हरिद्वार: प्रदेश के बहुचर्चित उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के भर्ती घोटाले के मास्टरमाइंड हाकम सिंह की हरिद्वार में चिन्हित की गई संपत्ति को आखिरकार गैंगस्टर एक्ट में कुर्क कर लिया गया है. एसटीएफ के एसएसपी आयुष अग्रवाल की रिपोर्ट पर डीएम हरिद्वार विनय शंकर पांडे ने हरिद्वार तहसीलदार को इस संपत्ति का रिसीवर नियुक्त किया है. तहसीलदार मंगलवार दोपहर पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे और संपत्ति की कुर्की की. प्रशासन की इस कार्रवाई से अन्य आरोपियों के परिवारों में भी हड़कंप मचा हुआ है.
उत्तराखंड में नकल माफियाओं पर नकेल कसने के क्रम में एक बार फिर प्रशासन ने एक बड़े नकल माफिया के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की है. एसटीएफ की छानबीन में सामने आया था कि हाकम सिंह ने परीक्षा घोटालों से प्रदेश भर में करोड़ों की प्रॉपर्टी बनाई है. इस दौरान उसने हरिद्वार से लेकर देहरादून और उत्तरकाशी आदि जिलों में भी संपत्तियां खरीदी हैं. जिसके बाद प्रॉपर्टी की जांच एसटीएफ के इंस्पेक्टर कुंदन सिंह राणा को सौंपी गई थी.
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जांच के दौरान हाकम का हरिद्वार के रानीपुर झाल क्षेत्र में भी एक प्लॉट और निर्माणाधीन भवन होने की जानकारी एसटीएफ को मिली. इसके साथ ही जांच में यह भी सामने आया है कि यह संपत्ति हाकम सिंह ने बिल्केश्वर कॉलोनी निवासी वासुदेव अग्रवाल से खरीदी थी. जिसके बाद इंस्पेक्टर कुंदन सिंह राणा ने संपत्ति जब्त करने की रिपोर्ट डीएम देहरादून को भेजी थी. जिसके बाद देहरादून डीएम ने जांच रिपोर्ट हरिद्वार डीएम विनय शंकर पांडे को भेजी है. जिसके बाद हरिद्वार जिला प्रशासन ने तहसीलदार को संपत्ति का रिसीवर नियुक्त किया है.
क्या कहती हैं तहसीलदार: तहसील अधिकारी ने कहा कि कुर्की की कार्रवाई जिलाधिकारी के आदेश पर की गई है. इस संपत्ति पर डीएम द्वारा तहसीलदार को रिसीवर नियुक्त किया गया है. जिसके बाद मौके पर पहुंचकर हमने इस प्रॉपर्टी की जांच की और इसे फिलहाल कुर्क कर लिया है.