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रुद्रप्रयाग: मारपीट के मामले में तीनों दोषियों को 6-6 महीने की सजा

रुद्रप्रयाग में अगस्त्यमुनि के गंगानगर में पड़ोस में रहने वाले परिवार के साथ मारपीट के मामले में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने दोषियों को सजा सुनाई है. तीनों दोषियों को धारा 323 में व धारा 504 में दोषी पाया गया है.

Rudraprayag Agastyamuni fight with neighbours
मारपीट के मामले में तीनों दोषियों को सुनाई गई सजा.
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Published : Nov 19, 2020, 11:23 AM IST

रुद्रप्रयाग: अगस्त्यमुनि के गंगानगर में पड़ोस में रहने वाले परिवार के साथ मारपीट के मामले में दोषियों को सजा सुना दी गई है. मामले में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने तीनों दोषियों को सजा सुनाई है. दोषियों द्वारा पड़ोस में रहने वाले परिवार के साथ मारपीट कर गंभीर चोट पहुंचाने के साथ उन्हें जान से मारने की धमकी दी गई थी.

न्यायालय में दोनों पक्षों की सुनवाई पूरी होने के बाद मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट शहजाद अहमद वाजिद ने दर्ज मामले में अगस्त्यमुनि के गंगानगर निवासी आरोपी रामलाल राज, राजेश राज और वचन देवी को भारतीय दंड संहिता की धारा 323, 504 और 506 (मारपीट कर जान से मारने की धमकी) और 325 (जानबूझकर गंभीर चोट पहुंंचाने) में दर्ज मामले में दोषी पाया. उन्होंने तीनों दोषियों को धारा 323 में 6-6 माह के कठोर कारावास व पांच-पांच सौ रुपये अर्थदंड व धारा 504 में तीन-तीन माह के कठोर कारावास व पांच-पांच सौ रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई.

यह भी पढ़ें-MLA दुष्कर्म प्रकरण: जांच से संतुष्ट नहीं एक पक्ष, इसलिए केस ट्रांसफर हुआ पौड़ी- IG

दोनों मामलों में अर्थदंड जमा न करने पर पांच-पांच दिन की अतिरिक्त साधारण सजा भुगतनी होगी. जबकि धारा 506 में दोषियों को एक-एक वर्ष का कठोर कारावास व पांच-पांच सौ रुपये अर्थदंड व धारा 325 में दो-दो वर्ष का कठोर कारावास व एक-एक हजार रुपये का अर्थदंड की सजा सुनाई गई. अर्थदंड जमा न करने पर 15-15 दिन जेल में अतिरिक्त रहना होगा.

सहायक अभियोजन अधिकारी उदय सिंह जगवाण ने बताया कि सभी सजाएं एक साथ चलेंगी. विवेचना के दौरान जेल में बिताई गई अवधि भी मूल सजा में शामिल की गई है. पीड़ित द्वारा अगस्त्यमुनि थाने में एफआईआर दर्ज कराई गई थी, जिसकी विवेचना में पुलिस ने आरोपियों को दोषी पाते हुए मामला कोर्ट को भेज दिया था.

रुद्रप्रयाग: अगस्त्यमुनि के गंगानगर में पड़ोस में रहने वाले परिवार के साथ मारपीट के मामले में दोषियों को सजा सुना दी गई है. मामले में मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने तीनों दोषियों को सजा सुनाई है. दोषियों द्वारा पड़ोस में रहने वाले परिवार के साथ मारपीट कर गंभीर चोट पहुंचाने के साथ उन्हें जान से मारने की धमकी दी गई थी.

न्यायालय में दोनों पक्षों की सुनवाई पूरी होने के बाद मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट शहजाद अहमद वाजिद ने दर्ज मामले में अगस्त्यमुनि के गंगानगर निवासी आरोपी रामलाल राज, राजेश राज और वचन देवी को भारतीय दंड संहिता की धारा 323, 504 और 506 (मारपीट कर जान से मारने की धमकी) और 325 (जानबूझकर गंभीर चोट पहुंंचाने) में दर्ज मामले में दोषी पाया. उन्होंने तीनों दोषियों को धारा 323 में 6-6 माह के कठोर कारावास व पांच-पांच सौ रुपये अर्थदंड व धारा 504 में तीन-तीन माह के कठोर कारावास व पांच-पांच सौ रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई.

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दोनों मामलों में अर्थदंड जमा न करने पर पांच-पांच दिन की अतिरिक्त साधारण सजा भुगतनी होगी. जबकि धारा 506 में दोषियों को एक-एक वर्ष का कठोर कारावास व पांच-पांच सौ रुपये अर्थदंड व धारा 325 में दो-दो वर्ष का कठोर कारावास व एक-एक हजार रुपये का अर्थदंड की सजा सुनाई गई. अर्थदंड जमा न करने पर 15-15 दिन जेल में अतिरिक्त रहना होगा.

सहायक अभियोजन अधिकारी उदय सिंह जगवाण ने बताया कि सभी सजाएं एक साथ चलेंगी. विवेचना के दौरान जेल में बिताई गई अवधि भी मूल सजा में शामिल की गई है. पीड़ित द्वारा अगस्त्यमुनि थाने में एफआईआर दर्ज कराई गई थी, जिसकी विवेचना में पुलिस ने आरोपियों को दोषी पाते हुए मामला कोर्ट को भेज दिया था.

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