हरिद्वारः कुपोषण को दूर करने के उद्देश्य से राष्ट्रीय पोषण मिशन के तहत पूरे देशभर में सितंबर महीने को राष्ट्रीय पोषण माह के रूप में मनाया जा रहा है. इसी कड़ी में कैबिनेट मंत्री रेखा आर्य ने हरिद्वार में पोषण अभियान के अंतर्गत आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की. इस दौरान उन्होंने दो पोषण रथों को हरी झंडी दिखाकर गढ़वाल और कुमाऊं के लिए रवाना किया. साथ ही उन्होंने महिलाओं को महालक्ष्मी किट भी वितरित की.
हरिद्वार के एक निजी बैंकट हॉल में आयोजित कार्यक्रम में महिलाओं को कुपोषण के प्रति जागरूक किया गया. कार्यक्रम में 25 नवजात बच्चों का अन्नप्राशन किया गया. साथ ही 25 माताओं की गोद भराई कराई गई. जबकि, 50 महिलाओं को मुख्यमंत्री महालक्ष्मी किट वितरित की गई. इस मौके पर महिला सशक्तिकरण व बाल विकास मंत्री रेखा आर्य (Rekha Arya) ने कहा कि सही पोषण गर्भवती महिलाओं के लिए और होने वाले बच्चों के लिए बहुत जरूरी है. गर्भावस्था के दौरान मां को सही पोषण मिलना बहुत जरूरी होता है.
ये भी पढ़ेंः रेखा आर्य ने गर्भवतियों को बांटे प्रेशर कुकर, कहा- मैं हूं हर पहाड़न की आवाज
कैबिनेट मंत्री रेखा आर्य ने कहा कि केंद्र सरकार के साथ ही उत्तराखंड सरकार भी कुपोषण के खिलाफ लड़ाई लड़ रही है. कुपोषण को भगाने के लिए सरकार की कई योजनाएं चलाई गई है. सभी योजनाओं को धरातल पर उतारी जाएगी. उन्होंने बताया कि पूरे उत्तराखंड में करीब 11 हजार बच्चे कुपोषण और ढाई हजार बच्चे अति कुपोषण का शिकार हुए हैं. जल्द ही प्रदेश को कुपोषण मुक्त कर दिया जाएगा.
महालक्ष्मी किट में 13 तरह के सामान दिया गया है. किट में नवजात के लिए 9 तरह की सामग्री है. जिसमें माता के लिए बादाम गिरी, खुबानी, अखरोट 250 ग्राम, छुहारा 500 ग्राम, एक कंबल, एक गर्म शाल (फुल साइज), जुराब 2 जोड़ी, सेनेटरी नैपकिन 2 पैकेट, बेडशीट कॉटन के साथ दो तकिया, एक नेल कटर, एक बॉटल सरसों का तेल, चार साबुन कपड़े का साबुन दिया जा रहा है.
ये भी पढ़ेंः रेखा आर्या ने बांटे महालक्ष्मी किट, उत्तराखंड को बनाना चाहती हैं देवियों की भूमि
वहीं, नवजात शिशु के लिए एक जोड़ी कपड़े (सीजन के अनुसार), दो टोपी, दो लंगोट, एक बेबी तौलिया, एक बेबी साबुन, एक बेबी ऑयल, एक पाउडर, एक बेबी कंबल और दो गर्म रबड़ शीट शामिल है. ऐसे में खासतौर पर गरीब महिलाओं को मुख्यमंत्री महालक्ष्मी किट योजना से काफी लाभ मिला है. साथ ही उन्हें खुराक को लेकर चिंता नहीं करनी पड़ रही है.