नैनीताल: जिले में आवारा कुत्तों के आतंक को खत्म करने और बढ़ रही जनसंख्या पर लगाम लगाने के लिए जिला प्रशासन और पशु पालन विभाग ने कुत्तों की नसबंदी का अभियान चलाया है. बता दें कि पिछले साल जिले में आवारा कुत्तों ने लगभग 300 लोगों को अपना शिकार बनाया था. वहीं, एक राजस्थानी पर्यटक के बच्चे की मौत भी हो गई थी, जिसके बाद प्रशासन ने ये अभियान शुरू किया है.
डीएम सविन बंसल ने बताया कि उनका उद्देश्य तेजी से बढ़ रहे कुत्तों की संख्या को नियंत्रित करना और जनता को सुरक्षित रखना है. वहीं, डीएम ने कुत्तों का बधियाकरण कर रही संस्था को आदेश दिए हैं कि बंध्याकरण के काम में लापरवाही न बरतें. अगर उनके काम में लापरवाही पाई जाती है तो उनके टेंडर को निरस्त कर पेमेंट रोक दी जाएगी.
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साथ ही डीएम सविन बंसल ने बताया कि कुत्तों के बंध्याकरण के बाद जिले में बंदर और लंगूर के आतंक से निपटने को लेकर काम किया जाएगा. इसके लिए वन विभाग के साथ बातचीत पूरी हो चुकी है और प्रथम चरण की कार्रवाई भी शुरू हो गई है.