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पिछले 10 दिन से केदारनाथ में नहीं हुआ हिमपात, पिघलने लगी जमी बर्फ - Kedarnath Dham

ग्यारहवें ज्योतिर्लिंग बाबा केदारनाथ धाम में बर्फ पिघलने लगी है. पिछले दस दिन से धाम में बर्फबारी नहीं हुई है.

पिघलने लगी धाम में जमी बर्फ
पिघलने लगी धाम में जमी बर्फ
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Published : Jan 29, 2021, 4:53 PM IST

रुद्रप्रयाग: केदारनाथ मंदिर परिसर से इन दिनों बर्फ पिघल गई है. पिछले सप्ताह तक मंदिर परिसर में स्थित नंदी की मूर्ति तक बर्फ जमी थी. मौसम साफ होने के बाद बर्फ पिघल गई है. इसके अलावा मंदिर के पीछे की चोटियों पर जमी बर्फ भी कम हुई है. वहीं, पिछले दस दिन से धाम में बर्फबारी नहीं हुई है.

केदारनाथ धाम में पिछले वर्षों की तुलना में इस बार कम बर्फबारी हुई है. पिछले वर्ष तक धाम में इन दिनों 5 से 7 फीट तक बर्फ रहती थी. आज कल धाम में मात्र एक से डेढ़ फीट तक बर्फ है. इसके अलावा मंदिर के आसपास की बर्फ पूर्ण रूप से पिघल गई है. मंदिर परिसर में स्थित नंदी की मूर्ति पिछले सप्ताह तक बर्फ से ढकी थी. धाम में इन दिनों धूप खिलने से बर्फ पिघल गई है. अब धाम में कुछ स्थानों पर ही एक फीट तक बर्फ जमी है. पिछले दस दिन से धाम में बर्फबारी नहीं हुई है.

पिछले 10 दिन से केदारनाथ में नहीं हुआ हिमपात.

ये भी पढ़ें: केंद्रीय बजट को लेकर उत्तराखंड को है मोदी सरकार से ज्यादा उम्मीद

केदारनाथ धाम में बर्फ अगर इसी प्रकार पिघलती है तो फरवरी माह से धाम में पुनर्निर्माण कार्य दोबारा शुरू हो सकते हैं. नवंबर से धाम में सभी पुनर्निर्माण कार्य बंद हैं और एक भी मजदूर धाम में नहीं है. वहीं, शीतकाल में भी केदारनाथ धाम में स्वामी ललित जी महाराज भगवान भोले की साधना में लीन हैं. वे हर दिन सुबह बाबा के मंदिर की परिक्रमा करते हैं और पूजा-अर्चना करते हैं. कहा जाता है कि ग्रीष्मकाल के छह माह भगवान केदारनाथ की पूजा-अर्चना मनुष्यगण करते हैं. शीतकाल में देवगण बाबा की पूजा करते हैं. लेकिन स्वामी ललित महाराज ऐसे साधु हैं, जो पूरे साल बाबा के दरबार में उनकी साधना में लीन रहते हैं.

रुद्रप्रयाग: केदारनाथ मंदिर परिसर से इन दिनों बर्फ पिघल गई है. पिछले सप्ताह तक मंदिर परिसर में स्थित नंदी की मूर्ति तक बर्फ जमी थी. मौसम साफ होने के बाद बर्फ पिघल गई है. इसके अलावा मंदिर के पीछे की चोटियों पर जमी बर्फ भी कम हुई है. वहीं, पिछले दस दिन से धाम में बर्फबारी नहीं हुई है.

केदारनाथ धाम में पिछले वर्षों की तुलना में इस बार कम बर्फबारी हुई है. पिछले वर्ष तक धाम में इन दिनों 5 से 7 फीट तक बर्फ रहती थी. आज कल धाम में मात्र एक से डेढ़ फीट तक बर्फ है. इसके अलावा मंदिर के आसपास की बर्फ पूर्ण रूप से पिघल गई है. मंदिर परिसर में स्थित नंदी की मूर्ति पिछले सप्ताह तक बर्फ से ढकी थी. धाम में इन दिनों धूप खिलने से बर्फ पिघल गई है. अब धाम में कुछ स्थानों पर ही एक फीट तक बर्फ जमी है. पिछले दस दिन से धाम में बर्फबारी नहीं हुई है.

पिछले 10 दिन से केदारनाथ में नहीं हुआ हिमपात.

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केदारनाथ धाम में बर्फ अगर इसी प्रकार पिघलती है तो फरवरी माह से धाम में पुनर्निर्माण कार्य दोबारा शुरू हो सकते हैं. नवंबर से धाम में सभी पुनर्निर्माण कार्य बंद हैं और एक भी मजदूर धाम में नहीं है. वहीं, शीतकाल में भी केदारनाथ धाम में स्वामी ललित जी महाराज भगवान भोले की साधना में लीन हैं. वे हर दिन सुबह बाबा के मंदिर की परिक्रमा करते हैं और पूजा-अर्चना करते हैं. कहा जाता है कि ग्रीष्मकाल के छह माह भगवान केदारनाथ की पूजा-अर्चना मनुष्यगण करते हैं. शीतकाल में देवगण बाबा की पूजा करते हैं. लेकिन स्वामी ललित महाराज ऐसे साधु हैं, जो पूरे साल बाबा के दरबार में उनकी साधना में लीन रहते हैं.

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