ETV Bharat / state

देहरादून के गल्जवाड़ी गांव की महिलाओं ने किया विधानसभा कूच, राजस्व क्षेत्र में शामिल करने की मांग

देहरादून के गल्जवाड़ी गांव की महिलाओं ने उत्तराखंड विधानसभा कूच किया. पुलिस ने महिलाओं को विधानसभा से पहले ही रोक दिया. महिलाओं की मांग है कि गांव की भूमि को आबादी भूमि घोषित की जाए. वहीं, भारत की कम्युनिस्ट पार्टी के कार्यकर्ताओं ने भू माफियाओं, भ्रष्ट अधिकारी और राजनेताओं की सांठगांठ के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए उत्तराखंड विधानसभा कूच किया.

Etv Bharat
Etv Bharat
author img

By

Published : Nov 30, 2022, 2:13 PM IST

Updated : Nov 30, 2022, 2:31 PM IST

देहरादून: राजधानी देहरादून के गांव गल्जवाड़ी की स्थानीय महिलाओं ने ग्राम प्रधान लीला शर्मा के नेतृत्व में विधानसभा कूच (women of Galjwadi village marched to the assembly) किया. हालांकि, पुलिस ने हरिद्वार रोड स्थित रिस्पना पुल से पहले प्रदर्शनकारी महिलाओं को बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. रोके जाने से नाराज प्रदर्शनकारी महिलाएं सड़क पर ही धरने पर बैठ गई और सरकार के खिलाफ नारेबाजी करने लगी.

इस दौरान अपनी मांगों को लेकर ग्राम प्रधान लीला शर्मा (Galjwadi village head Leela Sharma) की ओर से जिला प्रशासन के माध्यम से विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी को एक ज्ञापन सौंपा गया. ग्राम प्रधान लीला शर्मा ने बताया कि एक गांव में 60 से 70 सालों से बसे गांव वासियों की जमीन आबादी भूमि घोषित किए जाने के संबंध में वे बीते 16 सालों से संघर्षरत हैं. गांव के करीब 350 परिवार भूमि के मालिकाना हक की लड़ाई लड़ रहे हैं. इसके संबंध में गांववासियों ने कई बार डीएम और सीएम के समक्ष उपस्थित होकर अपनी समस्या बताई. लेकिन हर बार उन्हें भूमि को आबादी में घोषित कराए जाने का सिर्फ आश्वासन ही मिला है.

देहरादून के गल्जवाड़ी गांव की महिलाओं ने किया विधानसभा कूच.
ये भी पढ़ेंः विस सत्र का दूसरा दिन: स्पीकर का सदस्यों को साफ संदेश, सदन में मोबाइल का प्रयोग किया तो होगी कार्रवाई

लीला शर्मा का कहना है कि 2015 में तत्कालीन मुख्यमंत्री हरीश रावत की ओर से गांव में बसे परिवारों की भूमि को आबादी भूमि घोषित करने की घोषणा की गई थी. लेकिन उस पर भी कोई कार्रवाई शासन द्वारा नहीं की गई. उन्होंने कहा कि ग्रामवासी सालों से इस उम्मीद में बैठे हैं कि सरकार द्वारा शासनादेश पारित किया जाएगा. लेकिन आज भी स्थिति पुरानी जैसी ही है.

लीला शर्मा ने कहा कि ऐसे में उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष से मांग करते हुए कहा है कि इस सत्र में गल्जवाड़ी गांव में बने आवासों को राजस्व अभिलेखों में आबादी भूमि दर्ज करने के विधेयक को पारित किया जाए.

