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राष्ट्रीय राजमार्ग 534 दे रहा है हादसों को आमत्रंण, कोटद्वार से सतपुली तक 2 दर्जन से अधिक डेंजर जोन - पौड़ी न्यूज

राष्ट्रीय राजमार्ग 534 पर हादसों का खतरा मंडरा रहा है. 2 दर्जन से भी अधिक डेंजर जोन होने से कई बार मार्ग अवरुद्ध हो चुका है.

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Published : Jul 19, 2019, 6:28 AM IST

पौड़ीः राष्ट्रीय राजमार्ग 534 हादसों को न्योता दे रहा है. राष्ट्रीय राजमार्ग 534 पर कोटद्वार से सतपुली तक 2 दर्जन से भी अधिक डेंजर जोन हैं. जिन जगहों पर हरदम पहाड़ी से भूस्खलन और पत्थर गिरने का भय रहता है. कई बार इन जगहों पर मार्ग अवरुद्ध हो चुका है लेकिन राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारी ध्यान देने नहीं दे रहे हैं. वर्तमान में मार्ग पर पैराफिट, क्रैश बैरियर और साईनिंग बोर्ड नहीं लगाए गए हैं.

राष्ट्रीय राजमार्ग 534 पर बढ़ रहा है हादसों का खतरा.

यह देखा जा सकते है कि राष्ट्रीय राजमार्ग के कार्यालय में साइनिंग बोर्ड के ढेर किस तरह लगाए गए हैं. डेंजर जोन पर सुरक्षा की दृष्टि से कोई कार्य नहीं किया गया है. भले ही राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारी कहते हैं कि डेंजर जोन पर क्रैश बैरियर पैराफिट सूचना बोर्ड लगा दिए गए हैं.

बता दें कि राष्ट्रीय राजमार्ग 534 नजीबाबाद-बुआखाल पर कोटद्वार सतपुली के बीच में कई डेंजर जोन हैं. जहां जगहों पर हरदम दुर्घटना होने की संभावना बनी रहती है. इन जगहों पर पहाड़ी से भूस्खलन और पत्थर गिरने का भय भी बना रहता है.

कई जगह पर मार्ग संकरा होने के कारण भी दुर्घटनाओं की संभावना बनी रहती है. रोड सेफ्टी के नियमों के दौरान परिवहन विभाग की टीम ने राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारियों को बताया था कि कोटद्वार से लेकर सतपुली के बीच में 38 डेंजर जोन हैं लेकिन विभाग द्वारा अभी तक इन जोनों पर सुरक्षा की दृष्टि से कोई भी कार्य नहीं किया गया.

वहीं राष्ट्रीय राजमार्ग धुमाकोट के अवर अभियंता अरविंद जोशी का कहना है कि रोड सेफ्टी के दौरान हमारे पास 32 स्पॉट ऐसे थे कि जिसमें सुरक्षात्मक कार्य किए जाने थे. उन जगहों पर सतपुली से गुमखाल के बीच 10 किलोमीटर पर क्रैश बैरियर का कार्य पूर्ण कर लिया है.

यह भी पढ़ेंः डीएम के आदेश पर सिंचाई विभाग के अधिकारी रोका वेतन

जिन जगहों पर क्रैश बैरियर की आवश्यकता नहीं थी उन जगह पर पैराफिट बना दिए गये हैं. साइनीस बोर्ड का कार्य भी पूर्ण कर लिया गया है. मार्ग अवरुद्ध होने की स्थिति में कोटद्वार से लेकर सतपुली तक चार मशीनें लगाई गईं हैं.

जिसमें एक मशीन बहरगांव, एक दुगड्डा, एक पोकलैंड मशीन आमसोड और एक मशीन रिजर्व में कैंप कार्यालय कोटद्वार में खड़ी रहती है. सभी मशीनों को युद्ध स्तर पर डेंजर जोन पर कार्य करने के लिए तैयार किया रहता है.

