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हरिद्वार:  सफाई के नाम पर बहाए जा रहे करोड़ों रुपए, आखिर कब निर्मल होगी गंगा की धारा? - गंगा की स्वछता और निर्मलता

जीवनदायिनी कही जाने वाली गंगा नदी की सफाई को लेकर केंद्र सरकार के दावों की पोल खुल रही है. करोड़ों रूपये खर्च करने के बाद भी गंगा की स्थिति में सुधार नहीं हो रहा है. गंगा में सीवर का पानी धड़ल्ले से गिर रहा है.

गंगा सफाई
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Published : Oct 20, 2019, 1:46 PM IST

हरिद्वारः केंद्र सरकार द्वारा गंगा की स्वछता और निर्मलता के लिए नमामि गंगे जैसी बड़ी परियोजना बनाई है. करोड़ों रूपये का बजट अब तक गंगा पर खर्च किया जा चुका है, मगर धरातल पर कितना काम हुआ है ये हरिद्वार में गंगा के सूखने पर साफ दिखाई दे रहा है. साफ सफाई के लिए सालाना बंदी के दौरान गंगा में गंदे नाले, सीवर का पानी धड़ल्ले से गिर रहा है. जिसको लेकर हरिद्वार के निवासियों और गंगा प्रेमियों में रोष है.

दूषित हो रही जीवनदायिनी.

सरकारी आंकड़ों के अनुसार गंगा में एक भी नाला नहीं गिर रहा है. सभी गंदे नालों को टैप कर दिया गया है. हरिद्वार के गंगा प्रेमी रामेश्वर गौड़ का कहना है कि उनके अनशन के दौरान सरकार ने कहा था कि मार्च तक सभी नाले टैप कर दिए जाएंगे, मगर अभी तक ये काम नही किया गया.

हरिद्वार में ही गंगा बन्दी के दौरान कई नाले गंगाजी में साफ गिरते देखे जा रहे हैं, मगर सरकार को इसकी कोई फिक्र नही. लाखों करोड़ों रुपयों का बजट अब तक गंगा पर खर्च किया जा चुका है, मगर धरातल पर गंगा की स्वच्छता कहीं दिखाई नहीं देती. उन्होंने कहा कि जल्द ही सरकार इन नालों को टेप नहीं करती तो उन्हें फिर से अनशन के लिये मजबूर होना पड़ेगा.

वहीं हरिद्वार के स्थानीय लोगों ने भी इसे सरकार की नाकामयाबी ही बताया है. स्थानीय निवासियों का कहना है कि आज गंगा की साफ सफाई के लिए कई बड़े प्रोजेक्ट सरकार चला रही है, लेकिन आज जब गंगा बंदी के दौरान साफ देखा जा रहा है कि गंगा कितनी साफ हुई है.

यह भी पढ़ेंः पत्नी की हत्या करने के बाद फंसे से झूल गया पति, जांच में जुटी पुलिस

उनका ये भी कहना है कि आज गंगा में कितना गंदा पानी जा रहा है, ये दुर्भाग्यपूर्ण है. सरकार प्रशासन क्या काम कर रही है गंगा के लिए ये तो गंगा की स्थिति देखकर लगता है कि ये तो देश और समाज के दुर्भाग्यपूर्ण है.

हरिद्वारः केंद्र सरकार द्वारा गंगा की स्वछता और निर्मलता के लिए नमामि गंगे जैसी बड़ी परियोजना बनाई है. करोड़ों रूपये का बजट अब तक गंगा पर खर्च किया जा चुका है, मगर धरातल पर कितना काम हुआ है ये हरिद्वार में गंगा के सूखने पर साफ दिखाई दे रहा है. साफ सफाई के लिए सालाना बंदी के दौरान गंगा में गंदे नाले, सीवर का पानी धड़ल्ले से गिर रहा है. जिसको लेकर हरिद्वार के निवासियों और गंगा प्रेमियों में रोष है.

दूषित हो रही जीवनदायिनी.

