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उत्तराखंड में डेंगू के मरीजों की संख्या हुई 500 पार, एम्स ऋषिकेश और देहरादून में 7 प्लस अभियान

उत्तराखंड में डेंगू बड़ा रूप लेता जा रहा है. राज्य में डेंगू मरीजों की संख्या 500 पार हो गई है. ऋषिकेश में डेंगू के खिलाफ एम्स और नगर निगम ने 7 प्लस वन अभियान के तहत जागरूकता अभियान चलाया. टीम ने लोगों को जागरूक करने के साथ ही डेंगू लार्वा मच्छर प्वाइंट को चिन्हित करके लोगों से ही नष्ट कराया. वहीं, देहरादून नगर निगम ने शहर में फॉगिंग अभियान चलाया.

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डेंगू
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Published : Sep 19, 2022, 9:49 AM IST

Updated : Sep 19, 2022, 10:21 AM IST

ऋषिकेश: उत्तराखंड में डेंगू के मरीजों की संख्या 500 के पार पहुंच गई है. प्रभारी सचिव स्वास्थ्य डॉक्टर आर राजेश कुमार ने बताया कि डेंगू को फैलने से रोकने के लिए सभी जिलों को दिशा निर्देश जारी कर दिए गए हैं. प्रदेश के पांच जिलों में अब तक डेंगू के मामले सामने आ चुके हैं.

देहरादून में डेंगू के सबसे ज्यादा केस: डेंगू के सबसे ज्यादा 279 केस देहरादून में सामने आए हैं. हरिद्वार भी डेंगू की गिरफ्त में है. यहां डेंगू के 123 मामले सामने आए हैं. पौड़ी जिले में 60 और इससे सटे जिले टिहरी में डेंगू के 22 मामले सामने आए हैं. नैनीताल जिले में डेंगू के 8 मरीज मिले हैं. 8 जिलों में डेंगू के मामले सामने नहीं आए हैं.

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नेशनल हेल्थ मिशन ने जारी की सूचना

डेंगू रोकने के लिए 7 प्लस अभियान: डेंगू के कहर को रोकने के लिए एम्स ऋषिकेश एवं नगर निगम के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित 7 प्लस वन अभियान के तहत विभिन्न इलाकों में जनसमुदाय को डेंगू को लेकर जागरूक किया (Nigam and AIIMS Rishikesh launched campaign) गया. सघन जन जागरूकता अभियान के तहत मायाकुंड, चंद्रेश्वर नगर, चंद्रभागा, सर्वहारा नगर आदि इलाकों में लोगों को इस खतरनाक बीमारी के प्रति आगाह करने के साथ ही कई जगहों पर गंदगी से उत्पन्न डेंगू मच्छर का लार्वा नष्ट किया (Dengue mosquito larvae destroyed) गया.

गौरतलब है कि एम्स संस्थान व नगर निगम प्रशासन ने स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से बीते 11 सितंबर से सेवन प्लस अभियान शुरू किया था. मायाकुंड ऋषिकेश से शुरू की गई. इस मुहिम का मुख्य उद्देश्य सामूहिक रूप से मिलकर डेंगू संभावित क्षेत्रों के जनसमुदाय में डेंगू के प्रति जागरूकता फैलाना और स्थानीय जन मानस को डेंगू से निजात दिलाना है. साथ ही सेवन प्लस वन कार्यक्रम में सभी की सहभागिता को सुनिश्चित करना है.

क्या है 7 प्लस अभियान: सेवन प्लस वन अभियान के संस्थापक एम्स के सह आचार्य डॉक्टर संतोष कुमार का कहना है कि हम 7 दिनों तक स्थानीय जनता का समूह बनाकर अपने घर व इलाके में डेंगू मच्छर का लार्वा उत्पन्न करने वाली जगह को नष्ट कर अभियान को आगे बढ़ाते हैं तथा साथ ही दूसरों को इसके लिए प्रेरित करते हैं. इससे डेंगू का लार्वा मच्छर में परिवर्तित नहीं हो पाएगा. उन्होंने बताया कि इन 7 दिन के पश्चात हर रविवार हफ्ते में एक बार इसी अभियान को दोहराया जाएगा.
ये भी पढ़ेंः देहरादून में बढ़ रही डेंगू मरीजों की संख्या, मुख्य विकास अधिकारी ने किया कोरोनेशन अस्पताल का निरीक्षण

