नैनीतालः उत्तराखंड उच्च न्यायालय की एकल पीठ ने आदिवासी राष्ट्रीय शिक्षा सोसायटी, नई दिल्ली द्वारा जारी शिक्षकों की नियुक्तियों की विज्ञप्तियों का क्रियान्वयन पर अग्रिम आदेशों तक रोक लगा दी है. एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय, कालसी, देहरादून में कार्यरत शिक्षक चंद्रमोहन शर्मा व सचिन चमोली सहित अन्य ने ग्रेजुएट व पोस्ट ग्रेजुएशन अध्यापकों के द्वारा दो याचिकाएं उत्तराखंड हाईकोर्ट में दायर कर आदिवासी राष्ट्रीय शिक्षा सोसायटी, नई दिल्ली द्वारा जारी शिक्षकों की नियुक्तियों की दो विज्ञप्तियों को निरस्त करने की मांग की गई.
याचिकाकर्ता की ओर से तर्क प्रस्तुत किया गया कि एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय कालसी, भारत सरकार के आदिवासी मामलों के मंत्रालय के आदेशों के तहत स्थापित है. साथ ही मंत्रालय के दिशा निर्देश के अनुसार ही विद्यालय का संचालन हेतु प्रदेश स्तर पर एकलव्य विद्यालय संगठन समिति स्थापित की गई है. समिति भी उत्तराखंड सरकार के आदिवासी सामाजिक सुधार मंत्रालय के अंतर्गत कार्यरत है और आवासीय विद्यालय में शैक्षिक व गैर शैक्षिक कमचारियों की नियुक्ति का अधिकार भी एकलव्य विद्यालय संगठन समिति में निहित है. परंतु जुलाई 2023 में केंद्र सरकार द्वारा स्थापित आदिवासी राष्ट्रीय शिक्षा सोसायटी, नई दिल्ली द्वारा भारत वर्ष के समस्त एकलव्य विद्यालयों में ट्रेंड ग्रेजुएट व पोस्ट ग्रेजुएट अध्यापकों की नियुक्ति किए जाने हेतु दो विज्ञप्तियों जारी की गई.
याचिकाकर्ता के मुताबिक, सभी प्रदेशों में जहां कहीं भी एकलव्य आवासीय विद्यालय स्थापित हैं, वहां पर प्रदेश स्तर की एकलव्य विद्यालय समितियां अचल ही स्थापित हैं, जिन्हें एकलव्य आवासीय विद्यालयों में शैक्षिक व गैर शैक्षिक कमचारियों की नियुक्ति का पूर्ण अधिकार है. याचिकाकर्ता के मुताबिक, आदिवासी राष्ट्रीय शिक्षा सोसायटी, नई दिल्ली की स्थापना का उद्देश्य एकलव्य आवासीय विद्यालयों के लिए ऐसी योजनाएं तैयार करना है. जिससे एकलव्य आवासीय विद्यालयों के प्रति जागरूकता बढ़े.
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याचिकाकर्ता के मुताबिक, आदिवासी राष्ट्रीय शिक्षा सोसायटी, नई दिल्ली ने केंद्र सरकार के दिशा निर्देशों की अवहेलना करते हुए उक्त विज्ञप्तियों जारी की है जिन्हें निरस्त किया जाना न्यायसंगत होगा. याचिकाकताओं की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता सीडी बहुगुणा उपस्थित हुए. याचिकाकर्ताओं की ओर से प्रस्तुत तर्कों व भारत सरकार के अधिवक्ता की ओर से प्रस्तुत तर्कों का गंभीर विचारण करने के बाद हाईकोर्ट ने एकलपीठ में उपस्थित न्यायमूर्ति पंकज पुरोहित ने आदिवासी राष्ट्रीय शिक्षा सोसायटी, नई दिल्ली द्वारा जारी शिक्षकों की नियुक्तियों की विज्ञप्तियों के कियावन्यन पर अग्रिम आदेशों तक रोक लगा दी है.