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अब सरकारी शिक्षकों को भी मिलेगा पहचान पत्र, ड्यूटी के दौरान गले में पहनना होगा अनिर्वाय

परिचय पत्र पर कार्मिक का नाम, पद, सर्विस आईडी नंबर, स्कूल का नाम व स्थायी पता दर्ज होगा. ये आईडी कार्ड सरकारी कार्यक्रमों में कार्मिक की पहचान व अन्य कार्यों में उपयोगी होगा.

देहरादून
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Published : Sep 24, 2019, 3:18 PM IST

देहरादून: प्राइवेट स्कूलों की तरह अब सरकारी स्कूलों के अध्यापकों की अलग पहचान होगी. इसके लिए शिक्षकों के आईडी कार्ड बनाए जाएंगे. सरकारी स्कूल में कौन सा अध्यापक पढ़ा रहा है, वह किस स्कूल में कार्यरत है, यह अब पूछने की जरूरत नहीं होगी. अध्यापकों को देखते ही उनके बारे में सबकुछ पता लग जाएगा.

केंद्र सरकार के निर्देश के बाद अब उत्तराखंड राज्य में पहली बार सरकारी बेसिक स्कूलों के शिक्षकों को ड्यूटी समय के दौरान अपने गले में पहचान पत्र पहनना होगा. इस व्यवस्था के दायरे में अस्थाई और संविदा के तहत काम कर रहे 34,275 शिक्षक भी आएंगे. इसके लिए केंद्र सरकार ने समग्र शिक्षा अभियान के बजट में आई कार्ड बनाने के बजट का प्रावधान किया है. यह आईकार्ड जिला परियोजना अधिकारी के स्तर पर बनाए जाएंगे. इसके तहत कार्ड की अधिकतम लागत 50 रुपए तक होगी.

पढ़ें- विजय हजारे ट्रॉफी टूर्नामेंट को लेकर CAU की तैयारी पूरी, 24 सितंबर से होगा आगाज

उत्तराखंड के प्राथमिक शिक्षकों के लिए बनाए जा रहे आईकार्ड में शिक्षक संबंधी सभी जानकारियां होगी. कार्ड पर नाम, स्कूल का नाम, पद, ब्लड ग्रुप, गांव का पता, मोबाइल नंबर, विभागीय पता, आदि तमाम जानकारियां दी जाएंगी. यह कार्ड शिक्षकों को नीले रंग की डोरी से गले में पहनाया जाएगा. स्कूल ड्यूटी के दौरान हर शिक्षक को यह कार्ड पहनना अनिवार्य होगा, जो शिक्षक को विशिष्ट पहचान देगा.

जिलों के प्राथमिक शिक्षकों की संख्या

देहरादून 3,366
हरिद्वार 3274
पौड़ी 3,931
उधम सिंह नगर 3,164

देहरादून: प्राइवेट स्कूलों की तरह अब सरकारी स्कूलों के अध्यापकों की अलग पहचान होगी. इसके लिए शिक्षकों के आईडी कार्ड बनाए जाएंगे. सरकारी स्कूल में कौन सा अध्यापक पढ़ा रहा है, वह किस स्कूल में कार्यरत है, यह अब पूछने की जरूरत नहीं होगी. अध्यापकों को देखते ही उनके बारे में सबकुछ पता लग जाएगा.

केंद्र सरकार के निर्देश के बाद अब उत्तराखंड राज्य में पहली बार सरकारी बेसिक स्कूलों के शिक्षकों को ड्यूटी समय के दौरान अपने गले में पहचान पत्र पहनना होगा. इस व्यवस्था के दायरे में अस्थाई और संविदा के तहत काम कर रहे 34,275 शिक्षक भी आएंगे. इसके लिए केंद्र सरकार ने समग्र शिक्षा अभियान के बजट में आई कार्ड बनाने के बजट का प्रावधान किया है. यह आईकार्ड जिला परियोजना अधिकारी के स्तर पर बनाए जाएंगे. इसके तहत कार्ड की अधिकतम लागत 50 रुपए तक होगी.

पढ़ें- विजय हजारे ट्रॉफी टूर्नामेंट को लेकर CAU की तैयारी पूरी, 24 सितंबर से होगा आगाज

उत्तराखंड के प्राथमिक शिक्षकों के लिए बनाए जा रहे आईकार्ड में शिक्षक संबंधी सभी जानकारियां होगी. कार्ड पर नाम, स्कूल का नाम, पद, ब्लड ग्रुप, गांव का पता, मोबाइल नंबर, विभागीय पता, आदि तमाम जानकारियां दी जाएंगी. यह कार्ड शिक्षकों को नीले रंग की डोरी से गले में पहनाया जाएगा. स्कूल ड्यूटी के दौरान हर शिक्षक को यह कार्ड पहनना अनिवार्य होगा, जो शिक्षक को विशिष्ट पहचान देगा.

जिलों के प्राथमिक शिक्षकों की संख्या

देहरादून 3,366
हरिद्वार 3274
पौड़ी 3,931
उधम सिंह नगर 3,164
Intro:केंद्र सरकार के निर्देश के बाद अब उत्तराखंड राज्य में पहली बार, सरकारी बेसिक स्कूलों के शिक्षकों को ड्यूटी समय के दौरान अपने गले में पहचान पत्र पहनना होगा। हालांकि इस व्यवस्था के दायरे में अस्थाई और संविदा के तहत 34,275 शिक्षक आएंगे। हालांकि इसके लिए केंद्र सरकार ने समग्र शिक्षा अभियान के बजट में आईकार्ड बनाने के बजट का प्रावधान किया है। और यह आईकार्ड जिला परियोजना अधिकारी के स्तर पर बनाए जाएंगे। इसके तहत कार्ड की लागत अधिकतम 50 रुपये तक होगी। 


Body:उत्तराखंड के प्राथमिक शिक्षकों के लिए बनाए जा रहे आईकार्ड में शिक्षक संबंधी सभी जानकारियां होंगी जैसे कि नाम, स्कूल का नाम, पद, ब्लड ग्रुप, गांव का पता, मोबाइल नंबर विभागीय पता, आदि तमाम जानकारियां शामिल होंगी। यही नह यह कार्ड शिक्षकों को नीले रंग की दूरी से इसे गले में पहनाया जाएगा। और स्कूल ड्यूटी के दौरान हर शिक्षक को यह कार्ड पहनना अनिवार्य होगा, जो शिक्षक को विशिष्ट पहचान देगा।


कुछ जिलों के प्राथमिक शिक्षकों पर नज़र....

देहरादून - 3,366
हरिद्वार - 3274
पौड़ी - 3,931
उधमसिंह नगर - 3,164






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