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कालसी ब्लॉक में नहीं है कोई स्वास्थ्य सुविधा, इलाज के लिए करना पड़ता है 45KM का सफर - कालसी ब्लॉक विकासनगर न्यूज

कालसी ब्लॉक की कोटी कॉलोनी में कोटी देव द्वारा निर्मित एक चिकित्सालय बंद पड़ा है. वर्तमान में एक पट्टी कराने के लिए प्राइवेट अस्पतालों में डेढ़ सौ रुपया खर्च करना पड़ रहा है.

कोटी देव द्वारा निर्मित एक चिकित्सालय बंद पड़ा है.
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Published : Nov 6, 2019, 3:11 PM IST

विकासनगर: कालसी ब्लॉक का कोटी कॉलोनी लगभग 50 से 60 गांवों का केंद्र बिंदु है, बावजूद इसके यहां पर स्वास्थ्य सुविधाओं की कोई व्यवस्था सरकार और विभाग द्वारा नहीं की गई है. बता दें कि क्षेत्र में कोटी देव द्वारा निर्मित एक चिकित्सालय बंद पड़ा है.

ग्रामीणों का कहना है कि कई वर्षों पूर्व सिंचाई विभाग द्वारा इसे संचालित किया जाता रहा था लेकिन अब यह चिकित्सालय बंद पड़ा है. ग्रामीणों द्वारा जनप्रतिनिधियों के माध्यम से सरकार को कोटी कॉलोनी में अस्पताल खोलने की मांग की गई थी. अस्पताल खोलने की मांग के बाद आनन-फानन में कोटी कॉलोनी में डॉक्टर की तैनाती दर्शाई गई, लेकिन तैनाती नहीं हुई

कोटी देव द्वारा निर्मित एक चिकित्सालय बंद पड़ा है.

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कोटी गांव निवासी खजान सिंह ने बताया कि कोटी कॉलोनी में एक अस्पताल तो है, लेकिन अभी तक वहां कोई भी स्टाफ नहीं है. उन्होंने कहा कि अगर वहां स्टाफ होता तो उन्हें विकासनगर की दौड़ नहीं लगानी पड़ती. उन्होंने बताया कि पैर में इन्फेक्शन होने के कारण उन्हें 23 दिनों तक विकासनगर में ही रहना पड़ा, वहीं इलाज कराना पड़ा. आगे खजान सिंह कहते है कि वर्तमान में एक पट्टी कराने के लिए प्राइवेट अस्पतालों में डेढ़ सौ रुपया खर्च करना पड़ रहा है. किसी की उंगली भी हल्की सी कट जाए तो पट्टी कराने के लिए 45 किलोमीटर दूर विकासनगर की दौड़ लगाने को विवश होना पड़ रहा है.

यह भी पढ़ें-देहरादून: दहेज नहीं मिलने पर शादी के मंडप से भागा दूल्हा

मामले में प्राथमिक केंद्र कालसी के चिकित्सा प्रभारी राजीव दीक्षित ने बताया कि कोटी कॉलोनी में विभाग की कोई भूमि नहीं है. उन्होंने कहा कि वहां पर बना संबंधित विभाग का एक चिकित्सालय है, जिसकी प्रक्रिया विभाग द्वारा पत्राचार के माध्यम से की जा रही है .

यह भी पढ़ें-चंपावत को मिले कराटे में तीन स्वर्ण समेत 10 पदक, बाग्लादेश जाएंगी ज्योति बिष्ट

चिकित्सा प्रभारी ने यह दावा भी किया कि उनके पास डॉक्टर्स भी उपलब्ध हैं, लेकिन अभी तक कोटी कॉलोनी में बना चिकित्सालय विभाग की देखरेख में नहीं आ पाया है. उन्होंने आश्वासन दिया कि प्रक्रिया को जल्द पूरा करने का प्रयास किया जाएगा.

विकासनगर: कालसी ब्लॉक का कोटी कॉलोनी लगभग 50 से 60 गांवों का केंद्र बिंदु है, बावजूद इसके यहां पर स्वास्थ्य सुविधाओं की कोई व्यवस्था सरकार और विभाग द्वारा नहीं की गई है. बता दें कि क्षेत्र में कोटी देव द्वारा निर्मित एक चिकित्सालय बंद पड़ा है.

