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मातृ सदन पर अवैध खनन को लेकर लगे गंभीर आरोप, स्वामी शिवानंद ने आरोपों से किया इंकार

ग्लोबल ग्रांड मदर फाउंडेशन की संस्थापक भावना पांडे ने मातृ सदन के परमाध्यक्ष को फर्जी संत बताया है. भावना पांडे ने कहा कि मातृ सदन अनशन की आड़ में अवैध खनन को बढ़ावा दे रहा है.

मातृ सदन पर गंभीर आरोप
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Published : Apr 24, 2019, 12:46 PM IST

हरिद्वारः धर्मनगरी हरिद्वार में गंगा की अवरिलता और अस्मिता के बचाव का प्रयास कर रहा मातृ सदन अब सवालों के घेरे में खड़ा हो गया है. ग्लोबल ग्रांड मदर फाउंडेशन की संस्थापक भावना पांडे ने मातृ सदन के परमाध्यक्ष को फर्जी संत बताया है. भावना पांडे ने कहा कि मातृ सदन अनशन की आड़ में अवैध खनन को बढ़ावा दे रहा है.

मातृ सदन पर अवैध खनन को बढ़ावा देने का आरोप लगाती भावना पांडे.

इस वजह से कई हजार लोगों का रोजगार भी छिन गया है. केंद्रीय प्रदूषण बोर्ड से 22 मार्च को चिट्ठी जारी हो चुकी है कि रायवाला से भोगपुर तक खनन का काम शुरू किया जाए मगर अब संत जबरदस्ती यूएन जाने की बात कर रहे हैं. अगर ये यूएन जाएंगे तो हम भी यूएन जाएंगे. वहीं, प्रोफेसर जी डी अग्रवाल उर्फ सानंद की मृत्यु अनशन से होने पर भावना पांडे ने शिवानंद पर 302 का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है.

भावना पांडे ने कहा कि प्रदेश में पिछले 5 साल से वैध खनन पट्टे नहीं चल रहे हैं, लेकिन लगातार स्टोन क्रशर चल रहे हैं जो कि अवैध खनन की पहचान है. भावना पांडे का कहना है कि मात्र सदन वैध खनन करने वालों को परेशान करते हैं जिससे प्रदेश को राजस्व का नुकसान हो रहा है.

यह भी पढ़ेंः चारधाम यात्रा को लेकर प्रशासन सख्त, सड़क किनारे हुए अवैध अतिक्रमण पर चला बुल्डोजर

भावना पांडे ने मातृ सदन पर आरोप लगाते हुए कहा कि मातृ सदन पर प्रोफेसर जी डी अग्रवाल उर्फ सानंद की हत्या करने का 302 का मुकदमा दर्ज होना चाहिए. स्वामी सानंद अपना अनशन तोड़ना चाहते थे, लेकिन मातृ सदन के स्वामी शिवानंद ने उन्हें अपना अनशन तोड़ने नहीं दिया.

जिससे उनकी मृत्यु हो गई. मातृ सदन के स्वामी धरने प्रदर्शन फर्जी चिट्ठियों से अधिकारियों को परेशान करते हैं. भावना पांडे ने मातृ सदन के प्रमुख शिवानंद को संत के बजाय कुसंत की संज्ञा दी. वहीं, अपने ऊपर लगाए आरोपों पर स्वामी शिवानंद का कहना है कि यह आरोप सभी खनन माफिया और जो उनके विरोधी हैं, उनके ऊपर लगाते रहते हैं.

शिवानंद ने उल्टा उन्हींं पर आरोप लगा दिया कि वह खुद खनन व्यवसाय का कार्य करती हैं और उनको खनन का पट्टा भी मिला हुआ है. क्या खनन माफिया और सरकार में कोई समझौता हुआ है. शिवानंद ने सीधा-सीधा सरकार और खनन माफियाओं का गठजोड़ बताया.

