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पिथौरागढ़: कड़कड़ाती सर्दी में भी आदमखोर गुलदार की दहशत, ग्रामीण आतंकित

पिथौरागढ़ में गुलदार की दहशत दिन पर दिन बढ़ती ही जा रही है. लगातार हो रहे हमले से ग्रामीण डरे-सहमे हैं. वन विभाग ने भी गश्त बढ़ा दी है. साथ ही लोगों से सतर्क रहने को कहा है.

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आदमखोेर गुलदार से दहशत
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Published : Dec 28, 2020, 3:13 PM IST

Updated : Dec 28, 2020, 3:34 PM IST

पिथौरागढ़: जिले में आदमखोर गुलदारों का आतंक थमने का नाम नहीं ले रहा है. आलम ये है कि बरसात के बाद जिले में अब तक 7 लोगों को गुलदार ने अपना निवाला बना डाला है. साथ ही 10 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल भी हो चुके हैं. जिला मुख्यालय से सटे इलाकों के साथ ही बेरीनाग, देवलथल और डीडीहाट में गुलदार की आमद से लोग खौफजदा हैं. वहीं, एहतियातन वन विभाग ने प्रभावित इलाकों में गश्त बढ़ा दी है और गुलदार को पकड़ने के लिए जगह-जगह पिंजरे लगा दिये हैं. ग्रामीणों से सतर्क रहने की भी अपील की है.

गुलदार की दस्तक से दहशत

पढ़ें- पिथौरागढ़ः जंगल में मिला गुलदार का शव, छाती पर गोली के दो निशान

आम तौर पर पहाड़ों में गुलदार के हमले सितम्बर और अक्टूबर के महीने में होते हैं. लेकिन इस बार भारी ठंड के बीच गुलदार के हमलों में भारी इजाफा हुआ है. पिथौरागढ़ में बीते हफ्ते दो महिलाएं गुलदार का निवाला बनीं हैं. वन विभाग अब तक 3 आदमखोरों को मौत के घाट भी उतार चुका है. बावजूद इसके हमले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. माना जा रहा है कि गुलदार के लिए जंगली जानवरों के मुकाबले इंसान सबसे सॉफ्ट टारगेट हो गया है. ऐसे में शातिर गुलदार महिलाओं और बच्चों पर ही ज्यादा अटैक कर रहे हैं.

पिथौरागढ़ जिले का शायद ही कोई इलाका हो जहां आदमखोर गुलदार का खौफ न हो. केन्द्रीय वन एवं पर्यावरण मंत्रालय ने भी माना है कि गुलदारों की संख्या में खासा इजाफा हुआ है. इसी कारण हमले भी बढ़े हैं.

पिथौरागढ़: जिले में आदमखोर गुलदारों का आतंक थमने का नाम नहीं ले रहा है. आलम ये है कि बरसात के बाद जिले में अब तक 7 लोगों को गुलदार ने अपना निवाला बना डाला है. साथ ही 10 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल भी हो चुके हैं. जिला मुख्यालय से सटे इलाकों के साथ ही बेरीनाग, देवलथल और डीडीहाट में गुलदार की आमद से लोग खौफजदा हैं. वहीं, एहतियातन वन विभाग ने प्रभावित इलाकों में गश्त बढ़ा दी है और गुलदार को पकड़ने के लिए जगह-जगह पिंजरे लगा दिये हैं. ग्रामीणों से सतर्क रहने की भी अपील की है.

गुलदार की दस्तक से दहशत

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आम तौर पर पहाड़ों में गुलदार के हमले सितम्बर और अक्टूबर के महीने में होते हैं. लेकिन इस बार भारी ठंड के बीच गुलदार के हमलों में भारी इजाफा हुआ है. पिथौरागढ़ में बीते हफ्ते दो महिलाएं गुलदार का निवाला बनीं हैं. वन विभाग अब तक 3 आदमखोरों को मौत के घाट भी उतार चुका है. बावजूद इसके हमले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं. माना जा रहा है कि गुलदार के लिए जंगली जानवरों के मुकाबले इंसान सबसे सॉफ्ट टारगेट हो गया है. ऐसे में शातिर गुलदार महिलाओं और बच्चों पर ही ज्यादा अटैक कर रहे हैं.

पिथौरागढ़ जिले का शायद ही कोई इलाका हो जहां आदमखोर गुलदार का खौफ न हो. केन्द्रीय वन एवं पर्यावरण मंत्रालय ने भी माना है कि गुलदारों की संख्या में खासा इजाफा हुआ है. इसी कारण हमले भी बढ़े हैं.

Last Updated : Dec 28, 2020, 3:34 PM IST
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