ग्रामीणों का कहना है कि कई वर्षों पूर्व सिंचाई विभाग द्वारा इसे संचालित किया जाता रहा था लेकिन अब यह चिकित्सालय बंद पड़ा है. ग्रामीणों द्वारा जनप्रतिनिधियों के माध्यम से सरकार को कोटी कॉलोनी में अस्पताल खोलने की मांग की गई थी. अस्पताल खोलने की मांग के बाद आनन-फानन में कोटी कॉलोनी में डॉक्टर की तैनाती दर्शाई गई, लेकिन तैनाती नहीं हुई

कोटी देव द्वारा निर्मित एक चिकित्सालय बंद पड़ा है.

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कोटी गांव निवासी खजान सिंह ने बताया कि कोटी कॉलोनी में एक अस्पताल तो है, लेकिन अभी तक वहां कोई भी स्टाफ नहीं है. उन्होंने कहा कि अगर वहां स्टाफ होता तो उन्हें विकासनगर की दौड़ नहीं लगानी पड़ती. उन्होंने बताया कि पैर में इन्फेक्शन होने के कारण उन्हें 23 दिनों तक विकासनगर में ही रहना पड़ा, वहीं इलाज कराना पड़ा. आगे खजान सिंह कहते है कि वर्तमान में एक पट्टी कराने के लिए प्राइवेट अस्पतालों में डेढ़ सौ रुपया खर्च करना पड़ रहा है. किसी की उंगली भी हल्की सी कट जाए तो पट्टी कराने के लिए 45 किलोमीटर दूर विकासनगर की दौड़ लगाने को विवश होना पड़ रहा है.

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मामले में प्राथमिक केंद्र कालसी के चिकित्सा प्रभारी राजीव दीक्षित ने बताया कि कोटी कॉलोनी में विभाग की कोई भूमि नहीं है. उन्होंने कहा कि वहां पर बना संबंधित विभाग का एक चिकित्सालय है, जिसकी प्रक्रिया विभाग द्वारा पत्राचार के माध्यम से की जा रही है .

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चिकित्सा प्रभारी ने यह दावा भी किया कि उनके पास डॉक्टर्स भी उपलब्ध हैं, लेकिन अभी तक कोटी कॉलोनी में बना चिकित्सालय विभाग की देखरेख में नहीं आ पाया है. उन्होंने आश्वासन दिया कि प्रक्रिया को जल्द पूरा करने का प्रयास किया जाएगा.

Intro:विकासनगर कालसी ब्लॉक के कोटी कॉलोनी मैं नहीं स्वास्थ्य व्यवस्था 25000 की आबादी स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए भगवान भरोसे विभाग बना लापरवाह ग्रामीणों में सरकार व विभाग के खिलाफ रोष