खनन को लेकर जिस तरह से मातृ सदन के संत 182 दिन से अनशन पर हैं तो वहीं, मातृ सदन के परमाध्यक्ष और आत्मबोधानंद सरकार और प्रशासन पर अवैध खनन कराने का आरोप लगा रहे हैं. अब मातृ सदन के ऊपर भी आरोप लग रहे हैं कि वह अवैध खनन कराने और वैध खनन ना हो इसको लेकर अनशन करते हैं. अब देखना होगा आरोप-प्रत्यारोप का यह दौर कब तक चलता है और हरिद्वार में हो रहा अवैध खनन कब बंद होता है और वैध खनन कब शुरू होता है यह देखने वाली बात होगी.

हरिद्वारः धर्मनगरी हरिद्वार में गंगा की अवरिलता और अस्मिता के बचाव का प्रयास कर रहा मातृ सदन अब सवालों के घेरे में खड़ा हो गया है. ग्लोबल ग्रांड मदर फाउंडेशन की संस्थापक भावना पांडे ने मातृ सदन के परमाध्यक्ष को फर्जी संत बताया है. भावना पांडे ने कहा कि मातृ सदन अनशन की आड़ में अवैध खनन को बढ़ावा दे रहा है.

मातृ सदन पर अवैध खनन को बढ़ावा देने का आरोप लगाती भावना पांडे.

इस वजह से कई हजार लोगों का रोजगार भी छिन गया है. केंद्रीय प्रदूषण बोर्ड से 22 मार्च को चिट्ठी जारी हो चुकी है कि रायवाला से भोगपुर तक खनन का काम शुरू किया जाए मगर अब संत जबरदस्ती यूएन जाने की बात कर रहे हैं. अगर ये यूएन जाएंगे तो हम भी यूएन जाएंगे. वहीं, प्रोफेसर जी डी अग्रवाल उर्फ सानंद की मृत्यु अनशन से होने पर भावना पांडे ने शिवानंद पर 302 का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है.

भावना पांडे ने कहा कि प्रदेश में पिछले 5 साल से वैध खनन पट्टे नहीं चल रहे हैं, लेकिन लगातार स्टोन क्रशर चल रहे हैं जो कि अवैध खनन की पहचान है. भावना पांडे का कहना है कि मात्र सदन वैध खनन करने वालों को परेशान करते हैं जिससे प्रदेश को राजस्व का नुकसान हो रहा है.

यह भी पढ़ेंः चारधाम यात्रा को लेकर प्रशासन सख्त, सड़क किनारे हुए अवैध अतिक्रमण पर चला बुल्डोजर

भावना पांडे ने मातृ सदन पर आरोप लगाते हुए कहा कि मातृ सदन पर प्रोफेसर जी डी अग्रवाल उर्फ सानंद की हत्या करने का 302 का मुकदमा दर्ज होना चाहिए. स्वामी सानंद अपना अनशन तोड़ना चाहते थे, लेकिन मातृ सदन के स्वामी शिवानंद ने उन्हें अपना अनशन तोड़ने नहीं दिया.

जिससे उनकी मृत्यु हो गई. मातृ सदन के स्वामी धरने प्रदर्शन फर्जी चिट्ठियों से अधिकारियों को परेशान करते हैं. भावना पांडे ने मातृ सदन के प्रमुख शिवानंद को संत के बजाय कुसंत की संज्ञा दी. वहीं, अपने ऊपर लगाए आरोपों पर स्वामी शिवानंद का कहना है कि यह आरोप सभी खनन माफिया और जो उनके विरोधी हैं, उनके ऊपर लगाते रहते हैं.

शिवानंद ने उल्टा उन्हींं पर आरोप लगा दिया कि वह खुद खनन व्यवसाय का कार्य करती हैं और उनको खनन का पट्टा भी मिला हुआ है. क्या खनन माफिया और सरकार में कोई समझौता हुआ है. शिवानंद ने सीधा-सीधा सरकार और खनन माफियाओं का गठजोड़ बताया.

खनन को लेकर जिस तरह से मातृ सदन के संत 182 दिन से अनशन पर हैं तो वहीं, मातृ सदन के परमाध्यक्ष और आत्मबोधानंद सरकार और प्रशासन पर अवैध खनन कराने का आरोप लगा रहे हैं. अब मातृ सदन के ऊपर भी आरोप लग रहे हैं कि वह अवैध खनन कराने और वैध खनन ना हो इसको लेकर अनशन करते हैं. अब देखना होगा आरोप-प्रत्यारोप का यह दौर कब तक चलता है और हरिद्वार में हो रहा अवैध खनन कब बंद होता है और वैध खनन कब शुरू होता है यह देखने वाली बात होगी.

