काशीपुर: कोविड-19 के मामलों में लगातार इजाफा देखने को मिल रहा है. ऐसे में एहतियातन काशीपुर क्षेत्र में अचानक हुई मौत के बाद शवों का पोस्टमार्टम करने से पहले कोरोना सैंपल जांच के लिए भेजा रहा है. जिसके चलते शव को दो से तीन दिन तक मोर्चरी में रखना पड़ रहा है. वहीं, गर्मी के कारण शवों को सुरक्षित रखने के लिए बर्फ की सिल्ली का प्रयोग किया जा रहा है. जबकि, काशीपुर राजकीय चिकित्सालय ने शवों को सुरक्षित रखने के लिए डीप फ्रीजर की मांग की है.
बता दें कि काशीपुर में स्वास्थ्य विभाग द्वारा कोरोना संक्रमण के दौरान अचानक कारणों से हुई मौत के बाद शवों का पोस्टमार्टम बिना कोरोना जांच रिपोर्ट के नहीं कराया जा रहा है. इस दौरान पड़ रही भीषण गर्मी में शव को दो से तीन दिन तक मोर्चरी में बिना डीप फ्रीजर के सुरक्षित रखना टेड़ी खीर साबित हो रहा है. क्योंकि, स्वास्थ्य विभाग शव का सैंपल कोरोना जांच के लिए भेजता है, जिसकी रिपोर्ट दो से तीन दिन में आ रही है. इस दौरान पुलिस व परिजन शव को सुरक्षित रखने के लिए बर्फ की सिल्ली का इस्तेमाल कर रहे हैं. ऐसे में मृतक के परिजनों को शव सुरक्षित रखने के लिए दिन में दो से तीन बार बर्फ की सिल्ली खरीद कर लानी पड़ रही है.
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काशीपुर के राजकीय चिकित्सालय के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ. पीके सिन्हा ने बताया पोस्टमार्टम हाउस में डीप फ्रीजर की आवश्यकता है. क्योंकि कोरोना सैंपल रिपोर्ट आने में काफी समय लग जाता है. कोरोना रिपोर्ट आने के बाद जब पोस्टमार्टम करने जाते हैं तो शव सड़ रहा होता है. ऐसे में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है, बावजूद इसके स्वास्थ विभाग इस समस्या को लेकर गंभीर नहीं है. सूत्रों के मुताबिक, पोस्टमार्टम हाउस को सैनेटाइज तक नहीं कराया जा रहा है. इससे संक्रमण फैलने का खतरा हर समय बना रहता है. ऐसे में स्वास्थ्य विभाग के द्वारा पोस्टमार्टम हाउस में उच्चाधिकारियों से डीप फ्रीजर की मांग की है.