ETV Bharat / state

हल्द्वानी: लोकपाल नियुक्ति पर संजीव चतुर्वेदी ने केंद्र और राज्य सरकार से मांगा जवाब

आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी की याचिका पर कैट ने केंद्र और उत्तराखंड सरकार से जवाब मांगा है. बता दें, चतुर्वेदी ने लोकपाल प्रतिनियुक्ति के लिए पिछले साल आवेदन भेजा था.

Haldwani Sanjeev Chaturvedi News
आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी
author img

By

Published : Aug 9, 2020, 10:26 AM IST

Updated : Aug 9, 2020, 11:39 AM IST

हल्द्वानी: चर्चित आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी की याचिका पर केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण (CAT) ने केंद्र और उत्तराखंड सरकार से जवाब मांगा है. बता दें, कि संजीव चतुर्वेदी ने इस साल फरवरी में भ्रष्टाचार रोधी संस्थान केंद्रीय लोकपाल में अपनी प्रतिनियुक्ति के लिए केंद्र और उत्तराखंड सरकार को निर्देश देने की अपील केंद्रीय प्रशासनिक अधिकारी से की थी.

सुनवाई के बाद कैट की तरफ से केंद्र और राज्य सरकार से 6 सप्ताह में जवाब मांगा गया है. रेमन मैग्सेसे अवॉर्ड से सम्मानित ईमानदार और चर्चित आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी पिछले साल नवंबर में केंद्रीय लोकपाल में प्रतिनियुक्ति के लिए आवेदन किया था. उन्होंने अपने आवेदन में भ्रष्टाचार के खिलाफ पिछले 17 सालों में उनके द्वारा किए गए विभिन्न मामलों का खुलासा का हवाला दिया था. नवंबर में केंद्रीय लोकपाल में प्रतिनियुक्ति के लिए आवेदन किया था, जिसके बाद राज्य सरकार ने दिसंबर में अपनी सहमति देते हुए अनापत्ति प्रमाण पत्र (NOC) केंद्र सरकार को भेजा था.

आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी का कहना है कि उन्होंने फरवरी में केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण इलाहाबाद बेंच में कैट के सामने याचिका दाखिल करते हुए यह मांग की थी कि उत्तराखंड सरकार की एनओसी पर बिना कोई छेड़छाड़ किए केंद्र सरकार को उनके प्रतिनियुक्ति के प्रकरण में विधि सम्मत निर्णय लेने के लिए निर्देश जारी करें. कैट में 4 अगस्त की हुई सुनवाई के बाद कैट की तरफ से शनिवार 8 अगस्त को केंद्र और राज्य सरकार से जवाब मांगा है. इस पूरे मामले में अगली सुनवाई 27 अगस्त को होनी है.

पढ़ें- आंध्र प्रदेश : विजयवाड़ा के कोविड केयर सेंटर में भीषण आग, सात की मौत

बता दें, आईएफएस संजीव चतुर्वेदी 2002 बैच के उत्तराखंड कैडर के भारतीय वन सेवा के अधिकारी हैं. फिलहाल उत्तराखंड के हल्द्वानी में मुख्य वन संरक्षक वन अनुसंधान केंद्र के तौर पर तैनात है. संजीव चतुर्वेदी वर्ष 2014 से हरियाणा कैडर में थे. हरियाणा सरकार में रहते हुए उन्होंने कई भ्रष्टाचार के मामले को उजागर किया था और तत्कालीन भूपेंद्र सिंह हुड्डा सरकार के खिलाफ भी उन्होंने मोर्चा खोला था. वहीं, हरियाणा से कैडर बदलने के बाद 2015 में दिल्ली सरकार में प्रतिनियुक्ति में जाने के बाद एम्स में हुए कई भ्रष्टाचार के उन्होंने खुलासा किया. अपनी ईमानदारी और कार्य निष्ठा के चलते उनको रेमन मैग्सेसे अवार्ड से सम्मानित किया गया है.

हल्द्वानी: चर्चित आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी की याचिका पर केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण (CAT) ने केंद्र और उत्तराखंड सरकार से जवाब मांगा है. बता दें, कि संजीव चतुर्वेदी ने इस साल फरवरी में भ्रष्टाचार रोधी संस्थान केंद्रीय लोकपाल में अपनी प्रतिनियुक्ति के लिए केंद्र और उत्तराखंड सरकार को निर्देश देने की अपील केंद्रीय प्रशासनिक अधिकारी से की थी.

सुनवाई के बाद कैट की तरफ से केंद्र और राज्य सरकार से 6 सप्ताह में जवाब मांगा गया है. रेमन मैग्सेसे अवॉर्ड से सम्मानित ईमानदार और चर्चित आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी पिछले साल नवंबर में केंद्रीय लोकपाल में प्रतिनियुक्ति के लिए आवेदन किया था. उन्होंने अपने आवेदन में भ्रष्टाचार के खिलाफ पिछले 17 सालों में उनके द्वारा किए गए विभिन्न मामलों का खुलासा का हवाला दिया था. नवंबर में केंद्रीय लोकपाल में प्रतिनियुक्ति के लिए आवेदन किया था, जिसके बाद राज्य सरकार ने दिसंबर में अपनी सहमति देते हुए अनापत्ति प्रमाण पत्र (NOC) केंद्र सरकार को भेजा था.

आईएफएस अधिकारी संजीव चतुर्वेदी का कहना है कि उन्होंने फरवरी में केंद्रीय प्रशासनिक न्यायाधिकरण इलाहाबाद बेंच में कैट के सामने याचिका दाखिल करते हुए यह मांग की थी कि उत्तराखंड सरकार की एनओसी पर बिना कोई छेड़छाड़ किए केंद्र सरकार को उनके प्रतिनियुक्ति के प्रकरण में विधि सम्मत निर्णय लेने के लिए निर्देश जारी करें. कैट में 4 अगस्त की हुई सुनवाई के बाद कैट की तरफ से शनिवार 8 अगस्त को केंद्र और राज्य सरकार से जवाब मांगा है. इस पूरे मामले में अगली सुनवाई 27 अगस्त को होनी है.

पढ़ें- आंध्र प्रदेश : विजयवाड़ा के कोविड केयर सेंटर में भीषण आग, सात की मौत

बता दें, आईएफएस संजीव चतुर्वेदी 2002 बैच के उत्तराखंड कैडर के भारतीय वन सेवा के अधिकारी हैं. फिलहाल उत्तराखंड के हल्द्वानी में मुख्य वन संरक्षक वन अनुसंधान केंद्र के तौर पर तैनात है. संजीव चतुर्वेदी वर्ष 2014 से हरियाणा कैडर में थे. हरियाणा सरकार में रहते हुए उन्होंने कई भ्रष्टाचार के मामले को उजागर किया था और तत्कालीन भूपेंद्र सिंह हुड्डा सरकार के खिलाफ भी उन्होंने मोर्चा खोला था. वहीं, हरियाणा से कैडर बदलने के बाद 2015 में दिल्ली सरकार में प्रतिनियुक्ति में जाने के बाद एम्स में हुए कई भ्रष्टाचार के उन्होंने खुलासा किया. अपनी ईमानदारी और कार्य निष्ठा के चलते उनको रेमन मैग्सेसे अवार्ड से सम्मानित किया गया है.

Last Updated : Aug 9, 2020, 11:39 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.