Intro:हरिद्वार में गंगा की अवरिलता और अस्मिता के बचाव का प्रयास कर रहा मातृ सदन अब सवालों के घेरे में खड़ा हो गया है ग्लोबल ग्रांड मदर फाउंडेशन की संस्थापक भावना पांडे ने मातृ सदन के परमाध्यक्ष को फर्जी सन बताया है भावना पांडे ने कहा कि मातृ सदन अनशन की आड़ में अवैध खनन को बढ़ावा दे रहा है इस वजह से कई हजार लोगो का रोजगार भी छिन गया है केंद्रीय प्रदूषण बोर्ड से 22 मार्च को चिट्ठी रिवोड हो चुकी है कि रायवाला से भोगपुर तक खनन का काम शुरू किया जाए मगर अब यह संत जबरदस्ती यूएन जाने की बात कर रहा है अगर यह यूएन जाएगा तो हम भी यूएन जायेगे वही प्रोफेसर जी डी अग्रवाल उर्फ सानंद की मृत्यु अनशन से होने पर भावना पांडे ने शिवानंद पर 302 का मुकदमा दर्ज करने की मांग की है


Body:भावना पांडे ने कहा कि प्रदेश में पिछले 5 साल से वैध खनन पट्टे नहीं चल रहे हैं लेकिन लगातार स्टोन क्रेसर चल रहे हैं जो कि अवैध खनन की पहचान है भावना पांडे का कहना है कि मात्र सदन अवैध खनन करने वालों को परेशान करते हैं जिसे प्रदेश को राजस्व का नुकसान हो रहा है भावना पांडे ने मातृ सदन पर आरोप लगाते हुए कहा कि मातृ सदन पर प्रोफेसर जी डी अग्रवाल उर्फ सानंद की हत्या करने का 302 का मुकदमा दर्ज होना चाहिए स्वामी सानंद अपना अनशन तोड़ना चाहते थे लेकिन मातृ सदन के स्वामी शिवानंद ने उन्हें अपना अनशन तोड़ने नहीं दिया जिससे उनकी मृत्यु हो गई मातृ सदन के स्वामी बेमतलब धरने प्रदर्शन फर्जी चिट्ठियों से अधिकारियों को परेशान करते हैं भावना पांडे ने मातृ सदन के प्रमुख शिवानंद को संत के बजाय कुसंत की संज्ञा दी और कहा कि मातृ सदन प्रमुख संत नहीं कुसंत संत है जिसने कई हजार लोगों से उनका रोजगार छीना है और संत कभी भी लोगों को परेशान नहीं करता है

बाइट-- भावना पांडे--संस्थापक ग्लोबल गोल्ड मदर फाउंडेशन

वही अपने ऊपर लगाए आरोपों पर स्वामी शिवानंद का कहना है कि यह आरोप सभी खनन माफिया और जो उनके विरोधी है उनके ऊपर लगाते रहते हैं शिवानंद में उल्टा ही उन्हीं के ऊपर आरोप लगा दिया कि वह खुद खनन व्यवसाय का कार्य करती है और उनको खनन का पट्टा भी मिला हुआ है क्या खनन माफिया और सरकार में कोई समझौता हुआ है शिवानंद ने सीधा सीधा सरकार और खनन माफियाओं का गठजोड़ बताया

बाइट-- स्वामी शिवानंद--परमाध्यक्ष मातृ सदन


Conclusion:खनन को लेकर जिस तरह से मातृ सदन के संत 182 दिन से अनशन पर है तो वहीं मातृ सदन के परमाध्यक्ष और आत्म बोध आनंद सरकार और प्रशासन पर अवैध खनन कराने का आरोप लगा रहे हैं अब मातृ सदन के ऊपर भी आरोप लग रहे हैं कि वह अवैध खनन कराने और वैध खनन ना हो इसको लेकर अनशन करते हैं अब देखना होगा आरोप-प्रत्यारोप का यह दौर कब तक चलता है और हरिद्वार में हो रहा अवैध खनन कब बंद होता है और वैध खनन कब शुरू होता है यह देखने वाली बात होगी
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