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कोरोनाकाल में टैक्सी-मैक्सी चालकों पर रोजी-रोटी का संकट, सरकार से लगाई गुहार

कोरोना की दूसरी लहर ने एक बार फिर लोगों की आर्थिक स्थिति कमजोर कर दी है. इसका सबसे ज्यादा असर टूरिज्म से जुड़े व्यवसायियों पर पड़ा है.

Taxi drivers stop work
टैक्सी चालकों का काम ठप
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Published : Apr 27, 2021, 10:02 AM IST

मसूरी: कोरोना संक्रमण को लेकर पूरे देश का हाल बेहाल है. कोरोना की दूसरी लहर कहर बरपा रही है. वहीं कोरोना के दूसरी लहर का सबसे ज्यादा असर टूरिज्म से जुड़े व्यवसायियों पर पड़ा है. कोरोना की वजह से टैक्सी-मैक्सी संचालकों का कारोबार चौपट हो चुका है. टैक्सी मैक्सी संचालकों ने इस महामारी में दो साल का टैक्स माफ करने की सरकार से अपील की है.

कोरोनाकाल में टैक्सी-मैक्सी चालकों पर रोजी-रोटी का संकट

टैक्सी-मैक्सी के थमे पहिए

मसूरी के टैक्सी चालकों पर एक बार फिर रोजी-रोटी का खतरा मंडराने लगा है. मसूरी टैक्सी कार एसोसिएशन में करीब 700 टैक्सी पंजीकृत हैं. लेकिन वर्तमान में टैक्सी-मैक्सी के पहिये पूरी तरीके से जाम हो चुके हैं. मसूरी में पर्यटकों की आमद ना के बराबर होने के कारण सभी व्यवसाय पूरी तरह से प्रभावित हो रहे हैं. जिसको लेकर व्यवसायियों और टैक्सी चालकों और संचालकों में चिंता की लकीरें साफ तौर पर देखी जा सकती हैं. पिछले साल कोरोना संक्रमण को लेकर टैक्सी और व्यवसायिक वाहनों के संचालकों की हालत काफी खराब हो गई थी.

कोरोना की दूसरी लहर ने बढ़ाई चिंता

बीच में कोरोना संक्रमण के हलके होने के बाद दी गई छूट के बाद प्रदेश में पर्यटन व्यवसाय में बढ़ोत्तरी हुई थी. यहां तक की पर्यटन सीजन को लेकर टैक्सी और व्यावसायिक वाहन संचालकों ने अपनी गाड़ियों की मेनटेंस के साथ सभी जरूरी कागजों को अपडेट कराया था. लेकिन कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर ने एक बार फिर से उनकी कमर तोड़ दी है.

ये भी पढ़ें: देहरादून जिले में यहां मिलेगा ऑक्सीजन, DM ने जारी की लिस्ट

क्या कह रहे संगठन के पदाधिकारी?

उत्तराखंड टैक्सी-मैक्सी महासंघ के अध्यक्ष सुंदर सिंह पंवार ने कहा कि टैक्सी और व्यवसायिक वाहन संचालकों की हालत बद से बदतर हो रही है. एक बार फिर पूरे प्रदेश में हजारों की तादाद में टैक्सी और व्यावसायिक वाहन के पहिए थम गए हैं. उन्होंने सरकार से व्यावसायिक वाहनों के साथ टैक्सी संचालकों की मदद करने की मांग की है. उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा व्यावसायिक वाहनों में दो साल के रोड टैक्स की छूट के साथ ही व्यावसायिक वाहन और टैक्सी संचालकों को आर्थिक मदद की जाए. साथ ही मोरेटोरियम में भी छूट दी जाए. उन्होंने कहा कि एक बार फिर बैंक टैक्सी और व्यावसायिक वाहनों के स्वामियों को लोन की किश्त जमा करने के लिए परेशान करना शुरू कर दिया है. इससे लोग काफी परेशान हैं. उन्होंने कहा कि जब वाहन और टैक्सी चल ही नहीं रहे हैं तो किश्त कैसे दी जायेगी.

