देहरादून: स्टिंग मामले में फंसे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने बीजेपी की केंद्र और राज्य सरकार को घेरने की तैयारी शुरू कर दी है. हरीश रावत 17 से 20 सितंबर तक सरकार के नौजवान विरोधी रवैये के खिलाफ अपना आक्रोश प्रकट करेंगे. हरीश रावत नशे के खिलाफ पदयात्रा करना चाह रहे हैं.
हरीश रावत की इस पदयात्रा नारा होगा "नशा नहीं-रोजगार दो, लाठी नहीं-प्यार दो". हालांकि उन्होंने सोशल मीडिया पर डाली अपनी पोस्ट में तारीखों में कुछ परिवर्तन होने की बात कही है.
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हरीश रावत ने अपने टिवटर अकाउंट पर लिखा की यह पदयात्रा, चार या पांच दिन की हो सकती है और इसका नारा होगा "नशा नहीं-रोजगार दो, लाठी नहीं-प्यार दो". हरीश रावत ने आगे लिखा कि देश में भी आज सर्वाधिक बेरोजगारी की स्थिति और बिगड़ती जा रही है. इस स्थिति की तरफ, लोगों का ध्यान आकृष्ट करने के लिये और अपना विरोध प्रकट करने के लिये, मैंने तय किया है कि, मैं हरिद्वार में हर की पैड़ी से ऋषिकेश-त्रिवेणी घाट तक पदयात्रा निकालूंगा.
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हरीश रावत ने लिखा कि बेरोजगारों का सवाल, मुझको सबसे ज्यादा पीड़ा देता है, पिछले ढाई साल में, उत्तराखंड में नौजवान निरन्तर छले गये हैं, ठगे गये हैं.