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STF ने महिला साइबर ठग को किया गिरफ्तार, फर्जी दस्तावेज किए जब्त - women cyber accused

नाइजीरियन स्कैम के नाम से धोखाधड़ी करने वाली महिला को एसटीएफ ने रविवार रात दिल्ली के महिपालपुर से गिरफ्तार किया है. एसटीएफ को महिला के कब्जे से कई मोबाइल, एटीम कार्ड, पेन कार्ड सहित अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद हुए हैं.

महिला साइबर ठग गिरफ्तार.
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Published : Sep 30, 2019, 8:45 AM IST

Updated : Sep 30, 2019, 8:54 AM IST

देहरादून: एसटीएफ ने 9 अगस्त 2019 को स्कैम धोखाधड़ी करने के मामले में नाइजीरियन गैंग के मनोज कुमार और लाल मल स्वामी को गिरफ्तार किया था. इस मामले में लगातार जांच कर रही पुलिस ने गैंग की मुख्य भूमिका निभाने वाली महिला नजनो यन्थान को महिपालपुर नई दिल्ली से गिरफ्तार किया है. एसटीएफ महिला के कब्जे से कई मोबाइल फोन, एटीएम कार्ड, पेन कार्ड और अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद हुए हैं. गैंग की मुख्य आरोपी महिला ने पूछताछ में बताया कि वह नाइजीरियन स्कैम बैंक से जुड़ी हुई है. उसके ग्रुप में 6 से 7 नाइजीरियन काम कर रहे हैं.

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ऐसे होता है स्कैम का संचालन

आरोपी महिला ने बताया कि पुलिस और सर्विलांस की नजर से बचने के लिए इनके द्वारा एक नया तरीका इजाद किया गया है. जिसमें कुछ नाइजीरियन जो पहले भारत में रहकर अपराध करते थे और अब विदेश में रहकर ही अपराधिक गतिविधियों का संचालन व सहयोग कर रहे हैं. ग्रुप का पूरा संचालन जैसे कि विदेशी नंबरों से कॉल करना, ईमेल भेजना, व्हाट्सएप करने का कार्य कर रहे हैं. दूसरी ओर इनके अपराधिक साथी जो भारत में रह रहे हैं, उनका मोबाइल नंबर लोगों को भारत में विदेशी कंपनी के एजेंट के रूप में उपलब्ध कराते हैं.

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इसके बाद पैसों के लेनदेन का खेल शुरू होता है. जिसके लिए अधिकतर महिलाओं के फोन नंबर का प्रयोग किया जाता है जिससे कस्टमर महिलाओं से बात करके उनसे संतुष्ट हो जाए. एसटीएफ डीआईजी रिद्धिम अग्रवाल ने बताया कि नाइजीरियन अपराधी भारत में भी व्हाट्सएप को अपने विदेशी नंबर से ही चलाते हैं. जिसके चलते उनको ट्रेस करना मुश्किल होता है. जिनकी एटीएम लिमिट और ऑनलाइन परचेज लिमिट ज्यादा होती है उन एटीएम कार्ड क्रेडिट कार्ड सहित बैंक खातों के एवज में आरोपियों को अच्छा पैसा मिलता है.

उन्होंने बताया कि नाइजीरियन गैंग से जुड़ी महिलाएं अधिकतर मिशनरी चैरिटी सेंटर और चर्च आदि स्थानों पर आना जाना ज्यादा रखते हैं. जिससे यहां पर आसानी से लोगों को फसाया जाता है. इस गैंग से कई लाख रुपयों की धोखाधड़ी किए जाने के साक्ष्य भी मिले हैं. मामले में जांच जारी है.

देहरादून: एसटीएफ ने 9 अगस्त 2019 को स्कैम धोखाधड़ी करने के मामले में नाइजीरियन गैंग के मनोज कुमार और लाल मल स्वामी को गिरफ्तार किया था. इस मामले में लगातार जांच कर रही पुलिस ने गैंग की मुख्य भूमिका निभाने वाली महिला नजनो यन्थान को महिपालपुर नई दिल्ली से गिरफ्तार किया है. एसटीएफ महिला के कब्जे से कई मोबाइल फोन, एटीएम कार्ड, पेन कार्ड और अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद हुए हैं. गैंग की मुख्य आरोपी महिला ने पूछताछ में बताया कि वह नाइजीरियन स्कैम बैंक से जुड़ी हुई है. उसके ग्रुप में 6 से 7 नाइजीरियन काम कर रहे हैं.

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ऐसे होता है स्कैम का संचालन

आरोपी महिला ने बताया कि पुलिस और सर्विलांस की नजर से बचने के लिए इनके द्वारा एक नया तरीका इजाद किया गया है. जिसमें कुछ नाइजीरियन जो पहले भारत में रहकर अपराध करते थे और अब विदेश में रहकर ही अपराधिक गतिविधियों का संचालन व सहयोग कर रहे हैं. ग्रुप का पूरा संचालन जैसे कि विदेशी नंबरों से कॉल करना, ईमेल भेजना, व्हाट्सएप करने का कार्य कर रहे हैं. दूसरी ओर इनके अपराधिक साथी जो भारत में रह रहे हैं, उनका मोबाइल नंबर लोगों को भारत में विदेशी कंपनी के एजेंट के रूप में उपलब्ध कराते हैं.

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इसके बाद पैसों के लेनदेन का खेल शुरू होता है. जिसके लिए अधिकतर महिलाओं के फोन नंबर का प्रयोग किया जाता है जिससे कस्टमर महिलाओं से बात करके उनसे संतुष्ट हो जाए. एसटीएफ डीआईजी रिद्धिम अग्रवाल ने बताया कि नाइजीरियन अपराधी भारत में भी व्हाट्सएप को अपने विदेशी नंबर से ही चलाते हैं. जिसके चलते उनको ट्रेस करना मुश्किल होता है. जिनकी एटीएम लिमिट और ऑनलाइन परचेज लिमिट ज्यादा होती है उन एटीएम कार्ड क्रेडिट कार्ड सहित बैंक खातों के एवज में आरोपियों को अच्छा पैसा मिलता है.

