विकासनगर: हजारों उपनल कर्मियों की मांगों को लेकर जन संघर्ष मोर्चा ने तहसील घेराव किया. उपनल कर्मियों के नियमितीकरण मामलों को लेकर एसडीएम के माध्यम से राज्यपाल को ज्ञापन भेजा.
जन संघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष और जीएमवीएन के पूर्व उपाध्यक्ष रघुनाथ सिंह नेगी ने कहा कि प्रदेश के विभिन्न विभागों में उपनल के माध्यम से कर्मचारियों के मामले में हाई कोर्ट ने पिछले साल 12 नवंबर को जनहित याचिका में सरकार को इन कर्मचारियों को नियमित करने, जीएसटी और सर्विस टैक्स आदि न काटने के निर्देश दिए थे. सरकार को ये फैसला नागवार गुजरा और सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी दाखिल की.
सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट के आदेश पर इसी साल एक फरवरी को रोक लगाते हुए नोटिस जारी किया. रघुवीर सिंह ने बताया कि उपनल में कर्मचारियों की संख्या लगभग 20 हजार 911 है. कर्मचारी इस उम्मीद पर इतने कम वेतन में सेवाएं दे रहे हैं कि भविष्य में इन्हें नियमित कर दिया जाएगा. लेकिन सरकार के इस फैसले से कर्मचारियों का भविष्य खतरे में है.
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रघुनाथ सिंह नेगी ने बताया कि वर्तमान और पूर्व सरकारों ने लगभग 20 हजार 911 कर्मचारियों को प्रायोजित किया है. सरकार की कोई स्पष्ट नीति न होने के कारण कानून का ढंग से पालन नहीं किया गया. इस कारण इंटरेस्ट नियमितीकरण आदि मामले अटके हुए हैं. सरकार बीच का कोई रास्ता निकाल कर इनका भविष्य सुरक्षित कर सकती है, लेकिन कोई सुनने को तैयार नहीं है.