पौड़ी: कर्मचारियों की लापरवाही सरकारी सिस्टम पर इतनी भारी पड़ रही है कि अब उन्हें अपनी जिम्मेदारियों और दायित्वों तक को तक पर रख दिया है. कर्मचारियों की लापरवाही ऐसी हो चुकी है कि देश की शान का प्रतीक माने जाने वाले राष्ट्रीय ध्वज को उसके निर्धारित समय और उतारने तक का वक्त नहीं रहा. कर्मचारियों की इसी लापरवाही पर डीएम ने संबंधित अधिकारी व कर्मचारियों के जवाब तलब किये हैं.
पौड़ी के जिला पंचायत में कर्मचारियों की एक ऐसी लापरवाही देखने को मिली जो कि लापरवाही की पराकाष्ठा को ही लांघ गयी. जिला पंचायत पौड़ी के कार्यालय में देर शाम तक भी तिरंगा कार्यालय के ध्वजदंड पर ही रह गया. भारत झंडा संहिता के अनुसार तिरंगा झंडा जहां तक संभव हो सूर्योदय और सूर्यास्त के बीच ही फहराया जाना चाहिए. 100 फुट या इससे ऊपर के पोल पर लगने वाले झंडे दिन रात फहराये जा सकता हैं. कार्यालयों में इस काम के लिए कर्मचारी तैनात होते हैं, लेकिन जिला पंचायत की यह लापरवाही डीएम डॉ आशीष चौहान ने पकड़ी.
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नव नियुक्त डीएम चौहान कार्यालय के निर्धारित समय के बाद भी आने कार्यालय का निरीक्षण कर रहे थे. डीएम कार्यालय का परिसर काफी फैला होने के चलते निरीक्षण देर शाम तक चला. तभी डीएम कार्यालय से सटे जिला पंचायत कार्यालय के तिरंगे पर नवनियुक्त डीएम डॉ आशीष चौहान की नजर पड़ी. अफसरों और कर्मचारियों की इस लापरवाही पर डीएम दंग रह गए. उन्होंने इस घोर लापरवाही पर राष्ट्रीय ध्वज अधिनियम के उल्लघंन पाए जाने के मामले में जिला पंचायत के अधिकारी व संबंधित कार्मिक का स्पष्टीकरण तलब किया है.