रुद्रप्रयाग: 11वें ज्योर्तिलिंग भगवान केदारनाथ की पंचमुखी चल विग्रह उत्सव डोली अपनी शीतकालीन गद्दी स्थल ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ से केदारनाथ धाम के लिए रवाना हो गई है. इस दौरान डोली का दर्शन करने के लिए हजारों श्रद्धालु मंदिर में मौजूद रहे. रविवार को शाम साढ़े सात बजे क्षेत्रपाल भैरवनाथ की ढाई घंटे की विशेष पूजा अर्चना के साथ रुद्राभिषेक किया गया था. बता दें कि 9 मई को भगवान केदारनाथ के कपाट सुबह 5 बजकर 35 मिनट पर आम श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए जाएंगे.
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सोमवार सुबह 7 बजे पंचकेदार गद्दी स्थल में भगवान केदारनाथ की विशेष पूजा-अर्चना की गई. रावल भीमाशंकर की मौजूदगी में धाम के लिए नियुक्त मुख्य पुजारी केदार लिंग आराध्य का श्रृंगार कर पूजा-अर्चना की गई. इसके बाद बाबा केदार की पंचमुखी भोगमूर्ति को गर्भगृह से उठाकर मंदिर परिसर में विराजमान किया गया. वहीं डोली को शीतकालीन गद्दी स्थल ओंकारेश्वर मंदिर की परिक्रमा कराई गई. इस पूरे कार्यक्रम के बाद बाबा की डोली केदारनाथ के लिये रवाना हुई.
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इस दौरान आर्मी बैंड की मधुर धुनों पर स्थानीय लोग और श्रद्धालु जमकर झूमे. सोमवार को बाबा केदार की डोली फाटा में प्रथम रात्रि प्रवास करेगी. मंगलवार को बाबा केदार की डोली दूसरे रात्रि प्रवास के लिये गौरीकुंड पहुंचेगी. इसके बाद तीसरे रात्रि प्रवास के लिए 8 मई रात को डोली केदारनाथ धाम पहुंचेगी. जिसके बाद 9 मई को सुबह 5 बजकर 35 मिनट पर भगवान केदारनाथ के कपाट आम श्रद्धालुओं के खोल दिए जाएंगे. अगले 6 महीने तक भक्त केदारनाथ धाम में बाबा के दर्शन कर सकेंगे.