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जंगली सुअर ने मां-बेटी को बनाया शिकार, रिहायशी इलाकों में बढ़ रहा खतरा

रविवार को जंगली सुअर ने मां और बेटी को गंभीर रूप से घायल कर दिया था. जिसके बाद ग्रामीणों ने प्रशासन से घायलों को मुआवजा दिए जाने और जंगली सुअरों से जल्द निजात दिलाने की मांग की है.

जंगली सूअर के हमले से मां-बेटी घायल
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Published : Nov 4, 2019, 9:33 AM IST

प्रतापनगर: ओखला गांव में रविवार को एक जंगली सुअर ने मां-बेटी पर हमला करके दोनों को घायल कर दिया था. जिसके बाद दोनों को एम्बुलेंस की सहायता से इलाज के लिए सीएचसी लंबगांव लाया गया. जहां डॉक्टरों ने बेटी के सिर में 32 और उसकी मां के सिर में 34 टांके लगाने के बाद दोनों को वापस भेज दिया.

बता दें कि रविवार को जंगली सुअर ने मां और बेटी को गंभीर रूप से घायल कर दिया था. उधर ग्रामीणों का कहना है कि, पिछले कई दिनों से इलाके में जंगली सुअरों का आतंक है. जिसके कारण स्थानीय लोगों ने खेत की तरफ जाना बंद कर दिया है. ग्रामीणों का कहना है कि प्रशासन को इस विषय में अवगत किया गया है, जिसके बाद सुअर पकड़ने के लिए टीम भेजी गई है, लेकिन ये टीम सिर्फ सड़कों पर गश्त करती रहती है, आगे की कोई कार्रवाई नहीं करती.

जंगली सूअर के हमले से मां-बेटी घायल

ये भी पढ़ें: विकासनगर: कोरूवा गांव में 45 साल बाद हुई थाती-माटी देवी की पूजा, ये है मान्यता

वहीं, स्थानीय लोगों का कहना है कि टीम ने अभी तक एक भी सुअर नहीं पकड़ा है. लोगों का कहना है कि गांव में जंगली सुअरों का आतंक काफी बढ़ गया है, जिससे उनके खेतों को नुकसान तो हो ही रहा है साथ ही लोगों पर भी खतरा मंडरा रहा है. वहीं, ग्रामीणों ने प्रशासन से घायलों को उचित मुआवजा दिए जाने और जंगली सुअरों के आतंक से जल्द निजात दिलाने की मांग की है.

प्रतापनगर: ओखला गांव में रविवार को एक जंगली सुअर ने मां-बेटी पर हमला करके दोनों को घायल कर दिया था. जिसके बाद दोनों को एम्बुलेंस की सहायता से इलाज के लिए सीएचसी लंबगांव लाया गया. जहां डॉक्टरों ने बेटी के सिर में 32 और उसकी मां के सिर में 34 टांके लगाने के बाद दोनों को वापस भेज दिया.

बता दें कि रविवार को जंगली सुअर ने मां और बेटी को गंभीर रूप से घायल कर दिया था. उधर ग्रामीणों का कहना है कि, पिछले कई दिनों से इलाके में जंगली सुअरों का आतंक है. जिसके कारण स्थानीय लोगों ने खेत की तरफ जाना बंद कर दिया है. ग्रामीणों का कहना है कि प्रशासन को इस विषय में अवगत किया गया है, जिसके बाद सुअर पकड़ने के लिए टीम भेजी गई है, लेकिन ये टीम सिर्फ सड़कों पर गश्त करती रहती है, आगे की कोई कार्रवाई नहीं करती.

जंगली सूअर के हमले से मां-बेटी घायल

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वहीं, स्थानीय लोगों का कहना है कि टीम ने अभी तक एक भी सुअर नहीं पकड़ा है. लोगों का कहना है कि गांव में जंगली सुअरों का आतंक काफी बढ़ गया है, जिससे उनके खेतों को नुकसान तो हो ही रहा है साथ ही लोगों पर भी खतरा मंडरा रहा है. वहीं, ग्रामीणों ने प्रशासन से घायलों को उचित मुआवजा दिए जाने और जंगली सुअरों के आतंक से जल्द निजात दिलाने की मांग की है.

Intro:प्रतापनगर
जंगली सूअरों का आतंकBody:प्रतापनगर
जंगली सूअरों का आतंक
मामला प्रताप नगर के ओखला गांव का है जहां कल जंगली सूअर ने मां बेटी को किया घायल घायल अवस्था में दोनों मां बेटी को 108 सेवा की मदद से सीएचसी लंबगांव लाया गया जहां डॉक्टरों ने बेटी के सर पर 32 से 34 टांके लगाए व लगभग 1 महीने तक ट्रीटमेंट करने को कहा और अस्पताल से छुट्टी कर दी वहीं ग्रामीणों का कहना है कि कई सालों से जंगली सूअरों का आतंक है जिस कारण ग्रामीणों ने खेती करना बंद कर दिया ग्रामीणों द्वारा डीएम को पत्र लिखे जाने के बाद सूअरों को मारने की टीम गांव में भेजी गई लेकिन टीम सिर्फ सड़कों तक ही घूमती रही जिसके कारण एक भी सूअर पकड़ा या मारा नहीं गया आज सुअरों का आतंक इस कदर बढ़ गया है कि खेतों को नुकसान करने के साथ-साथ जनहानि पर उतारू हो गए ग्रामीणों ने डीएफओ टिहरी व डीएम टिहरी से मांग की कि घायलों को उचित मुआवजा दिया जाए वह जंगली सोरों के आतंक से ग्रामीणों को निजात दिलाई जाएConclusion:प्रतापनगर
सुअरों का आतंक
ग्रामीणों ने DM से घायलों को उचित मुआवजा व सूअरों के आतंक से निजात दिलाने की की मांग
बाइट वन दरोगा
बाइट डाक्टर
बाइट घायल बेटी
बाइट प्रधान ओखला
बाइट ग्रामीण
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