उन्होंने बताया कि बीते 7 दिनों में ऋषिकेश नगर निगम महापौर अनिता ममगाईं एवं नगर आयुक्त के साथ ही एसपीएस राजकीय अस्पताल के सुरेंद्र सिंह यादव आदि के कुशल नेतृत्व में वरिष्ठ नागरिक कल्याण संगठन के सदस्य, यूपीएचसी सेंटर के एएनएम व एम्स के सोशल आउटरीच स्टाफ द्वारा सेवन प्लस वन कार्यक्रम चलाया गया था. इसमें मायाकुंड, चंद्रेश्वर नगर, चंद्रभागा, बीस बीघा, बापू ग्राम, शांति नगर, नंदू फार्म, गंगानगर आदि स्थान शामिल हैं. उन्होंने बताया कि 11 सितंबर से पहले इन तमाम इलाकों में डेंगू के 56 मरीज पाए गए थे और डेंगू सेवन प्लस अभियान चलाने के पश्चात इन जगहों में केवल 25 मरीज ही पाए गए हैं. लिहाजा अभियान के बाद डेंगू के मामले इन जगहों पर 50 प्रतिशत से भी कम हो गए हैं.

डॉ. संतोष कुमार के मुताबिक, वरिष्ठ नागरिक कल्याण संगठन ऋषिकेश के सदस्य ब्रह्म कुमार शर्मा, सत्येंद्र कुमार, हेम कुमार पांडे, राजकीय अस्पताल के एसएस यादव आदि की अगुवाई में टीम द्वारा स्थानीय लोगों को एकजुट करके एक टीम बनाई, जिसने नियमित तौर पर घर घर जाकर इकट्ठा हुए पानी को नष्ट किया तथा डेंगू लार्वा मच्छर प्वाइंट को चिन्हित करके लोगों से ही नष्ट कराया. नगर निगम टीम द्वारा इन जगहों पर कीटनाशक दवाइयों का छिड़काव भी किया गया.

इस अभियान के नोडल अधिकारी डॉ. संतोष कुमार ने बताया कि मोहल्ले या घर में रुके हुए पानी जैसे- गमलों में, टायरों में, कूलर, फ्रिज आदि में रुके हुए पानी से डेंगू मच्छर जन्म लेते व फैलते हैं. उन्होंने जनता से अपील की है कि डेंगू के कहर की रोकथाम के लिए केवल प्रशासन एवं नगर निगम पर ही निर्भर न रहें बल्कि खुद से एक टीम बनाकर अपने मोहल्ले, कार्य स्थलों पर 7 दिन तक पानी को जमा नहीं होने दें. साफ सफाई रखें व कीटनाशक दवाओं के छिड़काव के लिए नगर निगम से संपर्क करके संकल्प के साथ डेंगू मच्छर से बचाव के उपाय करें.

डेंगू से बचने के उपाए

  1. इस समय जिस किसी व्यक्ति में डेंगू बुखार के लक्षण हैं, वह घबराए नहीं और घर में रहकर आराम करें.
  2. अपने पूरे शरीर को ढक कर रखें, खासकर दिन के समय मच्छरदानी का उपयोग करें, ताकि मच्छर के द्वारा दूसरे व्यक्तियों में डेंगू न फैल सके.
  3. खूब पानी पिएं, अपने आपको खूब हाइड्रेट रखें.
  4. ज्यादा बुखार आने पर केवल पैरासिटामोल दवा का ही सेवन करें.
  5. शरीर पर लाल व सफेद रंग के चकत्ते पड़ने पर तथा शरीर में नाक/ मुंह से रक्तस्राव होने पर तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें.
    ये भी पढ़ेंः ऋषिकेश राजकीय चिकिसालय पहुंचीं महापौर अनिता ममगाईं, डेंगू वार्ड और ब्लड बैंक का किया निरीक्षण

नगर निगम ने चलाया अभियानः देहरादून में लगातार डेंगू के मामले बढ़ रहे हैं. स्वास्थ्य विभाग ने जहां सभी डॉक्टरों को एक्टिव मोड पर रखा हुआ है तो जिला प्रशासन डेंगू की रोकथाम के लिए अभियान चला रहा है. दून नगर निगम की टीम ने शहर की कई कॉलोनियों में सघन फॉगिंग अभियान चलाया. बद्रीश कॉलोनी, अपर राजीव नगर, लोअर राजीव नगर, चकशाह नगर, शास्त्री नगर, अजबपुर, नेहरू कॉलोनी, रिस्पना नगर में सघन फॉगिंग अभियान चलाया गया. इसमें 6 छोटी पोर्टेबल मशीन और दो बड़ी मशीनों के माध्यम से कार्य किया गया.

