मसूरीः पालिका प्रशासन की टीम अधिशासी अधिकारी यूडी तिवारी के नेतृत्व में मसूरी टिहरी बस स्टैंड पर अतिक्रमण हटाने पहुंची. जैसे ही टीम मौके पर पहुंची तो लोगों ने पालिका की टीम का घेराव कर दिया. साथ ही जमकर नारेबाजी कर विरोध किया. इस दौरान स्थानीय जनप्रतिनिधियों और अधिशासी अधिकारी के बीच जमकर तू-तू मैं-मैं भी हुई. वहीं, लोगों के भारी विरोध को देखते हुए पालिका की टीम को बैरंग वापस लौटना पड़ा.
दरअसल, मसूरी नगर पालिका (Mussoorie Municipality) की टीम ने बिना सूचना दिए मसूरी टिहरी बस स्टैंड पर अतिक्रमण हटाने पहुंची. जिसका स्थानीय जनप्रतिनिधि पुष्पा पडियार और नरेंद्र सिंह ने जमकर विरोध किया. उनका कहना है कि पालिका का मसूरी टिहरी बस स्टैंड क्षेत्र से कुछ लेना-देना नहीं है. जिस जगह पर अतिक्रमण की बात नगरपालिका कर रही है, वो लोक निर्माण विभाग के अधीन आता है. ऐसे में नगर पालिका प्रशासन गिने-चुने लोगों को निशाना बना रही है, जो बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि स्थानीय जनप्रतिनिधियों की शह पर मसूरी नगर पालिका की बेशकीमती जमीनों, हवाघरों पर लोगों ने कब्जा कर लिया है, लेकिन उन पर नगर पालिका की ओर से कार्रवाई नहीं की जा रही है. क्योंकि नगर पालिका प्रशासन और जनप्रतिनिधि भ्रष्टाचार में लिप्त हैं. ऐसे में पालिका प्रशासन और पालिकाकर्मियों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े हो रहे हैं.
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उनका कहना है कि पालिका प्रशासन कुछ गरीब गिने-चुने लोगों को निशाना बनाकर अतिक्रमण हटाने के नाम पर वाहवाही लूटना चाह रही है, जो किसी भी हाल में नहीं होने दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि अगर अतिक्रमण को हटाना है तो संपूर्ण मसूरी से स्थायी और अस्थायी अतिक्रमण को हटाने की कार्रवाई की जाए. जिसका सभी लोग समर्थन करेंगे.
वहीं, मसूरी नगर पालिका परिषद अधिशासी अधिकारी यूडी तिवारी ने कहा कि पालिका की भूमि पर अतिक्रमण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. टिहरी बस स्टैंड के पास हो रहे अतिक्रमण को पालिका की टीम ने चिन्हित किया है. अतिक्रमणकारियों को 10 दिनों के भीतर अतिक्रमण को हटाने के निर्देश दिए गए हैं, अगर वो 10 दिनों के बाद अतिक्रमण नहीं हटाते हैं तो पालिका प्रशासन बलपूर्वक अतिक्रमण हटाएगा.