सरकारी आंकड़ों के अनुसार गंगा में एक भी नाला नहीं गिर रहा है. सभी गंदे नालों को टैप कर दिया गया है. हरिद्वार के गंगा प्रेमी रामेश्वर गौड़ का कहना है कि उनके अनशन के दौरान सरकार ने कहा था कि मार्च तक सभी नाले टैप कर दिए जाएंगे, मगर अभी तक ये काम नही किया गया.

हरिद्वार में ही गंगा बन्दी के दौरान कई नाले गंगाजी में साफ गिरते देखे जा रहे हैं, मगर सरकार को इसकी कोई फिक्र नही. लाखों करोड़ों रुपयों का बजट अब तक गंगा पर खर्च किया जा चुका है, मगर धरातल पर गंगा की स्वच्छता कहीं दिखाई नहीं देती. उन्होंने कहा कि जल्द ही सरकार इन नालों को टेप नहीं करती तो उन्हें फिर से अनशन के लिये मजबूर होना पड़ेगा.

वहीं हरिद्वार के स्थानीय लोगों ने भी इसे सरकार की नाकामयाबी ही बताया है. स्थानीय निवासियों का कहना है कि आज गंगा की साफ सफाई के लिए कई बड़े प्रोजेक्ट सरकार चला रही है, लेकिन आज जब गंगा बंदी के दौरान साफ देखा जा रहा है कि गंगा कितनी साफ हुई है.

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उनका ये भी कहना है कि आज गंगा में कितना गंदा पानी जा रहा है, ये दुर्भाग्यपूर्ण है. सरकार प्रशासन क्या काम कर रही है गंगा के लिए ये तो गंगा की स्थिति देखकर लगता है कि ये तो देश और समाज के दुर्भाग्यपूर्ण है.

Intro:एंकर:- केंद्र सरकार द्वारा गँगा की स्वछता और निर्मलता के लिए नमामि गंगे जैसी बड़ी परियोजना बनाई है, करोड़ो रूपये का बजट अब तक गँगा पर खर्च किया जा चुका है मगर धरातल पर कितना काम हुआ है ये तो हरिद्वार में गँगा के सूखने पर साफ दिखाई दे रहा है। साफ सफाई के लिए सालाना बंदी के दौरान गँगा में गंदे नाले, सीवर का पानी धड़ल्ले से गिर रहा है। जिसको लेकर हरिद्वार के निवासियों और गँगा प्रेमियों में रोष है।

Body:वीओ 1 :- सरकारी आंकड़ो के अनुसार गँगा में एक भी नाला नही गिर रहा है सभी गंदे नालो को टैप कर दिया गया है। हरिद्वार के गँगा प्रेमी रामेश्वर गौड़ का कहना है कि उनके अनशन के दौरान सरकार ने कहा था कि मार्च तक सभी नाले टैप कर दिए जाएंगे मगर अभी तक ये काम नही किया गया। हरिद्वार में ही गँगा बन्दी के दौरान कई नाले गँगा जी मे साफ गिरते देखे जा रहे है मगर सरकार को इसकी कोई फिक्र नही। लाखो करोड़ो रुपयों का बजट अब तक गँगा जी के ऊपर खर्च किया जा चुका है मगर धरातल पर गँगा की स्वच्छता कही दिखाई नही देती। उन्होंने कहा कि जल्द ही सरकार इन नालो को टेप नही करती तो उन्हें फिर से अनशन के लिये मजबूर होना पड़ेगा।


वीओ 2 :- वही हरिद्वार के स्थानीय लोगो ने भी इसे सरकार की नाकामयाबी ही बताया है। स्थानीय निवासियों का कहना है कि आज गँगा के साफ सफाई के लिए कई बड़े प्रोजेक्ट सरकार चला रही है लेकिन आज जब गँगा बंदी के दौरान साफ देखा जा रहा है कि गँगा कितनी साफ हुई है। उनका ये भी कहना है कि आज गँगा में कितना गंदा पानी जा रहा है ये दुर्भाग्यपूर्ण है। सरकार प्रशासन क्या काम कर रही है गँगा के लिए ये तो गँगा की स्तिथि देखकर लगता है कि ये तो देश और समाज के दुर्भाग्यपूर्ण है।
Conclusion:बाइट:- आर्यन उपाध्याय, स्थानीय निवासी
बाइट:- रामेश्वर गौड़, गँगा प्रेमी
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