देहरादून: कोरोना के बढ़ते खतरे को देखते हुए उत्तराखंड की चारधाम यात्रा को फिलहाल स्थगित कर दिया गया है. हालांकि चारों धामों के कपाट अपनी नियत तिथि पर अपने पूरे विधि-विधान के साथ खुलेंगे. धामों में सिर्फ तीर्थ पुरोहित और हक-हकूकधारियों को ही जाने की अनुमति होगी. लेकिन उसके लिए भी उन्हें कोविड-19 प्रोटोकॉल के तहत कोरोना टेस्ट कराना होगा. निगेटिव रिपोर्ट आने के बाद ही उन्हें धामों में जाने की अनुमति ही जाएगी.
वहीं, आयुक्त गढ़वाल और उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी रविनाथ रमन ने कहा कि मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत और पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज द्वारा प्राप्त दिशा-निर्देशों के क्रम में आगामी चारधाम यात्रा को स्थगित कर दिया गया है. लेकिन धामों के कपाट पूर्व निर्धारित तिथियों पर सांकेतिक रूप से खुलेंगे. परंपरागत रूप से पूजा-अर्चना चलती रहेगी. वर्तमान समय में पूरे देश में कोरोना महामारी के प्रसार को देखते हुए तीर्थ यात्रा पर किसी को आने की अनुमति नहीं रहेगी. अग्रिम आदेशों तक कोरोना महामारी को देखते हुए चारधाम यात्रा पूर्णत स्थगित रहेगी.
पढ़ें- चारधाम यात्रा स्थगित होने से GMVN को लगा बड़ा झटका, कर्मचारियों का वेतन देना चुनौती
चारों धामों के कपाट अपनी पूर्व निर्धारित तिथियों पर खुलेंगे. पूजा चलती रहेगी. इस दौरान पूजा परंपरा से जुड़े लोग रावल, पुजारीगण सहित सीमित संख्या में तीर्थ पुरोहित, हक हकूकधारी मौजूद रहेंगे. जो भी लोग चारों धाम जायेंगे उनको कोरोना टेस्ट करवाना अनिवार्य होगा. वही लोग धामों में जायेंगे जिनकी कोरोना जांच रिपोर्ट निगेटिव होगी.
इसके साथ ही धामों में जाने के लिए संबंधित जिलाधिकारियों की अनुमति अपेक्षित रहेगी. केंद्र एवं प्रदेश सरकार के कोविड प्रोटोकाल का हर हाल में पालन सुनिश्चित किया जायेगा. इसके लिए अतिशीघ्र आदेश जारी होंगे.
- बता दें कि इस साल श्री बदरीनाथ धाम के कपाट 18 मई को सुबह 4:15 बजे खुलेंगे.
- श्री केदारनाथ धाम के कपाट 17 मई को सुबह 5:00 बजे खुलेंगे.
- गंगोत्री धाम के कपाट 15 मई को सुबह 7:31 बजे खुलेंगे.
- यमुनोत्री धाम के कपाट अक्षय तृतीया के दिन यानी 14 मई को 12:15 बजे खुलेंगे.
- द्वितीय केदार मदमहेश्वर जी के कपाट 24 मई को खुलेंगे.
- तृतीय केदार तुंगनाथ तथा चतुर्थकेदार रुद्रनाथ के कपाट 17 मई को खुल जायेंगे.
- इसके साथ ही हेमकुंड साहिब और लोकपाल लक्ष्मण मंदिर के कपाट खुलने की तिथि अलग से घोषित होनी है.