हल्द्वानी: गर्मी के इस मौसम में ठंडे पानी के लिए देसी फ्रिज यानी मटका से बेहतर कोई उपाय नहीं है. ठंडे पानी के लिए इन दिनों देसी फ्रिज की मांग बढ़ गई है. बता दें कि, गर्मियों में प्यास बुझाने के लिए सबसे ज्यादा लोग फ्रिज का पानी का प्रयोग करते हैं, लेकिन कोरोना संक्रमण के बीच लोग फ्रिज के पानी पीने से बच रहे हैं. फ्रिज का ठंडा पीने से गला खराब न हो इसको देखते हुए लोग देसी फ्रिज के पानी का प्रयोग कर रहे हैं. हल्द्वानी में कोरोना संक्रमण का असर मिट्टी के बर्तन बेचने वाले कारोबारियों पर भी पड़ा है.
गर्मी शुरू होते हैं देसी फ्रिज की डिमांड बढ़ जाती है, लेकिन इस बार कोरोना संक्रमण का असर मिट्टी के बर्तन बेचने वाले कारोबारियों के ऊपर भी पड़ा है. कारोबारियों की मानें तो लोगों के पास बजट कम होने और संक्रमण के डर के चलते ठंडा पानी पीने से बच रहे हैं. इसके अलावा बाजारों में ग्राहक नहीं आने के चलते हैं, उनकी बिक्री पर काफी असर पड़ा है.
दुकानदारों की मानें तो कोरोना संक्रमण के चलते लोग फ्रिज का पानी पीने से बच रहे हैं. लोगों के घरों में फ्रीज होने के चलते भी लोग मटका खरीद कर ले जा रहे हैं. मटके का पानी कोई नुकसानदायक नहीं होता है. उनका कहना है कि इस बार उनके कारोबार पर काफी असर पड़ा है. गर्मी के सीजन शुरू हो गया है. लेकिन बिक्री 50 से 60% रह गई है. उन्होंने बताया कि उनके पास ₹50 से लेकर ₹400 तक की मटके उपलब्ध हैं.
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खरीदारी कर रहे लोगों का कहना है कि कोरोना संक्रमण के बीच फ्रिज का पानी पीना हानिकारक हो सकता है. ऐसे में फ्रिज का पानी छोड़ कर वह मटके का पानी पी रहे हैं. मटके का पानी पूरी तरह से प्राकृतिक रूप से ठंडक भरा होता है. जिसके पानी से स्वास्थ्य पर कोई असर भी नहीं पड़ता है.