ETV Bharat / state

'सरकार' से कर वसूलने की तैयारी में दून नगर निगम, 65 से 70 करोड़ रुपये रेवेन्यू का लक्ष्य

नगर निगम के तहत आने वाले कॉमर्शियल भवनों पर 2016 से टैक्स लगाना शुरू किया गया था. लेकिन सरकारी भवनों से नगर निगम टैक्स वसूल नहीं कर पाया, क्योंकि नगर निगम के पास कॉरपोरेट एरिया का रिकॉड नहीं था. जिसके चलते नगर निगम अबतक सिर्फ निजी भवनों से ही भवन कर वसूल रहा था.

author img

By

Published : May 21, 2019, 9:45 PM IST

Updated : May 22, 2019, 12:08 AM IST

नगर पालिका देहरादून

देहरादून: नगर निगम नए वित्तीय वर्ष से सरकारी भवनों के माध्यम से टैक्स लेने की तैयारियों में जुट गया है. जिसके लिए नगर निगम ने शहर में सर्वे कराने का काम भी शुरू कर दिया है. इस सर्वे में सभी सरकारी भवनों के साथ-साथ सरकारी कार्यालय भी शामिल किए जाएंगे. देहरादून में सचिवालय, विधानसभा, डीएम कार्यालय और यमुना कॉलोनी में मंत्रियों के आवासों पर भी भवन कर लगाने की तैयारी की जा रही है.

नगर आयुक्त विनय शंकर पांडे

नगर निगम पिछले वित्तीय वर्ष तक सिर्फ निजी भवनों से भवन कर लेने का काम कर रहा था. लेकिन इस बार अब नगर निगम ने राजस्व बढ़ाने जा रहा है. जिसके लिए इस वित्तीय वर्ष में देहरादून के सभी सरकारी कार्यालय और भवनों का सर्वे शुरू कर दिया गया है. सर्वे पूरा हो जाने के बाद से सभी सरकारी भवनों से भवन कर लेने का काम किया जाएगा.

नगर निगम के तहत आने वाले कॉमर्शियल भवनों पर 2016 से टैक्स लगाना शुरू किया गया था. लेकिन सरकारी भवनों से नगर निगम टैक्स वसूल नहीं कर पाया, क्योंकि नगर निगम के पास कॉरपोरेट एरिया का रिकॉड नहीं था. जिसके चलते नगर निगम अबतक सिर्फ निजी भवनों से ही भवन कर वसूल रहा था.

नगर आयुक्त विनय शंकर पांडे ने बताया कि फिलहाल कुछ सरकारी भवनों से टैक्स लिया जा रहा है. इस बार नए वित्तीय वर्ष में मेयर की अध्यक्षता में बैठक हुई थी. जिसमें सभी को सर्वे का कार्य सौंप दिया गया है. उन्होंने बताया कि सरकारी संपत्ति में बड़े ऑफिस, सचिवालय, राज्य संपत्ति विभाग के हॉस्टल और एमएलए हॉस्टल के साथ-साथ विधायक आवास इन सब को टैक्स के दायरे में लाने के प्रयास किये जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि अगर निगम इसमें सफल रहा तो भवन कर से रेवेन्यू 65 से 70 करोड़ रुपए तक पहुंच सकता है.

देहरादून: नगर निगम नए वित्तीय वर्ष से सरकारी भवनों के माध्यम से टैक्स लेने की तैयारियों में जुट गया है. जिसके लिए नगर निगम ने शहर में सर्वे कराने का काम भी शुरू कर दिया है. इस सर्वे में सभी सरकारी भवनों के साथ-साथ सरकारी कार्यालय भी शामिल किए जाएंगे. देहरादून में सचिवालय, विधानसभा, डीएम कार्यालय और यमुना कॉलोनी में मंत्रियों के आवासों पर भी भवन कर लगाने की तैयारी की जा रही है.

नगर आयुक्त विनय शंकर पांडे

नगर निगम पिछले वित्तीय वर्ष तक सिर्फ निजी भवनों से भवन कर लेने का काम कर रहा था. लेकिन इस बार अब नगर निगम ने राजस्व बढ़ाने जा रहा है. जिसके लिए इस वित्तीय वर्ष में देहरादून के सभी सरकारी कार्यालय और भवनों का सर्वे शुरू कर दिया गया है. सर्वे पूरा हो जाने के बाद से सभी सरकारी भवनों से भवन कर लेने का काम किया जाएगा.