इस अभियान में पार्षद सहित आशा कार्यकर्ता और नगर निगम टीम द्वारा डेंगू विरोधी जागरूकता अभियान भी चलाया गया. वरिष्ठ स्वास्थ्य अधिकारी अविनाश खन्ना ने बताया कि नगर निगम क्षेत्र की कई कॉलोनियों में डेंगू की रोकथाम के लिए फॉगिंग अभियान के साथ जागरूकता अभियान चलाया गया. साथ ही इस तरह का अभियान आगे भी जारी रहेगा.

ऋषिकेश: उत्तराखंड में डेंगू के मरीजों की संख्या 500 के पार पहुंच गई है. प्रभारी सचिव स्वास्थ्य डॉक्टर आर राजेश कुमार ने बताया कि डेंगू को फैलने से रोकने के लिए सभी जिलों को दिशा निर्देश जारी कर दिए गए हैं. प्रदेश के पांच जिलों में अब तक डेंगू के मामले सामने आ चुके हैं.

देहरादून में डेंगू के सबसे ज्यादा केस: डेंगू के सबसे ज्यादा 279 केस देहरादून में सामने आए हैं. हरिद्वार भी डेंगू की गिरफ्त में है. यहां डेंगू के 123 मामले सामने आए हैं. पौड़ी जिले में 60 और इससे सटे जिले टिहरी में डेंगू के 22 मामले सामने आए हैं. नैनीताल जिले में डेंगू के 8 मरीज मिले हैं. 8 जिलों में डेंगू के मामले सामने नहीं आए हैं.

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नेशनल हेल्थ मिशन ने जारी की सूचना

डेंगू रोकने के लिए 7 प्लस अभियान: डेंगू के कहर को रोकने के लिए एम्स ऋषिकेश एवं नगर निगम के संयुक्त तत्वाधान में आयोजित 7 प्लस वन अभियान के तहत विभिन्न इलाकों में जनसमुदाय को डेंगू को लेकर जागरूक किया (Nigam and AIIMS Rishikesh launched campaign) गया. सघन जन जागरूकता अभियान के तहत मायाकुंड, चंद्रेश्वर नगर, चंद्रभागा, सर्वहारा नगर आदि इलाकों में लोगों को इस खतरनाक बीमारी के प्रति आगाह करने के साथ ही कई जगहों पर गंदगी से उत्पन्न डेंगू मच्छर का लार्वा नष्ट किया (Dengue mosquito larvae destroyed) गया.

गौरतलब है कि एम्स संस्थान व नगर निगम प्रशासन ने स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से बीते 11 सितंबर से सेवन प्लस अभियान शुरू किया था. मायाकुंड ऋषिकेश से शुरू की गई. इस मुहिम का मुख्य उद्देश्य सामूहिक रूप से मिलकर डेंगू संभावित क्षेत्रों के जनसमुदाय में डेंगू के प्रति जागरूकता फैलाना और स्थानीय जन मानस को डेंगू से निजात दिलाना है. साथ ही सेवन प्लस वन कार्यक्रम में सभी की सहभागिता को सुनिश्चित करना है.

क्या है 7 प्लस अभियान: सेवन प्लस वन अभियान के संस्थापक एम्स के सह आचार्य डॉक्टर संतोष कुमार का कहना है कि हम 7 दिनों तक स्थानीय जनता का समूह बनाकर अपने घर व इलाके में डेंगू मच्छर का लार्वा उत्पन्न करने वाली जगह को नष्ट कर अभियान को आगे बढ़ाते हैं तथा साथ ही दूसरों को इसके लिए प्रेरित करते हैं. इससे डेंगू का लार्वा मच्छर में परिवर्तित नहीं हो पाएगा. उन्होंने बताया कि इन 7 दिन के पश्चात हर रविवार हफ्ते में एक बार इसी अभियान को दोहराया जाएगा.
ये भी पढ़ेंः देहरादून में बढ़ रही डेंगू मरीजों की संख्या, मुख्य विकास अधिकारी ने किया कोरोनेशन अस्पताल का निरीक्षण

उन्होंने बताया कि बीते 7 दिनों में ऋषिकेश नगर निगम महापौर अनिता ममगाईं एवं नगर आयुक्त के साथ ही एसपीएस राजकीय अस्पताल के सुरेंद्र सिंह यादव आदि के कुशल नेतृत्व में वरिष्ठ नागरिक कल्याण संगठन के सदस्य, यूपीएचसी सेंटर के एएनएम व एम्स के सोशल आउटरीच स्टाफ द्वारा सेवन प्लस वन कार्यक्रम चलाया गया था. इसमें मायाकुंड, चंद्रेश्वर नगर, चंद्रभागा, बीस बीघा, बापू ग्राम, शांति नगर, नंदू फार्म, गंगानगर आदि स्थान शामिल हैं. उन्होंने बताया कि 11 सितंबर से पहले इन तमाम इलाकों में डेंगू के 56 मरीज पाए गए थे और डेंगू सेवन प्लस अभियान चलाने के पश्चात इन जगहों में केवल 25 मरीज ही पाए गए हैं. लिहाजा अभियान के बाद डेंगू के मामले इन जगहों पर 50 प्रतिशत से भी कम हो गए हैं.

