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सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में अब प्लाज्मा थेरेपी से हो रहा कोरोना मरीजों का इलाज

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Published : Jul 23, 2020, 7:05 PM IST

कोरोना के गंभीर मरीजों का इलाज अब सुशीला तिवारी अस्पताल मे प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से शुरू कर दिया गया है.

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सुशीला तिवारी अस्पताल

हल्द्वानी: कोरोना के गंभीर मरीजों का इलाज अब सुशीला तिवारी अस्पताल मे प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से शुरू कर दिया गया है. भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद के अनुमति के बाद अस्पताल प्रशासन ने कोरोना के गंभीर मरीजों का इलाज शुरू कर दिया है. जिसका सीधा फायदा लोगों को मिलेगा.

सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में अब प्लाज्मा थेरेपी से हो रहा कोरोना मरीजों का इलाज.

सुशीला तिवारी अस्पताल के प्राचार्य चंद्र प्रकाश भैसोड़ा ने बताया कि भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद की अनुमति के बाद सुशीला तिवारी अस्पताल में प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से कोरोना के मरीजों का इलाज शुरू कर दिया गया है. जिसके तहत पूर्व में ठीक हो चुके कोरोना के मरीजों का ब्लड निकाल कर प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से अन्य मरीजों का इलाज किया जाएगा.

पढ़ें: सावधान, कहीं आपके मोबाइल में जोकर तो नहीं, हो सकता है बड़ा नुकसान

एक मरीज से निकाले गए ब्लड के प्लाज्मा से चार कोरोना मरीजों का इलाज किया जा सकता है. उन्होंने बताया कि पूर्व में ठीक हो चुके कोरोना मरीजों को कॉन्टैक्ट के माध्यम से बुलाकर उनका ब्लड लिया जा रहा है. वहीं, अधिकतर ठीक हो चुके मरीज ब्लड डोनेट करने के लिए तैयार हैं.बताया जा रहा है कि प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से कोरोना के बीमार व्यक्ति में एंटीबॉडी विकसित किया जाता है. पूर्व में ठीक हो चुके मरीज में पाए जाने वाले एंटीबॉडी से लड़ने की क्षमता रखता है.

हल्द्वानी: कोरोना के गंभीर मरीजों का इलाज अब सुशीला तिवारी अस्पताल मे प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से शुरू कर दिया गया है. भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद के अनुमति के बाद अस्पताल प्रशासन ने कोरोना के गंभीर मरीजों का इलाज शुरू कर दिया है. जिसका सीधा फायदा लोगों को मिलेगा.

सुशीला तिवारी हॉस्पिटल में अब प्लाज्मा थेरेपी से हो रहा कोरोना मरीजों का इलाज.

सुशीला तिवारी अस्पताल के प्राचार्य चंद्र प्रकाश भैसोड़ा ने बताया कि भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद की अनुमति के बाद सुशीला तिवारी अस्पताल में प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से कोरोना के मरीजों का इलाज शुरू कर दिया गया है. जिसके तहत पूर्व में ठीक हो चुके कोरोना के मरीजों का ब्लड निकाल कर प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से अन्य मरीजों का इलाज किया जाएगा.

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एक मरीज से निकाले गए ब्लड के प्लाज्मा से चार कोरोना मरीजों का इलाज किया जा सकता है. उन्होंने बताया कि पूर्व में ठीक हो चुके कोरोना मरीजों को कॉन्टैक्ट के माध्यम से बुलाकर उनका ब्लड लिया जा रहा है. वहीं, अधिकतर ठीक हो चुके मरीज ब्लड डोनेट करने के लिए तैयार हैं.बताया जा रहा है कि प्लाज्मा थेरेपी के माध्यम से कोरोना के बीमार व्यक्ति में एंटीबॉडी विकसित किया जाता है. पूर्व में ठीक हो चुके मरीज में पाए जाने वाले एंटीबॉडी से लड़ने की क्षमता रखता है.

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