हरिद्वार: ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना अभी भी कम होने का नाम नहीं ले रहा है. कोरोना को लेकर ग्रामीण क्षेत्रों में दहशत तो है, लेकिन अभी भी ज्यादातर गांवों में वैक्सीनेशन की रफ्तार काफी सुस्त है. इसकी कई वजह सामने आईं हैं. ग्रामीण क्षेत्रों में वैक्सीनेशन केंद्र नहीं होने और जागरुकता की कमी तो वजह है ही, मगर सबसे चौंकाने वाली ये वजह है कि ग्रामीण वैक्सीन ही नहीं लगवाना चाहते हैं.
हरिद्वार के धनपुरा गांव के युवाओं का कहना है कि लोग वैक्सीन लगवाने से बीमार पड़ रहे हैं. लोगों को बुखार आ रहा है. यही नहीं, युवाओं का तो यहां तक कहना है कि वह पूरी तरह से स्वस्थ है, उनकी इम्युनिटी भी मजबूत है तो फिर वह वैक्सीन क्यों लगवाएं?
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हालांकि, धनपुरा गांव में ही अभी तक 25 से ज्यादा लोगों की कोरोना से मौत की बात सामने आ रही है. गांव के पूर्व प्रधान गालिब हसन का कहना है कि गांव में कोरोना से बचाव और इलाज के कोई इंतजाम नहीं हैं. गांव में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भी बदहाल हालात में है. इसके साथ ही गांव को अभी तक सैनिटाइज नहीं किया गया है.
उधर, हरिद्वार एसडीएम गोपाल सिंह चौहान का कहना है कि ग्रामीण क्षेत्रों में बुखार खांसी की शिकायतें मिल रही हैं. इसके लिए लेखपालों, बीडीओ, आशा और आंगनबाड़ी वर्करों की टीम लगातार काम कर रही है. सैंपलिंग का भी काम किया जा रहा है. इसके साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में वैक्सीनेशन को लेकर प्रचार-प्रसार भी किया जा रहा है. लोगों को बताया जा रहा है कि वैक्सीन सुरक्षित है. उन्होंने बताया कि उनकी करीब 150 टीमों ने 10 से 12 दिन में 60 हजार के करीब रजिस्ट्रेशन किए हैं.