ये भी पढ़ें: कोरोनाकाल में युवा समाजसेवियों ने बढ़ाए मदद के हाथ, जरूरतमंदों तक पहुंचा रहे भोजन और ऑक्सीजन सिलेंडर

टैक्सी-मैक्सी महासंघ के अध्यक्ष ने टैक्सी चालकों की समस्या के समाधान के लिए जल्द ही मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत से मुलाकात करने की बात कही. साथ ही प्रदेश की टैक्सी और व्यावसायिक वाहनों द्वारा कोरोना संक्रमण को लेकर हो रही परेशानियों पर बात करेंगे. इसके अलावा भी मुख्यमंत्री के सामने वो व्यावसायियों से जुड़े समस्याओं को रखेंगे.

मसूरी: कोरोना संक्रमण को लेकर पूरे देश का हाल बेहाल है. कोरोना की दूसरी लहर कहर बरपा रही है. वहीं कोरोना के दूसरी लहर का सबसे ज्यादा असर टूरिज्म से जुड़े व्यवसायियों पर पड़ा है. कोरोना की वजह से टैक्सी-मैक्सी संचालकों का कारोबार चौपट हो चुका है. टैक्सी मैक्सी संचालकों ने इस महामारी में दो साल का टैक्स माफ करने की सरकार से अपील की है.

कोरोनाकाल में टैक्सी-मैक्सी चालकों पर रोजी-रोटी का संकट

टैक्सी-मैक्सी के थमे पहिए

मसूरी के टैक्सी चालकों पर एक बार फिर रोजी-रोटी का खतरा मंडराने लगा है. मसूरी टैक्सी कार एसोसिएशन में करीब 700 टैक्सी पंजीकृत हैं. लेकिन वर्तमान में टैक्सी-मैक्सी के पहिये पूरी तरीके से जाम हो चुके हैं. मसूरी में पर्यटकों की आमद ना के बराबर होने के कारण सभी व्यवसाय पूरी तरह से प्रभावित हो रहे हैं. जिसको लेकर व्यवसायियों और टैक्सी चालकों और संचालकों में चिंता की लकीरें साफ तौर पर देखी जा सकती हैं. पिछले साल कोरोना संक्रमण को लेकर टैक्सी और व्यवसायिक वाहनों के संचालकों की हालत काफी खराब हो गई थी.

कोरोना की दूसरी लहर ने बढ़ाई चिंता

बीच में कोरोना संक्रमण के हलके होने के बाद दी गई छूट के बाद प्रदेश में पर्यटन व्यवसाय में बढ़ोत्तरी हुई थी. यहां तक की पर्यटन सीजन को लेकर टैक्सी और व्यावसायिक वाहन संचालकों ने अपनी गाड़ियों की मेनटेंस के साथ सभी जरूरी कागजों को अपडेट कराया था. लेकिन कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर ने एक बार फिर से उनकी कमर तोड़ दी है.

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क्या कह रहे संगठन के पदाधिकारी?

उत्तराखंड टैक्सी-मैक्सी महासंघ के अध्यक्ष सुंदर सिंह पंवार ने कहा कि टैक्सी और व्यवसायिक वाहन संचालकों की हालत बद से बदतर हो रही है. एक बार फिर पूरे प्रदेश में हजारों की तादाद में टैक्सी और व्यावसायिक वाहन के पहिए थम गए हैं. उन्होंने सरकार से व्यावसायिक वाहनों के साथ टैक्सी संचालकों की मदद करने की मांग की है. उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा व्यावसायिक वाहनों में दो साल के रोड टैक्स की छूट के साथ ही व्यावसायिक वाहन और टैक्सी संचालकों को आर्थिक मदद की जाए. साथ ही मोरेटोरियम में भी छूट दी जाए. उन्होंने कहा कि एक बार फिर बैंक टैक्सी और व्यावसायिक वाहनों के स्वामियों को लोन की किश्त जमा करने के लिए परेशान करना शुरू कर दिया है. इससे लोग काफी परेशान हैं. उन्होंने कहा कि जब वाहन और टैक्सी चल ही नहीं रहे हैं तो किश्त कैसे दी जायेगी.

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टैक्सी-मैक्सी महासंघ के अध्यक्ष ने टैक्सी चालकों की समस्या के समाधान के लिए जल्द ही मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत से मुलाकात करने की बात कही. साथ ही प्रदेश की टैक्सी और व्यावसायिक वाहनों द्वारा कोरोना संक्रमण को लेकर हो रही परेशानियों पर बात करेंगे. इसके अलावा भी मुख्यमंत्री के सामने वो व्यावसायियों से जुड़े समस्याओं को रखेंगे.

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