पढ़ें- हल्द्वानी: पति से हुई अनबन तो गर्भवती ने खाया जहर, इलाज के दौरान महिला और शिशु की मौत
पुलिस ने पत्नी की तहरीर पर आरोपी पति को महिला हेल्पलाइन में बुलाया था, ताकि दोनों पक्षों को समझाया जा सके. लेकिन पुलिस की तरफ से दो बार कॉल जाने के बाद भी आरोपी हेल्पलाइन रुद्रपुर में पेश नहीं हुआ. इसी बीच पीड़िता को कहीं से जानकारी मिली कि आरोपी पुलिस की कार्रवाई से बचने के लिए विदेश भागने की फिराक में है.
पीड़िता ने इसकी जानकारी पुलिस को दी. पुलिस ने देरी किए बिना आरोपी के खिलाफ एक अप्रैल को मुकदमा दर्ज लुकआउट नोटिस जारी कर दिया. महिला की बात सही साबित हुई और आरोपी चार अप्रैल को दिल्ली एयरपोर्ट से विदेश भागने की फिराक में था, लेकिन एयरपोर्ट पर ही इमिग्रेशन ने उसे पकड़ लिया और उत्तराखंड पुलिस को मामले की सूचना दी.
पढ़ें- हल्द्वानी मेडिकल कॉलेज के सामने कूड़े में मिला भ्रूण, गर्भपात कर फेंकने की आशंका
उत्तराखंड पुलिस की एक टीम दिल्ली गई और आरोपी को हिरासत में लेने के बाद रुद्रपुर लेकर आई. पुलिस ने बताया कि आरोपी कुवैत में ट्रांसपोर्ट कंपनी में काम करता है और ये वहीं जाने की फिराक में था. आरोपी ने कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया गया है.
क्या होता है लुकआउट सर्कुलर: एलओसी यानी लुकआउट सर्कुलर को लुकआउट नोटिस के नाम भी जाना जाता है. यह एक सर्कुलर है, जो अधिकारियों की तरप से ये सुनिश्चित करने पर जारी किया जाता है कि आपराधिक मामले में नामित व्यक्ति देश से भाग न जाए. आम तौर पर एसओसी तब जारी किया जाता है कि जब कोई व्यक्ति अपने खिलाफ दर्ज किसी विशेष मामले में फरार हो और यह डर हो कि वह व्यक्ति देश छोड़ कर भाग सकता है.