साथ ही राष्ट्रीय राजमार्ग पर चार जगहों पर फोन नंबर सहित सूचना बोर्ड लगाए गए हैं. मार्ग अवरुद्ध होने पर कोई भी यात्री इन नंबरों पर मार्ग अवरुद्ध होने की सूचना दे सकता है.

पौड़ीः राष्ट्रीय राजमार्ग 534 हादसों को न्योता दे रहा है. राष्ट्रीय राजमार्ग 534 पर कोटद्वार से सतपुली तक 2 दर्जन से भी अधिक डेंजर जोन हैं. जिन जगहों पर हरदम पहाड़ी से भूस्खलन और पत्थर गिरने का भय रहता है. कई बार इन जगहों पर मार्ग अवरुद्ध हो चुका है लेकिन राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारी ध्यान देने नहीं दे रहे हैं. वर्तमान में मार्ग पर पैराफिट, क्रैश बैरियर और साईनिंग बोर्ड नहीं लगाए गए हैं.

राष्ट्रीय राजमार्ग 534 पर बढ़ रहा है हादसों का खतरा.

यह देखा जा सकते है कि राष्ट्रीय राजमार्ग के कार्यालय में साइनिंग बोर्ड के ढेर किस तरह लगाए गए हैं. डेंजर जोन पर सुरक्षा की दृष्टि से कोई कार्य नहीं किया गया है. भले ही राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारी कहते हैं कि डेंजर जोन पर क्रैश बैरियर पैराफिट सूचना बोर्ड लगा दिए गए हैं.

बता दें कि राष्ट्रीय राजमार्ग 534 नजीबाबाद-बुआखाल पर कोटद्वार सतपुली के बीच में कई डेंजर जोन हैं. जहां जगहों पर हरदम दुर्घटना होने की संभावना बनी रहती है. इन जगहों पर पहाड़ी से भूस्खलन और पत्थर गिरने का भय भी बना रहता है.

कई जगह पर मार्ग संकरा होने के कारण भी दुर्घटनाओं की संभावना बनी रहती है. रोड सेफ्टी के नियमों के दौरान परिवहन विभाग की टीम ने राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारियों को बताया था कि कोटद्वार से लेकर सतपुली के बीच में 38 डेंजर जोन हैं लेकिन विभाग द्वारा अभी तक इन जोनों पर सुरक्षा की दृष्टि से कोई भी कार्य नहीं किया गया.

वहीं राष्ट्रीय राजमार्ग धुमाकोट के अवर अभियंता अरविंद जोशी का कहना है कि रोड सेफ्टी के दौरान हमारे पास 32 स्पॉट ऐसे थे कि जिसमें सुरक्षात्मक कार्य किए जाने थे. उन जगहों पर सतपुली से गुमखाल के बीच 10 किलोमीटर पर क्रैश बैरियर का कार्य पूर्ण कर लिया है.

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जिन जगहों पर क्रैश बैरियर की आवश्यकता नहीं थी उन जगह पर पैराफिट बना दिए गये हैं. साइनीस बोर्ड का कार्य भी पूर्ण कर लिया गया है. मार्ग अवरुद्ध होने की स्थिति में कोटद्वार से लेकर सतपुली तक चार मशीनें लगाई गईं हैं.

जिसमें एक मशीन बहरगांव, एक दुगड्डा, एक पोकलैंड मशीन आमसोड और एक मशीन रिजर्व में कैंप कार्यालय कोटद्वार में खड़ी रहती है. सभी मशीनों को युद्ध स्तर पर डेंजर जोन पर कार्य करने के लिए तैयार किया रहता है.

साथ ही राष्ट्रीय राजमार्ग पर चार जगहों पर फोन नंबर सहित सूचना बोर्ड लगाए गए हैं. मार्ग अवरुद्ध होने पर कोई भी यात्री इन नंबरों पर मार्ग अवरुद्ध होने की सूचना दे सकता है.

