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बागेश्वर में अवैध खड़िया खनन पर लगी रोक जारी, HC ने सरकार से मांगा शपथ पत्र

Bageshwar Chalk Mining पर लगी रोक को नैनीताल हाईकोर्ट ने जारी रखा है. डाफ्टी में अवैध खड़िया खनन मामले में हाईकोर्ट ने सरकार को शपथ पत्र पेश करने के आदेश दिए हैं. साथ ही सवाल भी पूछे हैं. Dhapti Village Bageshwar

Nainital High Court heard on Illegal Chalk Mining
नैनीताल हाईकोर्ट
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Sep 19, 2023, 6:11 PM IST

नैनीतालः बागेश्वर जिले के कांडा के डाप्टी में अवैध खड़िया खनन के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर नैनीताल हाईकोर्ट में सुनवाई हुई. मामले में मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी और न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ ने सरकार से पूछा है कि अवैध खनन पर जो जुर्माना लगाया गया था, उसका क्या हुआ? चार हफ्ते के भीतर शपथ पत्र के माध्यम से कोर्ट को बताएं. साथ ही खंडपीठ ने अवैध खड़िया खनन पर लगी रोक को जारी रखा है.

मामले में सरकार की तरफ से कहा गया कि कोर्ट के आदेश पर अवैध खड़िया खनन की संयुक्त जांच की गई और जुर्माना भी लगाया गया है. जिस कोर्ट ने खड़िया खनन में लगी रोक को अग्रिम आदेशों को रोक लगाई है. अब इस मामले की सुनवाई आगामी 18 अप्रैल 2024 को होगी. तब तक डाप्टी में अवैध खड़िया खनन नहीं हो होगा.
ये भी पढ़ेंः पहाड़ का सीना चीर कर खनन माफिया हो रहे मालामाल, पर्यावरण को हो रहा बड़ा नुकसान

दरअसल, बागेश्वर के डाप्टी निवासी बलवंत सिंह धामी ने नैनीताल हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका दायर की है. जिसमें उन्होंने कहा है कि उनके गांव में कुछ लोगों की ओर से खड़िया का खनन किया जा रहा है, लेकिन लीज पर दिए गए पट्टों के अलावा वो ग्रामीणों की भूमि से भी खड़िया का खनन कर रहे हैं.
ये भी पढ़ेंः खड़िया खनन से मुस्योली गांव में आई दरार, खतरे की जद में कई घर

जिसकी शिकायत उन्होंने प्रशासन से की, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई. उल्टा एसडीएम ने उनके यानी याचिकाकर्ता के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर दिया. याचिकाकर्ता का ये भी कहना है कि खनन करने से गांव को नुकसान हो रहा है. कभी भी भूस्खलन हो सकता है. खड़िया खनन का खामियाजा कभी भी ग्रामीणों को भुगतना पड़ सकता है.
ये भी पढ़ेंः हाईकोर्ट के आदेश पर कोर्ट कमिश्नर ने खड़िया खनन क्षेत्र का किया निरीक्षण, सुनीं लोगों की परेशानियां

नैनीतालः बागेश्वर जिले के कांडा के डाप्टी में अवैध खड़िया खनन के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर नैनीताल हाईकोर्ट में सुनवाई हुई. मामले में मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी और न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ ने सरकार से पूछा है कि अवैध खनन पर जो जुर्माना लगाया गया था, उसका क्या हुआ? चार हफ्ते के भीतर शपथ पत्र के माध्यम से कोर्ट को बताएं. साथ ही खंडपीठ ने अवैध खड़िया खनन पर लगी रोक को जारी रखा है.

मामले में सरकार की तरफ से कहा गया कि कोर्ट के आदेश पर अवैध खड़िया खनन की संयुक्त जांच की गई और जुर्माना भी लगाया गया है. जिस कोर्ट ने खड़िया खनन में लगी रोक को अग्रिम आदेशों को रोक लगाई है. अब इस मामले की सुनवाई आगामी 18 अप्रैल 2024 को होगी. तब तक डाप्टी में अवैध खड़िया खनन नहीं हो होगा.
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दरअसल, बागेश्वर के डाप्टी निवासी बलवंत सिंह धामी ने नैनीताल हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका दायर की है. जिसमें उन्होंने कहा है कि उनके गांव में कुछ लोगों की ओर से खड़िया का खनन किया जा रहा है, लेकिन लीज पर दिए गए पट्टों के अलावा वो ग्रामीणों की भूमि से भी खड़िया का खनन कर रहे हैं.
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जिसकी शिकायत उन्होंने प्रशासन से की, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई. उल्टा एसडीएम ने उनके यानी याचिकाकर्ता के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर दिया. याचिकाकर्ता का ये भी कहना है कि खनन करने से गांव को नुकसान हो रहा है. कभी भी भूस्खलन हो सकता है. खड़िया खनन का खामियाजा कभी भी ग्रामीणों को भुगतना पड़ सकता है.
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