कोटद्वार: कोरोना महामारी की वजह से सभी लोग अपने घरों में है. तो वहीं, ट्रक ड्राइवर अपनी जान की परवाह न करते हुए आम लोगों को जरूरत का सामान पहुंचा रहे हैं. लेकिन इनकी सुध लेने वाला कोई नहीं है. जब ईटीवी भारत ने ट्रक ड्राइवरों से बात की, तो उन्होंने अपना दर्द बयां किया.
ट्रक ड्राइवरों ने बताया कि वो अपनी जान हथेली पर रखकर घर से बाहर निकलते हैं. रास्ते में खाने-पीना की व्यवस्था उन्हें कहीं नहीं मिलती है. सरकार की ओर से भी उन्हें कोई आर्थिक सहायता नही मिल रही है. वो पिछले कुछ दिनों से लगातार सरकारी राशन और अन्य जरूरी सामान पहाड़ी क्षेत्रों के दूरस्थ गांवो में पहुंचा रहे हैं. ट्रक ड्राइवरों ने राज्य सरकार से मांग की है कि उनकी आर्थिक सहायता के साथ उनका बीमा कराया जाए, जिससे अगर इस महामारी के दौर में उन्हें कुछ हो जाता है, तो उनके न रहने के बाद उनके परिवार को किसी तरह की दिक्कतों का सामना न करना पड़े.
ये भी पढ़ें: प्रधानमंत्री मोदी ने दी देश को 20 लाख करोड़ के विशेष आर्थिक पैकेज की सौगात
ट्रक ड्राइवर राजेन्द्र सिंह ने बताया कि लॉकडाउन का तीसरा चरण भी खत्म होने वाला है. लेकिन आज तक उन्हें सरकार द्वारा किसी भी प्रकार की आर्थिक मदद नहीं मिली है, जिससे वो भूखा रह कर दिनभर ट्रक चलाना पड़ता है. उन्होंने राज्य सरकार से मांग की है कि रास्ते में ट्रक ड्राइवरों के खाने-पीने के लिए होटल को खुलवाया जाए.