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सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर गिरोह करता था ठगी, शातिर लखनऊ से गिरफ्तार

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Published : Feb 21, 2021, 3:42 PM IST

उत्तराखंड STF ने सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर धोखाधड़ी करने वाले गिरोह के सदस्य को लखनऊ से गिरफ्तार किया है.

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सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर गिरोह करता था करोडों की धोखाधड़ी

देहरादून: उत्तराखंड STF को एक बार फिर से बड़ी सफलता मिली है. एसटीएफ ने सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह के शातिर सदस्य को लखनऊ से गिरफ्तार किया है. ये गिरोह देश के कई राज्यों में बेरोजगार लोगों से करोड़ो रुपयों की ठगी कर चुका है. जानाकारी के मुताबिक ये गिरोह FCI (फूड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया) में नौकरी का झांसा देकर पहाड़ के नौजवान युवक/युवतियों से दस-दस लाख रुपए लेकर धोखाधड़ी करता था.

पढ़ें- जोशीमठ रेस्क्यू LIVE: अबतक 62 शव बरामद, SDRF के साथ वैज्ञानिकों का 14 सदस्यीय दल जलभराव क्षेत्र के लिए रवाना

कई राज्यों में गैंग का नेटवर्क

स्पेशल टास्क फोर्स/साइबर पुलिस द्वारा इस गिरोह पर चार मुकदमे दर्ज किए गए हैं. हाल ही में सतपुली (पौड़ी) में भी एक मुकदमा हुआ दर्ज हुआ है. जनपद पिथौरागढ़ सहित पहाड़ी जनपदों में भी इसके खिलाफ शिकायतें मिली हैं. सरकारी विभागों में नौकरी दिलाने के नाम पर अब तक इस गिरोह द्वारा करीब एक करोड़ से ऊपर की रकम की धोखाधड़ी की गई है. गिरोह का मास्टरमाइंड पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है.

पढ़ें- चमोली हादसे में अब तक 62 शव बरामद, लापता लोगों की तलाश जारी

कैसे मामला आया सामने
देहरादून के रहने वाले एक युवक के साथ इसी प्रकार की घटना घटित हुई. जिसमें शिकायतकर्ता की पहचान उनके मित्र द्वारा अपने भाई एवं उसके दोस्त से करवायी. जिनके द्वारा शिकायतकर्ता को फूड कॉर्पोरेशन ऑफ इण्डिया में 10 लाख रुपये में नौकरी दिलाने की बात कही. जिस पर विश्वास करते हुये शिकायतकर्ता ने अपने जानकारों से पैसों की व्यवस्था की. जिसके बाद उसने फोन पे एप, चेक्स और कुछ नकद में कुल मिलाकर 10 लाख रुपए दिए.

जिसके बाद ठगों ने युवक का पुलिस वेरिफिकेशन भी करवाया. इसके बाद फूड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया का फर्जी आईकार्ड और ज्वॉनिंग लेटर भी थमा दिया और फर्जी तरीके से प्रशिक्षण भी गोरखपुर में करवाया. बाद में जब ज्वॉइनिंग लेटटर पर अंकित तिथि को शिकायतकर्ता ने अभियुक्तों को फोन किया तो उन्होंने फोन नहीं उठाया.

इस पर शक होने पर जब शिकायतकर्ता ने FCI देहरादून में जाकर आईकार्ड और ज्वॉनिंग लेटर के बारे में पता किया तो उसके होश उड़ गये. जिसके बाद शिकायतकर्ता ने साइबर क्राइम के समक्ष मामला दर्ज करवाया.

पढ़ें- चमोली आपदा पर सियासत तेज, हरदा के 'फेल' तंज पर सीएम त्रिवेंद्र का 'लड्डू' जवाब

इससे पहले गिरोह के मास्टरमाइंड विकास चन्द्रा को एसटीएफ टीम ने गिरफ्तार किया था. विकास चन्द्र की गिरफ्तारी के बाद साइबर क्राइम पुलिस ने वांछित चल रहे लोगों को उत्तर प्रदेश के जनपद लखनऊ से गिरफ्तार किया. गिरफ्तार अभियुक्त कपिल सैनी पुत्र धर्मपाल सैनी, निवासी 158 मोहल्ला नीलखुदाना, जनपद हरिद्वार का निवासी है.

