ETV Bharat / state

राकेश्वरी मंदिर रांसी से शुरू हुई पौराणिक मनणामाई लोकजात यात्रा, ये है मान्यता

Inauguration of Mannamai Lok Jat Yatra आज से मनणामाई लोक जात यात्रा का विधिवत शुभारंभ हो गया है. इस यात्रा में करीब 25 श्रद्धालु हिस्सा ले रहे हैं. मनणामाई लोक जात यात्रा प्रथम रात्रि प्रवास के लिए पटूणी, द्वितीय रात्रि प्रवास के लिए दगला पहुंचेगी. तीसरे दिन लोक जात यात्रा मनणा धाम पहुंचेगी.

Mannamai Lok Jat Yatra
शुरू हुई पैराणिक मनणा माई लोकजात यात्रा
author img

By

Published : Jul 21, 2023, 4:00 PM IST

Updated : Jul 21, 2023, 4:25 PM IST

रुद्रप्रयाग: भेड़ पालकों की आराध्य देवी भगवती मनणामाई की लोक जात यात्रा राकेश्वरी मंदिर रांसी से शुरू हो गयी है. ये लोक जात यात्रा 24 जुलाई को मनणामाई धाम पहुंचेगी. पूजा-अर्चना के बाद लोक जात यात्रा राकेश्वरी मन्दिर रांसी के लिए वापस रवाना होगी. लोक जात यात्रा का राकेश्वरी मंदिर रांसी पहुंचना मौसम पर निर्भर करेगा. मगर मनणामाई लोक जात यात्रा की वापसी में सनियारा रात्रि प्रवास युगों से चली परम्परा के अनुसार आवश्यक माना गया है. लोक जात यात्रा में 25 श्रद्धालु मौजूद हैं.

Inauguration of Mannamai Lok Jat Yatra
लोक जात यात्रा की शुरुआत

शुक्रवार को राकेश्वरी मंदिर रांसी में विद्वान आचार्यों ने ब्रह्म बेला पर पंचाग पूजन के तहत अनेक पूजायें संपन्न कर भगवती राकेश्वरी व भगवती मनणामाई का आह्वान कर आरती उतारी. जिसके बाद भगवती मनणामाई की डोली का विशेष श्रृंगार कर भगवती मनणामाई की डोली ने राकेश्वरी मंदिर की परिक्रमा की. महिलाओं ने मांगल गीतों तथा ब्राह्मणों ने वेद ऋचाओं से भगवती मनणामाई की डोली को कैलाश के लिए रवाना किया. भगवती मनणामाई की लोक जात यात्रा के कैलाश रवाना होने पर रांसी गांव के ग्रामीणों ने मीलों दूर तक मनणामाई की लोक जात यात्रा को परम्परानुसार विदा किया.

Inauguration of Mannamai Lok Jat Yatra
मनणामाई मंदिर
पढ़ें- मनणा माई लोकजात यात्रा की तैयारियां शुरू

राकेश्वरी मंदिर के पुजारी भगवती प्रसाद भट्ट ने बताया कि भगवती मनणामाई भेड़ पालकों की आराध्य देवी मानी जाती हैं. युगों से परम्परा के अनुसार प्रति वर्ष मनणामाई की लोक जात यात्रा सावन मास में राकेश्वरी मन्दिर रासी से शुरू होती है. मनणा धाम में पूजा-अर्चना के बाद लोक जात यात्रा की राकेश्वरी मन्दिर रासी के लिए वापसी होती है. राकेश्वरी मन्दिर रासी पहुंचने पर लोक जात यात्रा का समापन होता है. राकेश्वरी मन्दिर समिति अध्यक्ष जगत सिंह पंवार ने बताया इस बार पण्डित ईश्वरी प्रसाद भट्ट मनणामाई लोक जात यात्रा की अगुवाई कर रहे हैं. 24 जुलाई को मनणामाई लोक जात यात्रा मनणा धाम पहुंचेगी.

Inauguration of Mannamai Lok Jat Yatra
पौराणिक है मनणामाई लोकजात यात्रा
पढ़ें- 97 साल की दादी के हौसले को सलाम, 15 हजार फीट की ऊंचाई पर हेमुकंड साहिब में टेका मत्था

बदरी-केदार मन्दिर समिति के पूर्व सदस्य शिव सिंह रावत ने बताया कि मनणामाई धाम रांसी गांव से लगभग 32 किमी दूर चौखम्बा की तलहटी व मदानी नदी के किनारे बसा है. मनणामाई तीर्थ सुरम्य मखमली बुग्यालों के मध्य विराजमान है. शिक्षाविद रवि भट्ट ने बताया मनणामाई धाम पहुंचने के लिए सनियारा, पटूणी, थौली, सीला समुन्दर, कुलवाणी यात्रा पड़ावों से पहुंचा जा सकता है. मनणामाई तीर्थ में हर भक्त के सभी मनोरथ पूर्ण होते हैं.

