नैनीताल: उधम सिंह नगर के प्राइमरी और जूनियर हाईस्कूलों को आपस में विलय करने के मामले में नैनीताल हाईकोर्ट से राज्य सरकार को बड़ा झटका लगा है. नैनीताल हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रमेश रंगनाथन की खंडपीठ ने स्कूलों को आपस में विलय करने वाले शासनादेश पर अंतरिम आदेश तक रोक लगाते हुए यथास्थिति बनाए रखने के आदेश दिए हैं.
आपको बता दें कि उधम सिंह नगर निवासी गणेश उपाध्याय ने नैनीताल हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर कर राज्य सरकार के आदेश को चुनौती दी है. जिसमें राज्य सरकार ने उधम सिंह नगर के 394 प्राथमिक स्कूल और जूनियर हाईस्कूलों का आपस में विलय कर दिया है. याचिकाकर्ता ने हाईकोर्ट में कहा कि शिक्षा के अधिकार अधिनियम 2009 के अंतर्गत जारी नियम में प्रावधान है कि कक्षा 1 से लेकर 5 तक के बच्चों का स्कूल उनके निवास स्थान से 1 किलोमीटर के दायरे में हो, जबकि कक्षा 6 से 8 तक के बच्चों को 3 किलोमीटर के दायरे में शिक्षा देना अनिवार्य है. हर स्कूल के लिए स्कूल प्रबंधन कमेटी का गठन किया जाना आवश्यक है. जो विद्यालय के क्रियाकलापों पर फैसले लेगी, लेकिन राज्य सरकार द्वारा इन सभी मानकों का पालन नहीं किया जा रहा है.
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मामले में याचिकाकर्ता ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की और सरकार के आदेश पर रोक लगाने की मांग की. वहीं मामले में सुनवाई करते हुए नैनीताल हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ ने मामले में राज्य सरकार के आदेश पर अंतरिम आदेशों तक रोक लगा दी है. साथ ही स्कूलों के विलय करने के मामले पर यथास्थिति बनाए रखने के आदेश दिए हैं.