मसूरी: प्रदेश में कारोना कर्फ्यू 6 जुलाई तक बढ़ा दिया है. कोरोना कर्फ्यू बढ़ने के साथ हफ्ते में दो दिन पर्यटन स्थलों को खोलने की अनुमति मिली है. परंतु सरकार द्वारा पर्यटन स्थलों को खोले जाने की स्पष्ट जानकारी न होने के कारण लोग गफलत में हैं. ऐसे में पर्यटन कारोबार से जुड़े लोगों में मायूसी देखी जा रही है.
मसूरी कंपनी गार्डन के संचालक सीपी सकलानी ने बताया कि सरकार द्वारा जारी पर्यटन स्थल की परिभाषा में मात्र माल रोड को माना गया है. जबकि, अन्य पर्यटन स्थल को अम्यूजमेंट पार्क और इंटरटेनमेंट के साधन माने गए हैं, जिसको खोलने की अनुमति नहीं मिली है. ऐसे में पर्यटन स्थल को लेकर सरकार द्वारा स्पष्ट जानकारी नहीं दी गई है.
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उन्होंने कहा कि पूरा मसूरी पर्यटन स्थल पर्यटकों पर आधारित है. वहीं, सरकार द्वारा मसूरी के मालरोड को पर्यटन स्थल माना गया है जिस कारण मसूरी के अन्य पर्यटन स्थल बंद हैं. पर्यटकों का दबाब माल रोड पर पड़ रहा है, जिससे मालरोड पर भारी भीड़ होने के कारण सोशल डिस्टेंसिंग की जमकर धज्जियां उड़ रही है.
बता दें कि पिछले दिनों मसूरी ट्रेडर्स एंड वेलफेयर एसोसिएशन द्वारा पर्यटन स्थलों खोलने को लेकर आंदोलन किया गया था. आंदोलन में सरकार और प्रशासनिक अधिकारियों ने एसोसिएशन को 28 जून को जारी होने वाले नियमों में पर्यटन स्थलों को खोलने का आश्वासन दिया था. जिसको अन्य पर्यटन स्थलों के संचालकों ने पूरी तैयारी कर ली थी.
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हालांकि, 28 जून को जारी नई एसओपी (SOP) काफी जटिल है, जिसमें कई जानकारियां स्पष्ट नहीं है. जिसे लेकर पर्यटन स्थलों के संचालकों में सरकार के खिलाफ भारी आक्रोश है. पर्यटक स्थल के संचालकों ने कहा कि अगर सरकार नियमों की जटिलताएं खत्म नहीं करेगी तो वे सरकार के खिलाफ आंदोलन करेंगे.