देहरादून: अटल आयुष्मान उत्तराखंड योजना की पहली वर्षगांठ के मौके पर सीएम आवास में कार्यक्रम का आयोजन किया गया. जिसमें मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की. इस दौरान उन्होंने कहा कि इस योजना से अभी तक एक लाख दस हजार से अधिक लोगों को लाभ मिल चुका है. वहीं, स्वास्थ्य विभाग का मानना है कि अटल आयुष्मान कार्ड बनाने की प्रक्रिया वर्तमान स्थिति में संतोषजनक नहीं है.
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. मीनाक्षी जोशी ने बताया कि अटल आयुष्मान योजना के तहत बनने वाले गोल्डन कार्ड 20 हजार से अधिक की संख्या पार कर चुके हैं. बीते पखवाड़े में बने हुए गोल्डन कार्ड की संख्या की स्थिति संतोषजनक नहीं है. लेकिन विभाग अपनी ओर से प्रयासरत है और जनता से अपील की जा रही है कि वे बड़ी संख्या में सामने आएं और अटल आयुष्मान योजना के तहत कार्ड अवश्य बनवाएं. उन्होंने कहा कि विभाग प्रयास कर रहा है कि सभी लोगों के कार्ड्स जल्द स जल्द बन सकें. जिसके लिए रूरल और अर्बन एरियाज में आशाओं द्वारा इस संबंध में लोगों को जागरूक किया जा रहा है साथ ही कैंप भी चलाए जा रहे हैं.
बता दें कि अटल आयुष्मान योजना के तहत बनने वाले गोल्डन कार्ड के लिए विभाग लगातार रेगुलर कैंप चला रहा है. इस दौरान विभाग ने बीते 17 दिसंबर से 24 दिसंबर तक 10 कैंप लगाए. इससे पहले बीते 25 नवंबर से 24 दिसंबर तक चलाए गए अभियान के तहत करीब 28,087 कार्ड बनाए गए. दरअसल, सरकार ने यह पॉलिसी बनाई है कि यदि मरीज प्राइवेट अस्पताल में इलाज कराता है तो उसे रेफरल स्लिप लेनी अनिवार्य है. लेकिन मरीज इमरजेंसी केस स्लिप से राहत दी गई है.
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गौर हो कि अटल आयुष्मान के तहत मरीज करीब 1,350 बीमारियों का इलाज करवा सकते हैं. देहरादून में इसके लिए 38 अस्पताल इंपैनल्ड किए गए हैं. जिसमें 14 पब्लिक और 24 प्राइवेट अस्पताल सूचीबद्ध हैं. साथ ही अटल आयुष्मान योजना के तहत गोल्डन कार्ड बनाने के लिए दून में 1,176 कॉमन सर्विस सेंटर हैं. कोई भी व्यक्ति अपने नजदीकी सेंटर में जाकर अपना गोल्डन कार्ड बनवा सकता है. आंकड़ों के अनुसार अभी तक सात लाख तैंतीस हजार कार्ड बनाए जा चुके हैं.