उन्होंने बताया कि नाइजीरियन गैंग से जुड़ी महिलाएं अधिकतर मिशनरी चैरिटी सेंटर और चर्च आदि स्थानों पर आना जाना ज्यादा रखते हैं. जिससे यहां पर आसानी से लोगों को फसाया जाता है. इस गैंग से कई लाख रुपयों की धोखाधड़ी किए जाने के साक्ष्य भी मिले हैं. मामले में जांच जारी है.

Intro:नाइजीरियन स्कैम के नाम से धोखाधड़ी जैसे आम जनमानस को व्यापार में भागीदारी,लॉटरी जीतने विदेशी फंड को भारत में निवेश करने के नाम पर फंड ट्रांसफर और फेसबुक के माध्यम से दोस्ती कर उपहार भेजने का लालच देकर नाइजीरियन गिरोह की नागालैंड निवासी महिला को एसटीएफ ने कल रात दिल्ली महिपालपुर से गिरफ्तार किया।एसटीएफ को महिला के कब्जे से कई मोबाइल,एटीम कार्ड,पेन कार्ड सहित अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद किए।पुलिस और सर्विलांस की नजर से बचने के लिए इनके द्वारा नया तरीका इजाद किया गया है,कुछ नाजीरियन जो पहले भारत में रहकर अपराध करते थे और अब विदेश में रहकर ही अपराधिक गतिविधियों का संचालन में सहयोग कर रहे हैं।साथ ही नाइजीरियन गिरोह के लोग भारत में रहकर आपराधिक गतिविधियों को अंजाम दे रहे है वह सभी विदेशी नंबर पर अपना व्हाट्सएप चलाते है जिस कारण पुलिस द्वारा इनको ट्रेस करना बहुत मुश्किल होता है।


Body:एसटीएफ द्वारा 9 अगस्त 2019 को गिरफ्तार हुए नाइजीरियन गैंग के मनोज कुमार और लाल मल स्वामी से पूछताछ में गैंग की मुख्य भूमिका निभाने वाली महिला नज़नो यन्थान के बारे में बताया।और एसटीएफ को मिली जानकारी के अनुसार और मोबाइल नंबर व तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर एसटीएफ ने नागालैंड निवासी नज़नो यन्थान को महिपालपुर नई दिल्ली से गिरफ्तार किया महिला के कब्जे से कई मोबाइल फ़ोन एटीएम कार्ड पैन कार्ड और अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद हुए।
गिरफ्तार महिला ने पूछताछ में बताया कि वह नाइजीरियन स्कैम बैंक से जुड़ी हुई है उसके नजदीकी ग्रुप में 6 से 7 नाइजीरियन काम कर रहे हैं। पुलिस और सर्विलांस की नजर से बचने के लिए इनके द्वारा एक नया तरीका इजाद किया गया है कि कुछ नाइजीरियन जो पहले भारत में रहकर अपराध करते थे और अब विदेश में रहकर ही अपराधिक गतिविधियों का संचालन व सहयोग कर रहे हैं और ग्रुप का पूर्ण संचालन जैसे कि विदेशी नंबरों से कॉल करना,ईमेल भेजना,व्हाट्सएप करना कार्य कर रहे हैं ताकि फसाए जा रहे जनता को इस बात का यकीन हो जाए कि विदेश से भेजे जाने वाली धनराशि के संबंध में कॉलर की लोकेशन वास्तव में विदेश में ही है।दूसरी ओर इनके अपराधिक साथी जो भारत में रह रहे हैं उनका मोबाइल नंबर लोगों को भारत में विदेशी कंपनी के एजेंट के रूप में उपलब्ध कराते हैं इसके बाद पैसों के लेनदेन का खेल शुरू होता है जिसके लिए अधिकतर महिलाओं के फोन नंबर का प्रयोग किया जाता है ताकि कस्टमर महिलाओं से बात करके उनसे संतुष्ट हो जाए।


Conclusion:एसटीएफ डीआईजी रिद्धिम अग्रवाल ने बताया कि नाइजीरियन अपराधी भारत में भी व्हाट्सएप को अपने विदेशी नंबर से ही चलाते हैं जिस कारण उनको ट्रेस करना मुश्किल होता है।और जिनकी एटीएम लिमिट और ऑनलाइन परचेज लिमिट ज्यादा होती है उन एटीएम कार्ड क्रेडिट कार्ड सहित बैंक खातों के एवज में आरोपियों को अच्छा पैसा मिलता है।नाइजीरियन गैंग से जुड़ी महिलाएं अधिकतर मिशनरी चैरिटी सेंटर और चर्च आदि स्थानों पर आना जाना ज्यादा रखते हैं क्योंकि यहां पर आसानी से लोगों को फसाया जाता है।इस गैंग द्वारा धोखाधड़ी से कई लाख रुपयों की धोखाधड़ी किए जाने के साक्ष्य भी मिले हैं और जांच के बाद उम्मीद की जा रही है कि ठगी गई धनराशि करोड़ों में भी हो सकती है जिस पर अग्रिम कार्रवाई की जा रही है।साथ ही संबंधित राज्यों व पीड़ितों से संपर्क किया जा रहा है।

विसुल मेल किये गए है,मेल से उठाने की कृपा करें।
धन्यवाद।
Last Updated : Sep 30, 2019, 8:54 AM IST
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