Body:कालसी ब्लॉक के कोटी कॉलोनी लगभग पचास साठ गांव का केंद्र बिंदु है बावजूद इसके यहां पर स्वास्थ्य सुविधाओं की कोई व्यवस्था सरकार और विभाग द्वारा नहीं की गई जबकि कोटी देव द्वारा निर्मित यहां पर एक चिकित्सालय बंद पड़ा है ग्रामीणों का कहना है कि कई वर्षों पूर्व सिंचाई विभाग द्वारा इसे संचालित किया जाता रहा था लेकिन अब यह चिकित्सालय बंद पड़ा है ग्रामीणों द्वारा जनप्रतिनिधियों के माध्यम से सरकार को कोटी कॉलोनी में अस्पताल खोलने की मांग की गई थी आनन-फानन में कोटी कॉलोनी में डॉक्टर की तैनाती दर्शाई गई लेकिन अभी तक भी स्वास्थ्य विभाग है वे संबंधित विभाग जिस विभाग की बिल्डिंग है उस विभाग से तालमेल ना होने के कारण कोटी कॉलोनी में दर्शाए गए डॉक्टरों की तैनाती अन्य अस्पताल में अटैचमेंट किए हुए हैं कोटी गांव निवासी खजान सिंह ने बताया कि कोटी कॉलोनी में एक अस्पताल तो है लेकिन अभी तक यहां कोई भी स्टाफ नहीं है अगर यहां स्टाफ होता तो मुझे विकासनगर की दौड़ नहीं लगानी पड़ती बताया कि मेरे पैर में इन्फेक्शन होने के कारण मुझे 23 दिनों तक विकासनगर में ही रहना पड़ा वह इलाज कराना पड़ा आज वर्तमान में एक पट्टी कराने के लिए प्राइवेट अस्पतालों में डेढ़ सौ रुपया खर्च करना पड़ रहा है हम चाहते हैं कि शीघ्र ही यहां पर अस्पताल में डॉक्टरों की तैनाती की जाए और यहां अस्पताल शीघ्र खुले ताकि अन्य क्षेत्र के लोगों को स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं झेलनी पड़े सबसे ज्यादा परेशानी महिलाओं और बच्चों को भी झेलनी पड़ती है अगर किसी की उंगली भी हल्की सी कट जाए तो पट्टी कराने के लिए 45 किलोमीटर दूर विकासनगर की दौड़ लगाने को विवश होना पड़ रहा है वही कर्म सिंह चौहान ने बताया कि एक समय में सिंचाई विभाग द्वारा यहां पर स्वास्थ संबंधी व्यवस्था की गई होगी तब हमारा जन्म भी नहीं हुआ था उसके बाद बिल्डिंग भी बनाई गई थी लेकिन कुछ व्यवस्था नहीं है 20 से 25000 की आबादी को स्वास्थ्य लाभ लेने के लिए 45 से 50 किलोमीटर विकासनगर की दौड़ लगाने को मजबूर होना पड़ रहा है वही हिमाचल से सटा होने के चलते हिमाचल प्रदेश के कुछ गांव का कोटी कॉलोनी से सटे होने से इन लोगों का आना जाना भी मुख्य रूप से कोटी कॉलोनी मैं लगा रहता है क्षेत्र की जनता ने क्षेत्र में अस्पताल की मांग की लेकिन सरकारें आती-जाती रही और आश्वासन आश्वासन देकर छूमंतर हो गई है सनी कुमार सिंह चौहान ने बताया कि सरकार का कोई ध्यान इस ओर नहीं है वह यहां पर एक अस्पताल बनाया गया जो इच्छा डी बांध द्वारा बनाया गया है वह भी कई वर्षों से बंद पड़ा है एक पट्टी करवाने के लिए भी 45 से 50 किलोमीटर दूर विकासनगर की दौड़ लगाने को मजबूर होना पड़ रहा है सुनने में यह भी आया है कि कोटी कॉलोनी में अस्पताल के लिए डॉक्टरों की तैनाती की गई है लेकिन कागजों में ही हो सकता है धरातल पर नहीं है ग्रामीणों ने शीघ्र क्षेत्र में स्वास्थ्य सुविधाएं दुरुस्त कराने की मांग की है


Conclusion:वही प्राथमिक केंद्र कालसी के चिकित्सा प्रभारी राजीव दीक्षित ने बताया कि कोटी कॉलोनी में विभाग की कोई भूमि नहीं है वहां पर बना संबंधित विभाग का एक चिकित्सालय है जिसकी प्रक्रिया विभाग द्वारा पत्राचार के माध्यम से की जा रही है हमारे पास डॉक्टर्स भी उपलब्ध है लेकिन अभी तक कोटी कॉलोनी में बना चिकित्सालय विभाग की देखरेख में नहीं आ पाया है शीघ्र प्रक्रिया को जल्द पूरा करने का प्रयास किया जाएगा

बाइट_ खजान सिंह_ मरीज कोटी कॉलोनी
बाइट कर्म सिंह चौहान _ ग्रामीण कोटी कॉलोनी
बाइट कुंवर सिंह चौहान_ ग्रामीण कोटी कॉलोनी
ptc
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