नगर निगम के तहत आने वाले कॉमर्शियल भवनों पर 2016 से टैक्स लगाना शुरू किया गया था. लेकिन सरकारी भवनों से नगर निगम टैक्स वसूल नहीं कर पाया, क्योंकि नगर निगम के पास कॉरपोरेट एरिया का रिकॉड नहीं था. जिसके चलते नगर निगम अबतक सिर्फ निजी भवनों से ही भवन कर वसूल रहा था.

नगर आयुक्त विनय शंकर पांडे ने बताया कि फिलहाल कुछ सरकारी भवनों से टैक्स लिया जा रहा है. इस बार नए वित्तीय वर्ष में मेयर की अध्यक्षता में बैठक हुई थी. जिसमें सभी को सर्वे का कार्य सौंप दिया गया है. उन्होंने बताया कि सरकारी संपत्ति में बड़े ऑफिस, सचिवालय, राज्य संपत्ति विभाग के हॉस्टल और एमएलए हॉस्टल के साथ-साथ विधायक आवास इन सब को टैक्स के दायरे में लाने के प्रयास किये जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि अगर निगम इसमें सफल रहा तो भवन कर से रेवेन्यू 65 से 70 करोड़ रुपए तक पहुंच सकता है.

Intro:नगर निगम नए वित्तीय वर्ष से सरकारी भवनों से भवन कर लेने की तैयारी में जुट गया है।जिसके लिए नगर निगम ने शहर में सर्वे कराने का काम शुरू कर दिया।और इस सर्वे में सभी सरकारी भवन के साथ कार्यालय भी आएंगे।देहरादून में सचिवालय, विधानसभा, डीएम कार्यलय ओर यमुना कॉलोनी में मंत्रियों के आवासो पर भी भवन कर लगाने की तैयारी नगर निगम कर रहा है।


Body:नगर निगम पिछले वित्तीय वर्ष तक सिर्फ निजी भवनों से भवनकर लेने का काम कर रहा था।लेकिन नगर निगम ने अपना राजस्व बढ़ाने को लेकर इस बार के वित्तीय वर्ष में देहरादून की सभी सरकारी कार्यालय ओर भवनों का सर्वे शुरू कर दिया है और सर्वे पूरा हो जाने के बाद से सभी सरकारी भवनों से भवनकर लेने का काम किया जाएगा।नगर निगम के तहत कॉमर्शियल भवनों में कारपेट एरिया के तहत 2016 से टैक्स लगाना शुरू किया था।लेकिन सरकारी भवनों से नगर निगम टैक्स वसूल नही कर पाया।क्योंकि नगर निगम के पास कारपेट एरिया का रिकॉड नही था।जिसके चलते नगर निगम अब तक सिर्फ निजी भवनों से ही भवनकर लेने का काम कर रहा था।


Conclusion:नगर आयुक्त विनय शंकर पांडे ने बताया कि फिलहाल कुछ सरकारी भवनों से टैक्स लिया जा रहा है।और पिछले वित्तीय वर्ष में नगर निगम ने बहुत ही सही टैक्स एफआईआर से लिया गया था।इस बार नए वित्तीय वर्ष में मेयर की अध्यक्षता में बैठक हुई थी ।ओर बैठक में सभी को सर्वे का कार्य सभी को सौंप दिया गया है साथ ही सर्वे बहुत तेज़ी से चल रहा है।सरकारी संपत्ति में बड़े आफिस,सचिवालय,राज्य संपत्ति विभाग के हॉस्टल ओर एमएलए हॉस्टल के साथ आवास इन सब को टैक्स के दायरे में लाने के लिए प्रयास कर रहे है।और उम्मीद करते है कि हम अगर इसमे सफल हुए तो भवनकर रेवेन्यू 65 से 70 करोड़ रुपए तक पहुंच सकता है जो आज की तारीख में सिर्फ 25 करोड़ है।

बाइट-विनय शंकर पांडे(नगर आयुक्त)
Last Updated : May 22, 2019, 12:08 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.