ETV Bharat / state

चुनावी भागदौड़ से मिला समय तो बजरंग बली की शरण में पहुंचे हरीश रावत, फोटो की साझा

चुनावी भागदौड़ के बाद जैसे ही हरीश रावत को समय मिला वे बजरंग बली की शरण में पहुंच गए. उनकी दिन की शुरुआत पूजा से होती है, जिसके बाद वे जनसंपर्क के लिए निकल जाते थे. अब मतदान संपन्न हो चुका है तो हरीश रावत ने अपने आराध्य बजरंग बली की पूजा की.

Former CM Harish Rawat
पूर्व सीएम हरीश रावत
author img

By

Published : Feb 15, 2022, 11:43 AM IST

Updated : Feb 15, 2022, 9:40 PM IST

देहरादून: विधानसभा चुनाव में पूर्व सीएम हरीश रावत काफी व्यस्त दिखाई दिए. उनके सामने अपनी विधानसभा सीट में प्रचार करने के साथ ही अन्य क्षेत्रों में भी पार्टी प्रत्याशियों के लिए वोट मांगने का जिम्मा था. बीते दिन मतदान के दौरान भी हरीश रावत लालकुआं विधानसभा सीट में काफी सक्रिय दिखाई दिए थे. उन्होंने मतदान केन्द्रों का जायजा लेने के साथ ही जीत का दावा भी किया. चुनावी भागदौड़ से जैसे ही हरीश रावत को समय मिला वे बजरंग बली की शरण में पहुंच गए.

गौर हो कि चुनाव के दौरान नेताओं की दिनचर्या काफी व्यस्त रही. व्यस्तता इतनी है कि खाना, सोने के लिए कम ही समय मिलता था. वहीं मतदान के बाद जैसे ही हरीश रावत को फुरसत के कुछ पल मिले वे हनुमान जी की उपासना करते दिखाते दे रहे हैं. पूर्व सीएम ने ट्वीट कर फोटो शेयर की है, जिसमें वे हनुमान जी की मूर्ति के आगे पूजा करते दिखाई दे रहे हैं.

पढ़ें-प्रतिदिन हनुमान चालीसा और दुर्गा चालीसा का पाठ करते हैं हरीश रावत, जानें उनकी पूरी दिनचर्या

इस विधानसभा चुनाव में हरीश रावत पूजा के बाद ही चुनावी प्रचार के लिए निकलते दिखाई दिए. ऐसे में वो अपने रोजमर्रा के कार्यों को कैसे मैनेज कर रहे थे इस बारे में ईटीवी भारत ने उत्तराखंड के वरिष्ठ नेता और लालकुआं से कांग्रेस प्रत्याशी हरीश रावत से बात की थी. हरीश रावत लालकुआं विधानसभा क्षेत्र के तीन पानी स्थित अपने मकान में रहते हैं जहां से उनकी सभी चुनावी गतिविधियां संचालित होती रही हैं. हरीश रावत सुबह बिस्तर से उठने के बाद थोड़ी देर ध्यान और योग करते हैं. इसके बाद स्नान करके पूजा-पाठ कर अपने दिन की शुरुआत करते हैं. इतनी व्यस्तता के बावजूद रावत सुबह मंदिर में हनुमान चालीसा और दुर्गा चालीसा का पाठ करना नहीं भूलते.

सूर्या देवी मंदिर भी गए हरदा: मतदान संपन्न होने के बाद हरीश रावत मंगलवार को अपनी जीत का आशीर्वाद लेने गौलापार स्थित सूर्या देवी मंदिर गए. इस दौरान मां का दर्शन-पूजन करते हुए हरीश रावत ने जीत का आशीर्वाद मांगा और कार्यकर्ताओं को अपने हाथ से खाना परोसा.

देहरादून: विधानसभा चुनाव में पूर्व सीएम हरीश रावत काफी व्यस्त दिखाई दिए. उनके सामने अपनी विधानसभा सीट में प्रचार करने के साथ ही अन्य क्षेत्रों में भी पार्टी प्रत्याशियों के लिए वोट मांगने का जिम्मा था. बीते दिन मतदान के दौरान भी हरीश रावत लालकुआं विधानसभा सीट में काफी सक्रिय दिखाई दिए थे. उन्होंने मतदान केन्द्रों का जायजा लेने के साथ ही जीत का दावा भी किया. चुनावी भागदौड़ से जैसे ही हरीश रावत को समय मिला वे बजरंग बली की शरण में पहुंच गए.

गौर हो कि चुनाव के दौरान नेताओं की दिनचर्या काफी व्यस्त रही. व्यस्तता इतनी है कि खाना, सोने के लिए कम ही समय मिलता था. वहीं मतदान के बाद जैसे ही हरीश रावत को फुरसत के कुछ पल मिले वे हनुमान जी की उपासना करते दिखाते दे रहे हैं. पूर्व सीएम ने ट्वीट कर फोटो शेयर की है, जिसमें वे हनुमान जी की मूर्ति के आगे पूजा करते दिखाई दे रहे हैं.

पढ़ें-प्रतिदिन हनुमान चालीसा और दुर्गा चालीसा का पाठ करते हैं हरीश रावत, जानें उनकी पूरी दिनचर्या

इस विधानसभा चुनाव में हरीश रावत पूजा के बाद ही चुनावी प्रचार के लिए निकलते दिखाई दिए. ऐसे में वो अपने रोजमर्रा के कार्यों को कैसे मैनेज कर रहे थे इस बारे में ईटीवी भारत ने उत्तराखंड के वरिष्ठ नेता और लालकुआं से कांग्रेस प्रत्याशी हरीश रावत से बात की थी. हरीश रावत लालकुआं विधानसभा क्षेत्र के तीन पानी स्थित अपने मकान में रहते हैं जहां से उनकी सभी चुनावी गतिविधियां संचालित होती रही हैं. हरीश रावत सुबह बिस्तर से उठने के बाद थोड़ी देर ध्यान और योग करते हैं. इसके बाद स्नान करके पूजा-पाठ कर अपने दिन की शुरुआत करते हैं. इतनी व्यस्तता के बावजूद रावत सुबह मंदिर में हनुमान चालीसा और दुर्गा चालीसा का पाठ करना नहीं भूलते.

सूर्या देवी मंदिर भी गए हरदा: मतदान संपन्न होने के बाद हरीश रावत मंगलवार को अपनी जीत का आशीर्वाद लेने गौलापार स्थित सूर्या देवी मंदिर गए. इस दौरान मां का दर्शन-पूजन करते हुए हरीश रावत ने जीत का आशीर्वाद मांगा और कार्यकर्ताओं को अपने हाथ से खाना परोसा.

Last Updated : Feb 15, 2022, 9:40 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.