कम्युनिस्ट पार्टी के कार्यकर्ताओं ने किया विस कूचः भारत की कम्युनिस्ट पार्टी के कार्यकर्ताओं ने विधानसभा सत्र के दौरान भू माफियाओं, भ्रष्ट अधिकारी और राजनेताओं की सांठगांठ के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए उत्तराखंड विधानसभा कूच किया. प्रदर्शनकारी सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए जुलूस के रूप में रिस्पना के पास बैरिकेडिंग तक पहुंचे, लेकिन भारी पुलिस बल ने प्रदर्शनकारियों को अस्पताल के पास ही बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. इससे नाराज भाजपा कार्यकर्ता और नेता सड़क पर ही धरने पर बैठ गए. इसके बाद उन्होंने अपनी मांगों को लेकर जिला प्रशासन के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा.

देहरादून: राजधानी देहरादून के गांव गल्जवाड़ी की स्थानीय महिलाओं ने ग्राम प्रधान लीला शर्मा के नेतृत्व में विधानसभा कूच (women of Galjwadi village marched to the assembly) किया. हालांकि, पुलिस ने हरिद्वार रोड स्थित रिस्पना पुल से पहले प्रदर्शनकारी महिलाओं को बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. रोके जाने से नाराज प्रदर्शनकारी महिलाएं सड़क पर ही धरने पर बैठ गई और सरकार के खिलाफ नारेबाजी करने लगी.

इस दौरान अपनी मांगों को लेकर ग्राम प्रधान लीला शर्मा (Galjwadi village head Leela Sharma) की ओर से जिला प्रशासन के माध्यम से विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी को एक ज्ञापन सौंपा गया. ग्राम प्रधान लीला शर्मा ने बताया कि एक गांव में 60 से 70 सालों से बसे गांव वासियों की जमीन आबादी भूमि घोषित किए जाने के संबंध में वे बीते 16 सालों से संघर्षरत हैं. गांव के करीब 350 परिवार भूमि के मालिकाना हक की लड़ाई लड़ रहे हैं. इसके संबंध में गांववासियों ने कई बार डीएम और सीएम के समक्ष उपस्थित होकर अपनी समस्या बताई. लेकिन हर बार उन्हें भूमि को आबादी में घोषित कराए जाने का सिर्फ आश्वासन ही मिला है.

देहरादून के गल्जवाड़ी गांव की महिलाओं ने किया विधानसभा कूच.
ये भी पढ़ेंः विस सत्र का दूसरा दिन: स्पीकर का सदस्यों को साफ संदेश, सदन में मोबाइल का प्रयोग किया तो होगी कार्रवाई

लीला शर्मा का कहना है कि 2015 में तत्कालीन मुख्यमंत्री हरीश रावत की ओर से गांव में बसे परिवारों की भूमि को आबादी भूमि घोषित करने की घोषणा की गई थी. लेकिन उस पर भी कोई कार्रवाई शासन द्वारा नहीं की गई. उन्होंने कहा कि ग्रामवासी सालों से इस उम्मीद में बैठे हैं कि सरकार द्वारा शासनादेश पारित किया जाएगा. लेकिन आज भी स्थिति पुरानी जैसी ही है.

लीला शर्मा ने कहा कि ऐसे में उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष से मांग करते हुए कहा है कि इस सत्र में गल्जवाड़ी गांव में बने आवासों को राजस्व अभिलेखों में आबादी भूमि दर्ज करने के विधेयक को पारित किया जाए.

कम्युनिस्ट पार्टी के कार्यकर्ताओं ने किया विस कूचः भारत की कम्युनिस्ट पार्टी के कार्यकर्ताओं ने विधानसभा सत्र के दौरान भू माफियाओं, भ्रष्ट अधिकारी और राजनेताओं की सांठगांठ के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए उत्तराखंड विधानसभा कूच किया. प्रदर्शनकारी सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए जुलूस के रूप में रिस्पना के पास बैरिकेडिंग तक पहुंचे, लेकिन भारी पुलिस बल ने प्रदर्शनकारियों को अस्पताल के पास ही बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया. इससे नाराज भाजपा कार्यकर्ता और नेता सड़क पर ही धरने पर बैठ गए. इसके बाद उन्होंने अपनी मांगों को लेकर जिला प्रशासन के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा.

Last Updated : Nov 30, 2022, 2:31 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.