रुद्रप्रयाग: भेड़ पालकों की आराध्य देवी भगवती मनणामाई की लोक जात यात्रा राकेश्वरी मंदिर रांसी से शुरू हो गयी है. ये लोक जात यात्रा 24 जुलाई को मनणामाई धाम पहुंचेगी. पूजा-अर्चना के बाद लोक जात यात्रा राकेश्वरी मन्दिर रांसी के लिए वापस रवाना होगी. लोक जात यात्रा का राकेश्वरी मंदिर रांसी पहुंचना मौसम पर निर्भर करेगा. मगर मनणामाई लोक जात यात्रा की वापसी में सनियारा रात्रि प्रवास युगों से चली परम्परा के अनुसार आवश्यक माना गया है. लोक जात यात्रा में 25 श्रद्धालु मौजूद हैं.

Inauguration of Mannamai Lok Jat Yatra
लोक जात यात्रा की शुरुआत

शुक्रवार को राकेश्वरी मंदिर रांसी में विद्वान आचार्यों ने ब्रह्म बेला पर पंचाग पूजन के तहत अनेक पूजायें संपन्न कर भगवती राकेश्वरी व भगवती मनणामाई का आह्वान कर आरती उतारी. जिसके बाद भगवती मनणामाई की डोली का विशेष श्रृंगार कर भगवती मनणामाई की डोली ने राकेश्वरी मंदिर की परिक्रमा की. महिलाओं ने मांगल गीतों तथा ब्राह्मणों ने वेद ऋचाओं से भगवती मनणामाई की डोली को कैलाश के लिए रवाना किया. भगवती मनणामाई की लोक जात यात्रा के कैलाश रवाना होने पर रांसी गांव के ग्रामीणों ने मीलों दूर तक मनणामाई की लोक जात यात्रा को परम्परानुसार विदा किया.

Inauguration of Mannamai Lok Jat Yatra
मनणामाई मंदिर
पढ़ें- मनणा माई लोकजात यात्रा की तैयारियां शुरू

राकेश्वरी मंदिर के पुजारी भगवती प्रसाद भट्ट ने बताया कि भगवती मनणामाई भेड़ पालकों की आराध्य देवी मानी जाती हैं. युगों से परम्परा के अनुसार प्रति वर्ष मनणामाई की लोक जात यात्रा सावन मास में राकेश्वरी मन्दिर रासी से शुरू होती है. मनणा धाम में पूजा-अर्चना के बाद लोक जात यात्रा की राकेश्वरी मन्दिर रासी के लिए वापसी होती है. राकेश्वरी मन्दिर रासी पहुंचने पर लोक जात यात्रा का समापन होता है. राकेश्वरी मन्दिर समिति अध्यक्ष जगत सिंह पंवार ने बताया इस बार पण्डित ईश्वरी प्रसाद भट्ट मनणामाई लोक जात यात्रा की अगुवाई कर रहे हैं. 24 जुलाई को मनणामाई लोक जात यात्रा मनणा धाम पहुंचेगी.

Inauguration of Mannamai Lok Jat Yatra
पौराणिक है मनणामाई लोकजात यात्रा
पढ़ें- 97 साल की दादी के हौसले को सलाम, 15 हजार फीट की ऊंचाई पर हेमुकंड साहिब में टेका मत्था

बदरी-केदार मन्दिर समिति के पूर्व सदस्य शिव सिंह रावत ने बताया कि मनणामाई धाम रांसी गांव से लगभग 32 किमी दूर चौखम्बा की तलहटी व मदानी नदी के किनारे बसा है. मनणामाई तीर्थ सुरम्य मखमली बुग्यालों के मध्य विराजमान है. शिक्षाविद रवि भट्ट ने बताया मनणामाई धाम पहुंचने के लिए सनियारा, पटूणी, थौली, सीला समुन्दर, कुलवाणी यात्रा पड़ावों से पहुंचा जा सकता है. मनणामाई तीर्थ में हर भक्त के सभी मनोरथ पूर्ण होते हैं.

Last Updated : Jul 21, 2023, 4:25 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.