Intro:summary राष्ट्रीय राजमार्ग 534 हादसों को न्योता दे रहा है राजमार्ग पर कोटद्वार से लेकर सतपुली तक कई डेंजर जोन है हरदम भूस्खलन और पहाड़ी से पत्थर गिरने से दुर्घटना का भय बना रहता है।


intro राष्ट्रीय राजमार्ग 534 पर कोटद्वार से सतपुली तक 2 दर्जन से भी अधिक डेंजर जोन है जिन जगहों पर हरदम पहाड़ी से भूस्खलन और पत्थर गिरने का भय रहता है कई बार इन जगहों पर मार्ग अवरुद्ध हो चुका है लेकिन राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारी ध्यान देने नही दे रहे हैं, वर्तमान में मार्ग पर पैराफिट, क्रैश बैरियर और साईनिग बोर्ड नहीं लगाए गए हैं वीडियो फुटेज में देखे जा सकते हैं कि राष्ट्रीय राजमार्ग के कार्यालय में साईनिग बोर्ड की ढेर किस तरह लगाई गई है, डेंजर जोन पर सुरक्षा की दृष्टि से कोई कार्य नहीं किया गया है, भले ही राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारी कहते हैं कि डेंजर जोन पर क्रैश बैरियर पैराफिट सूचना बोर्ड लगा दिए गए हैं।


Body:वीओ1- बता दें कि राष्ट्रीय राजमार्ग 534 नजीबाबाद बुआखाल पर कोटद्वार सतपुली के बीच में कई डेंजर जोन है बने हुए हैं जिन जगहों पर हरदम दुर्घटना होने की संभावना बनी रहती है इन जगहों पर पहाड़ी से भूस्खलन और पत्थर गिरने का वह भी बना रहता है कई जगह पर मार्ग संकरा होने के कारण भी दुर्घटनाओं की संभावना बनी रहती है रोड सेफ्टी के नियमों के दौरान परिवहन विभाग की टीम ने राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारियों को बताया गया था कि और कोटद्वार से लेकर सतपुली के बीच में 38 डेंजर जोन है लेकिन विभाग के द्वारा अभी तक इन जोनों पर सुरक्षा की दृष्टि से कोई भी कार्य नहीं किया गया।

वीओ2- वही राष्ट्रीय राजमार्ग धुमाकोट के अवर अभियंता अरविंद जोशी का कहना है कि रोड सेफ्टी के दौरान हमारे पास 32 स्पोर्ट्स ऐसे थे कि जिसमें सुरक्षात्मक कार्य किए जाने थे हमने उन जगहों पर सतपुली से गुमखाल के बीच 10 किलोमीटर पर क्रैश बैरियर का कार्य पूर्ण कर लिया है जिन जगहों पर क्रैश बैरियर की आवश्यकता नहीं थी उन जगह पर पैराफिट बना दिए गये है साइनीस बोर्ड का कार्य भी पूर्ण कर लिया गया है मार्ग अवरुद्ध होने की स्थिति में कोटद्वार से लेकर सतपुली तक चार मशीनें लगाई गई है जिसमें एक मशीन बहरगांव, एक दुगड्डा,एक पोकलैंड मशीन आमसोड, और एक मशीन रिजर्व में कैंप कार्यालय कोटद्वार में खड़ी रहती है सभी मशीनों को युद्ध स्तर पर डेंजर जोन पर कार्य करने के लिए तैयार किया रहता है साथ ही राष्ट्रीय राजमार्ग पर चार जगहों पर अपने फोन नंबर सहित सूचना बोर्ड लगाए गए हैं मार्ग अवरुद्ध होने पर कोई भी यात्री आ रहा गिरी नंबरों पर मार्ग अवरुद्ध होने की सूचना दे सकता है।

बाइट अरविंद जोशी अपर अभियंता nh धूमाकोट


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