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कांवड़ियों पर करेंगे फूलों की बरसात, राज्य सरकार ने तैयार किया प्लान

सावन महीने की शुरूआत होते ही कांवड़ यात्रा भी शुरू हो जाती है. कांवड़ियों का विशेष महत्व होने के कारण राज्य सरकार ने कांवड़ियों पर फूलों की वर्षा करने की बात कही है.

इस साल होगी कांवड़ियों पर फूलों की बारिश.
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Published : Jul 18, 2019, 10:34 PM IST

देहरादून: सावन महीने में कांवड़ यात्रा का विशेष महत्व होता है. यही वजह है कि सावन का महीना शुरू होते ही लाखों की संख्या में कांवड़िए हरिद्वार गंगाजल भरने आते हैं. उसके बाद वह पैदल यात्रा कर ही अपने गंतव्य की ओर रवाना हो जाते हैं.

बुधवार 17 जुलाई से सावन महीने की शुरुआत होते ही कांवड़ यात्रा शुरू हो गई है. अलग-अलग क्षेत्रों से कांवड़िए हरिद्वार की ओर रवाना हो गए हैं. कांवरियों के स्वागत के लिए राज्य सरकार ने यूपी की तर्ज पर हेलीकॉप्टर से कांवड़ियों पर फूलों की वर्षा करने की बात कही है. कांवड़ मेला खत्म होने के बाद राज्य सरकार कांवड़ियों पर फूलों की वर्षा करेगी.

इस साल होगी कांवड़ियों पर फूलों की बारिश.
एक कार्यक्रम के दौरान कांवड़ियों पर फूलों की वर्षा पर पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने बताया कि शिवरात्रि के दिन कांवड़ियों के ऊपर फूलों की वर्षा हो. साथ ही कहा कि कांवड़ियों का अभिनंदन और स्वागत किया जाए. कांवड़ियों के रूप में उत्तराखंड आकर हमें सेवा करने का अवसर दिया जाए. कांवड़ यात्रा को देखते हुए सारी तैयारियां पूरी हो चुकी है. इसके लिए वैकल्पिक मार्ग बनाया गया है जिससे जाम की स्थिति न बने. सुरक्षा व्यवस्था के लिहाज से भी पुख़्ता इंतजाम किए गए हैं.

देहरादून: सावन महीने में कांवड़ यात्रा का विशेष महत्व होता है. यही वजह है कि सावन का महीना शुरू होते ही लाखों की संख्या में कांवड़िए हरिद्वार गंगाजल भरने आते हैं. उसके बाद वह पैदल यात्रा कर ही अपने गंतव्य की ओर रवाना हो जाते हैं.

बुधवार 17 जुलाई से सावन महीने की शुरुआत होते ही कांवड़ यात्रा शुरू हो गई है. अलग-अलग क्षेत्रों से कांवड़िए हरिद्वार की ओर रवाना हो गए हैं. कांवरियों के स्वागत के लिए राज्य सरकार ने यूपी की तर्ज पर हेलीकॉप्टर से कांवड़ियों पर फूलों की वर्षा करने की बात कही है. कांवड़ मेला खत्म होने के बाद राज्य सरकार कांवड़ियों पर फूलों की वर्षा करेगी.

इस साल होगी कांवड़ियों पर फूलों की बारिश.
एक कार्यक्रम के दौरान कांवड़ियों पर फूलों की वर्षा पर पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने बताया कि शिवरात्रि के दिन कांवड़ियों के ऊपर फूलों की वर्षा हो. साथ ही कहा कि कांवड़ियों का अभिनंदन और स्वागत किया जाए. कांवड़ियों के रूप में उत्तराखंड आकर हमें सेवा करने का अवसर दिया जाए. कांवड़ यात्रा को देखते हुए सारी तैयारियां पूरी हो चुकी है. इसके लिए वैकल्पिक मार्ग बनाया गया है जिससे जाम की स्थिति न बने. सुरक्षा व्यवस्था के लिहाज से भी पुख़्ता इंतजाम किए गए हैं.
Intro:सावन महीने में कांवड़ यात्रा का विशेष महत्व है यही वजह है कि सावन का महीना शुरू होते ही लाखों की संख्या में कावड़िये हरिद्वार गंगाजल भरने आते हैं और फिर पैदल यात्रा कर ही अपने गंतव्य की ओर रवाना हो जाते हैं। बुधवार यानी 17 जुलाई से सावन महीना की शुरुआत होते ही कावड़ यात्रा शुरू हो गई है। और अलग-अलग क्षेत्रो से कावड़िये हरिद्वार की और रवाना हो गए है। कांवरियों के स्वागत के लिए राज्य सरकार ने यूपी की तर्ज पर हेलीकॉप्टर से कावड़ियों पर फूलों की वर्षा करने की बात कह रही थी। लेकिन अब ऐसा लगता है कि कावड़ मेला खत्म होने के बाद राज्य सरकार कावड़ियों पर फूलों की वर्षा करेगी?


Body:जी हाँ सावन का महीना 17 जुलाई से शुरू हो गयी है, और सावन का महीना शुरू होते ही कावड़िए पैदल यात्रा कर जल भरने निकल जाते है और शिवरात्रि से पहले जल भरकर अपने गंतव्य को पहुच जाते है। और शिवरात्रि के दिन कावड़िए भगवान शंकर का अभिषेक करते है। ऐसे में शिवरात्रि के दिन हरिद्वार में स्थानीय लोगो के अलावा दूर-दूर से जल भरने आये कावड़िए तक तब अपने गंतव्य को पहुच जाते है, लेकिन इस दिन राज्य सरकार कावड़ियों पर फूलों की वर्षा करने की बात कह रही है। जब स्थानीय लोगो के अलावा कोई और कावड़िया उत्तराखंड में मौजूद नही होगा। ऐसे में राज्य सरकार पर बड़ा सवाल खड़ा हो रहा हूं कि जब शिवरात्रि तक कावड़ियों का मेला खत्म हो जाएगा तो राज्य सरकार किस पर फूलों की वर्षा करेगी। 

एक कार्यक्रम के दौरान कावड़ियों पर फूलों की वर्षा के सवाल पर पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने बताया कि शिवरात्रि के दिन चाहेंगे की कावड़ियों के ऊपर फूलों की वर्षा हो। साथ ही कहा कि कावड़ियों का अभिनंदन और स्वागत करते हैं। और कावड़ियों के रूप में उत्तराखंड आकर हमें सेवा करने का अवसर दिया। कावड़ यात्रा को देखते हुए सारी तैयारियां पूरी हो चुकी है इसके लिए वैकल्पिक मार्ग बनाया गया है ताकि जाम की स्थिति ना बने, और सुरक्षा व्यवस्था के लिहाज से भी पुख़्ता इंतजामात किए गए हैं।


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