काशीपुर: बीते कुछ दिनों पहले एक फैक्ट्री के जीएम के साथ हुई ठगी के मामले में पुलिस के हाथ बड़ी सफलता लगी है. पुलिस ने ठगी के मामले में एक महिला समेत दो आरोपियों को धर दबोचा है. पकड़े गये आरोपियों के पास से पौने आठ लाख रुपए, मोबाइल फोन, लैपटॉप, एटीएम कार्ड, आधार कार्ड तथा फोटो पहचान-पत्र समेत अन्य सामान भी बरामद हुआ है. जबकि, इस मामले में दो अन्य दो आरोपी फरार चल रहे हैं.
दरअसल, काशीपुर में मुरादाबाद रोड पर स्थित सूर्या रोशनी लिमिटेड के महाप्रबंधक राजीव सिंघल ने बीते दिनों पुलिस को तहरीर दी कि उनके मोबाइल पर 20 फरवरी एक अज्ञात महिला का फोन आया था. जिसने अपना नाम रितु बताते हुए कहा कि वह आयकर विभाग नोएडा से बोल रही है. तहरीर में राजीव सिंघल ने बताया कि फोन करने वाली महिला ने उनसे कहा कि उन्होंने ऑनलाइन मार्केटिंग वाली कंपनियों पर छापेमारी की है. इन कंपनियों के ऑनलाइन ट्रांजेक्शन में बहुत बड़ा फर्जीवाड़ा मिला है. साथ ही इस मामले में इनकम टैक्स को इनके विरुद्ध साक्ष्य भी मिले हैं.
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इसके बाद से इस महिला के साथियों ने सूर्या रोशनी लिमिटेड के महाप्रबंधक को फोन कर उसे आयकर टैक्स की रेड से बचाने के एवज में पैसे देने की बात कही. जिसके बाद आरोपियों ने अलका सिंह नाम की महिला के गाजियाबाद स्थित आंध्र बैंक के खाते में करीब 20 लाख रुपये डलवा दिए.
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कुछ समय बाद राजीव सिंघल को अपने ठगे जाने का अहसास हुआ तो उन्होंने सूर्या पुलिस चौकी को मामले की जानकारी दी. राजीव की तहरीर पर कुंडा थाना पुलिस ने बीते 14 सितंबर को पूर्वी दिल्ली के सोनिया विहार के रहने वाले विकास गर्ग, गौतम बुद्ध नगर के रहने वाले बृजेश कुमार, शाहदरा के संतोष कुमार, गौतमबुद्ध नगर के बृजेश कुमार, इंदिरापुरम की अलका सिंह के खिलाफ आईटी एक्ट और धोखाधड़ी का केस दर्ज किया. जिसके बाद पुलिस ने मामले में आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए एक टीम गठित की.
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जिसके बाद पुलिस ने कानपुर के रावतपुर की रहने वाली जैनब परवीन और इंदिरापुरम के रहने वाले ऋषि वाजपेयी को गाजियाबाद से गिरफ्तार किया. पुलिस की पूछताछ में पता चला कि अलका के नाम से जैनब और विकास गर्ग के नाम से ऋषि वाजपेई घटना को अंजाम दे रहे थे. पुलिस ने पकड़े गये आरोपियों से पौने 8 लाख रुपये, 10 मोबाइल, 3 लैपटॉप, 23 पहचान पत्र, 3 पेनड्राइव, 14 एटीएम कार्ड, 10 चेक बुक व 4 नोटबुक बरामद की है.