बरामदगी

  • 3 मोबाइल फोन
  • 2 सिम कार्ड
  • बैंक पासबुक, चेकबुक व एटीएम कार्ड

देहरादून: उत्तराखंड STF को एक बार फिर से बड़ी सफलता मिली है. एसटीएफ ने सरकारी नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह के शातिर सदस्य को लखनऊ से गिरफ्तार किया है. ये गिरोह देश के कई राज्यों में बेरोजगार लोगों से करोड़ो रुपयों की ठगी कर चुका है. जानाकारी के मुताबिक ये गिरोह FCI (फूड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया) में नौकरी का झांसा देकर पहाड़ के नौजवान युवक/युवतियों से दस-दस लाख रुपए लेकर धोखाधड़ी करता था.

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कई राज्यों में गैंग का नेटवर्क

स्पेशल टास्क फोर्स/साइबर पुलिस द्वारा इस गिरोह पर चार मुकदमे दर्ज किए गए हैं. हाल ही में सतपुली (पौड़ी) में भी एक मुकदमा हुआ दर्ज हुआ है. जनपद पिथौरागढ़ सहित पहाड़ी जनपदों में भी इसके खिलाफ शिकायतें मिली हैं. सरकारी विभागों में नौकरी दिलाने के नाम पर अब तक इस गिरोह द्वारा करीब एक करोड़ से ऊपर की रकम की धोखाधड़ी की गई है. गिरोह का मास्टरमाइंड पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है.

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कैसे मामला आया सामने
देहरादून के रहने वाले एक युवक के साथ इसी प्रकार की घटना घटित हुई. जिसमें शिकायतकर्ता की पहचान उनके मित्र द्वारा अपने भाई एवं उसके दोस्त से करवायी. जिनके द्वारा शिकायतकर्ता को फूड कॉर्पोरेशन ऑफ इण्डिया में 10 लाख रुपये में नौकरी दिलाने की बात कही. जिस पर विश्वास करते हुये शिकायतकर्ता ने अपने जानकारों से पैसों की व्यवस्था की. जिसके बाद उसने फोन पे एप, चेक्स और कुछ नकद में कुल मिलाकर 10 लाख रुपए दिए.

जिसके बाद ठगों ने युवक का पुलिस वेरिफिकेशन भी करवाया. इसके बाद फूड कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया का फर्जी आईकार्ड और ज्वॉनिंग लेटर भी थमा दिया और फर्जी तरीके से प्रशिक्षण भी गोरखपुर में करवाया. बाद में जब ज्वॉइनिंग लेटटर पर अंकित तिथि को शिकायतकर्ता ने अभियुक्तों को फोन किया तो उन्होंने फोन नहीं उठाया.

इस पर शक होने पर जब शिकायतकर्ता ने FCI देहरादून में जाकर आईकार्ड और ज्वॉनिंग लेटर के बारे में पता किया तो उसके होश उड़ गये. जिसके बाद शिकायतकर्ता ने साइबर क्राइम के समक्ष मामला दर्ज करवाया.

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इससे पहले गिरोह के मास्टरमाइंड विकास चन्द्रा को एसटीएफ टीम ने गिरफ्तार किया था. विकास चन्द्र की गिरफ्तारी के बाद साइबर क्राइम पुलिस ने वांछित चल रहे लोगों को उत्तर प्रदेश के जनपद लखनऊ से गिरफ्तार किया. गिरफ्तार अभियुक्त कपिल सैनी पुत्र धर्मपाल सैनी, निवासी 158 मोहल्ला नीलखुदाना, जनपद हरिद्वार का निवासी है.

बरामदगी

  • 3 मोबाइल फोन
  • 2 सिम कार्ड
  • बैंक पासबुक, चेकबुक व एटीएम कार्ड
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