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हल्द्वानी: बिना पोस्टमॉर्टम शव ले जाने के मामले में स्वास्थ्य विभाग सख्त, जांच के आदेश

बिना पोस्टमॉर्टम के अस्पताल से शव ले जाने के मामले में स्वास्थ्य विभाग ने जांच शुरू कर दी है. स्वास्थ्य विभाग ने अस्पताल से इसके लिए स्पष्टीकरण मांगा है.

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बिना पोस्टमार्टम शव ले जाने के मामले में सख्त हुआ स्वास्थ्य विभाग
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Published : Oct 12, 2020, 7:30 PM IST

हल्द्वानी: कुछ दिनों पहले अल्मोड़ा के रहने वाले महिपाल ने अपने तीन बच्चों के साथ जहर खा लिया था. जिसकी इलाज के दौरान मौत हो गई थी. मौत के बाद उसके परिजन बिना पोस्टमॉर्टम के ही शव को अस्पताल से ले आये थे. अब इस मामले में स्वास्थ्य विभाग ने जांंच शुरू कर दी है. मांगे गये स्पष्टीकरण ने अस्पताल प्रशासन ने भी अपनी गलती स्वीकारी है. स्वास्थ्य विभाग ने इस मामले में अस्पताल प्रशासन से 24 घंटे के भीतर जवाब देने को कहा है.

जिलाधिकारी ने पूरे मामले की जांच मुख्य चिकित्सा अधिकारी को सौंपी है. मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने पूरे मामले की जांच शुरू करते हुए अस्पताल प्रबंधन से स्पष्टीकरण मांगा है. साथ ही 24 घंटे के भीतर जवाब पेश करने को कहा है. इस पूरे मामले में अस्पताल प्रबंधन ने अपनी गलती स्वीकार की है. अस्पताल प्रबंधन ने कहा कि डॉक्टरों और स्टाफ द्वारा इसमें लापरवाही बरती गई है. परिवार वाले चुपचाप शव को अंतिम संस्कार के लिए घर ले गये.

पढ़ें- हेली सेवा शुरू होने से केदारनाथ धाम में बढ़ी यात्रियों की भीड़

गौरतलब है कि अल्मोड़ा के रहने वाले महिपाल सिंह ने रामनगर में रहते हुए तीन बच्चों के साथ जहर खा लिया था. जिसमें तीनों बच्चों की हालत गंभीर बनी हुई है, जबकि महिपाल की इलाज के दौरान मौत हो गई थी. जिसके बाद परिवार वाले शनिवार को महिपाल के शव अस्पताल प्रबंधन को बिना बताए घर ले गये. घर ले जाकर उन्होंने महिपाल का अंतिम संस्कार भी कर दिया. जिसके बाद ये पूरा मामला गरमा गया.

हल्द्वानी: कुछ दिनों पहले अल्मोड़ा के रहने वाले महिपाल ने अपने तीन बच्चों के साथ जहर खा लिया था. जिसकी इलाज के दौरान मौत हो गई थी. मौत के बाद उसके परिजन बिना पोस्टमॉर्टम के ही शव को अस्पताल से ले आये थे. अब इस मामले में स्वास्थ्य विभाग ने जांंच शुरू कर दी है. मांगे गये स्पष्टीकरण ने अस्पताल प्रशासन ने भी अपनी गलती स्वीकारी है. स्वास्थ्य विभाग ने इस मामले में अस्पताल प्रशासन से 24 घंटे के भीतर जवाब देने को कहा है.

जिलाधिकारी ने पूरे मामले की जांच मुख्य चिकित्सा अधिकारी को सौंपी है. मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने पूरे मामले की जांच शुरू करते हुए अस्पताल प्रबंधन से स्पष्टीकरण मांगा है. साथ ही 24 घंटे के भीतर जवाब पेश करने को कहा है. इस पूरे मामले में अस्पताल प्रबंधन ने अपनी गलती स्वीकार की है. अस्पताल प्रबंधन ने कहा कि डॉक्टरों और स्टाफ द्वारा इसमें लापरवाही बरती गई है. परिवार वाले चुपचाप शव को अंतिम संस्कार के लिए घर ले गये.

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गौरतलब है कि अल्मोड़ा के रहने वाले महिपाल सिंह ने रामनगर में रहते हुए तीन बच्चों के साथ जहर खा लिया था. जिसमें तीनों बच्चों की हालत गंभीर बनी हुई है, जबकि महिपाल की इलाज के दौरान मौत हो गई थी. जिसके बाद परिवार वाले शनिवार को महिपाल के शव अस्पताल प्रबंधन को बिना बताए घर ले गये. घर ले जाकर उन्होंने महिपाल का अंतिम संस्कार भी कर दिया. जिसके बाद ये पूरा मामला गरमा गया.

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