डॉ. संतोष कुमार के मुताबिक, वरिष्ठ नागरिक कल्याण संगठन ऋषिकेश के सदस्य ब्रह्म कुमार शर्मा, सत्येंद्र कुमार, हेम कुमार पांडे, राजकीय अस्पताल के एसएस यादव आदि की अगुवाई में टीम द्वारा स्थानीय लोगों को एकजुट करके एक टीम बनाई, जिसने नियमित तौर पर घर घर जाकर इकट्ठा हुए पानी को नष्ट किया तथा डेंगू लार्वा मच्छर प्वाइंट को चिन्हित करके लोगों से ही नष्ट कराया. नगर निगम टीम द्वारा इन जगहों पर कीटनाशक दवाइयों का छिड़काव भी किया गया.

इस अभियान के नोडल अधिकारी डॉ. संतोष कुमार ने बताया कि मोहल्ले या घर में रुके हुए पानी जैसे- गमलों में, टायरों में, कूलर, फ्रिज आदि में रुके हुए पानी से डेंगू मच्छर जन्म लेते व फैलते हैं. उन्होंने जनता से अपील की है कि डेंगू के कहर की रोकथाम के लिए केवल प्रशासन एवं नगर निगम पर ही निर्भर न रहें बल्कि खुद से एक टीम बनाकर अपने मोहल्ले, कार्य स्थलों पर 7 दिन तक पानी को जमा नहीं होने दें. साफ सफाई रखें व कीटनाशक दवाओं के छिड़काव के लिए नगर निगम से संपर्क करके संकल्प के साथ डेंगू मच्छर से बचाव के उपाय करें.

डेंगू से बचने के उपाए

  1. इस समय जिस किसी व्यक्ति में डेंगू बुखार के लक्षण हैं, वह घबराए नहीं और घर में रहकर आराम करें.
  2. अपने पूरे शरीर को ढक कर रखें, खासकर दिन के समय मच्छरदानी का उपयोग करें, ताकि मच्छर के द्वारा दूसरे व्यक्तियों में डेंगू न फैल सके.
  3. खूब पानी पिएं, अपने आपको खूब हाइड्रेट रखें.
  4. ज्यादा बुखार आने पर केवल पैरासिटामोल दवा का ही सेवन करें.
  5. शरीर पर लाल व सफेद रंग के चकत्ते पड़ने पर तथा शरीर में नाक/ मुंह से रक्तस्राव होने पर तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें.
    ये भी पढ़ेंः ऋषिकेश राजकीय चिकिसालय पहुंचीं महापौर अनिता ममगाईं, डेंगू वार्ड और ब्लड बैंक का किया निरीक्षण

नगर निगम ने चलाया अभियानः देहरादून में लगातार डेंगू के मामले बढ़ रहे हैं. स्वास्थ्य विभाग ने जहां सभी डॉक्टरों को एक्टिव मोड पर रखा हुआ है तो जिला प्रशासन डेंगू की रोकथाम के लिए अभियान चला रहा है. दून नगर निगम की टीम ने शहर की कई कॉलोनियों में सघन फॉगिंग अभियान चलाया. बद्रीश कॉलोनी, अपर राजीव नगर, लोअर राजीव नगर, चकशाह नगर, शास्त्री नगर, अजबपुर, नेहरू कॉलोनी, रिस्पना नगर में सघन फॉगिंग अभियान चलाया गया. इसमें 6 छोटी पोर्टेबल मशीन और दो बड़ी मशीनों के माध्यम से कार्य किया गया.

इस अभियान में पार्षद सहित आशा कार्यकर्ता और नगर निगम टीम द्वारा डेंगू विरोधी जागरूकता अभियान भी चलाया गया. वरिष्ठ स्वास्थ्य अधिकारी अविनाश खन्ना ने बताया कि नगर निगम क्षेत्र की कई कॉलोनियों में डेंगू की रोकथाम के लिए फॉगिंग अभियान के साथ जागरूकता अभियान चलाया गया. साथ ही इस तरह का अभियान आगे भी जारी रहेगा.

Last Updated : Sep 19, 2022, 10:21 AM IST
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