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पौराणिक रंभा नदी का अस्तिव खतरे में, पर्यावरण प्रेमियों ने मेयर से लगाई गुहार

रंभा नदी ऋषिकेश की पौराणिक नदी है. इस नदी का उल्लेख केदारखंड में पाया जाता है. इस रंभा नदी के उत्थान के लिए ऋषिकेश महापौर अनीता मंगाई को ज्ञापन सौंपा गया है. साथ ही उनसे रंभा नदी के उत्थान के लिए कोई ठोस कदम उठाए जाएं की मांग की गई है.

पौराणिक रंभा नदी का अस्तिव खतरे में.
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Published : Apr 23, 2019, 9:34 PM IST

ऋषिकेश: तीर्थनगरी में बहने वाली पौराणिक नदी रंभा के अस्तित्व को बचाने के लिए पर्यावरण प्रेमी आगे आए हैं. पर्यावरण प्रेमियों ने नगर निगम मेयर को रंभा नदी बचाने के लिए ज्ञापन दिया. साथ ही नदी का अस्तित्व खतरे में बताकर उसको बचाने के लिए ठोस कदम उठाए जाने की मांग की है.

सोमेश्वर नगर स्थित पौराणिक महादेव मंदिर सोमेश्वर महादेव के नीचे से रंभा नदी का उद्गम स्थल है. यहां से निकल कर रंभा नदी, वीरपुर खुर्द स्थित वीरभद्र महादेव के पास से होते हुए गंगा में मिलती है, लेकिन गंगा में मिलते समय इस नदी का पानी काफी दूषित हो जाता है. साथ ही इसके पानी से बदबू आनी शुरु हो जाती है. वहीं रंभा नदी के आसपास बसी बस्तियों में रहने वाले लोगों ने कई स्थानों पर अतिक्रमण कर लिया है तो कई लोग इस नदी में अपने घर का सीवर और कूड़ा करकट डालते हैं. जिस कारण यह नदी पूरी तरह से दूषित हो गई है.

पौराणिक रंभा नदी का अस्तिव खतरे में.

पर्यावरण प्रेमी विनोद जुगलान ने बताया कि रंभा नदी ऋषिकेश की पौराणिक नदी है. इस नदी का उल्लेख केदारखंड में पाया जाता है. साथ ही उन्होंने कहा कि इस रंभा नदी के उत्थान के लिए उन्होंने मंगलवार को ऋषिकेश महापौर अनीता मंगाई को ज्ञापन सौंपा है. साथ ही उनसे मांग करते हुए कहा कि रंभा नदी के उत्थान के लिए कोई ठोस कदम उठाए जाएं और रंभा नदी को पुराने स्वरूप में ही वापस लाने का प्रयास किया जाए. अब यह समय है कि रंभा नदी का संरक्षण बेहद ही आवश्यक हो चुका है.

ऋषिकेश: तीर्थनगरी में बहने वाली पौराणिक नदी रंभा के अस्तित्व को बचाने के लिए पर्यावरण प्रेमी आगे आए हैं. पर्यावरण प्रेमियों ने नगर निगम मेयर को रंभा नदी बचाने के लिए ज्ञापन दिया. साथ ही नदी का अस्तित्व खतरे में बताकर उसको बचाने के लिए ठोस कदम उठाए जाने की मांग की है.

सोमेश्वर नगर स्थित पौराणिक महादेव मंदिर सोमेश्वर महादेव के नीचे से रंभा नदी का उद्गम स्थल है. यहां से निकल कर रंभा नदी, वीरपुर खुर्द स्थित वीरभद्र महादेव के पास से होते हुए गंगा में मिलती है, लेकिन गंगा में मिलते समय इस नदी का पानी काफी दूषित हो जाता है. साथ ही इसके पानी से बदबू आनी शुरु हो जाती है. वहीं रंभा नदी के आसपास बसी बस्तियों में रहने वाले लोगों ने कई स्थानों पर अतिक्रमण कर लिया है तो कई लोग इस नदी में अपने घर का सीवर और कूड़ा करकट डालते हैं. जिस कारण यह नदी पूरी तरह से दूषित हो गई है.

पौराणिक रंभा नदी का अस्तिव खतरे में.

पर्यावरण प्रेमी विनोद जुगलान ने बताया कि रंभा नदी ऋषिकेश की पौराणिक नदी है. इस नदी का उल्लेख केदारखंड में पाया जाता है. साथ ही उन्होंने कहा कि इस रंभा नदी के उत्थान के लिए उन्होंने मंगलवार को ऋषिकेश महापौर अनीता मंगाई को ज्ञापन सौंपा है. साथ ही उनसे मांग करते हुए कहा कि रंभा नदी के उत्थान के लिए कोई ठोस कदम उठाए जाएं और रंभा नदी को पुराने स्वरूप में ही वापस लाने का प्रयास किया जाए. अब यह समय है कि रंभा नदी का संरक्षण बेहद ही आवश्यक हो चुका है.

Intro:ऋषिकेश-- ऋषिकेश में बहने वाली पौराणिक नदी रंभा के अस्तित्व को बचाने के लिए पर्यावरण प्रेमी आगे आए हैं उन्होंने नगर निगम ऋषिकेश में मेयर को रंभा नदी को बचाने के लिए ज्ञापन देते हुए मांग की है कि रंभा नदी का अस्तित्व खतरे में है इसको बचाने के लिए ठोस कदम उठाए जाएं।


Body:वी/ओ-- सोमेश्वर नगर स्थित पौराणिक महादेव मंदिर सोमेश्वर महादेव के नीचे से रंभा नदी का उद्गम होता है यहां से निकल कर रंभा राधे काले की ढाल शिवाजी नगर बीरपुर खुर्द स्थित वीरभद्र महादेव के पास से होते हुए गंगा में मिलती है लेकिन गंगा में मिलते मिलते इस नदी का पानी काफी दूषित हो जाता है और इस में से बदबू आनी शुरु हो जाती है रंभा नदी के आसपास बसी बस्तियों में रहने वाले लोगों ने कई स्थानों पर अतिक्रमण कर लिया है तो कई लोग इस नदी में अपने घर का सीवर और कूड़ा करकट डालते हैं जिस कारण यह नदी पूरी तरह से दूषित हो जाती है।


Conclusion:वी/ओ-- पर्यावरण प्रेमी विनोद जुगलान ने बताया कि रंभा नदी ऋषिकेश की पौराणिक नदी है इस नदी का उल्लेख केदारखंड में पाया जाता है उन्होंने कहा कि इस रंभा नदी के उत्थान के लिए उन्होंने आज ऋषिकेश महापौर अनीता मंगाई को ज्ञापन सौंपा है और उनसे मांग की गई है कि रंभा नदी के उत्थान के लिए कोई ठोस कदम उठाए जाएं और रंभा नदी को पुराने स्वरूप में ही वापस लाने का प्रयास किया जाए उन्होंने कहा कि अब यह समय है कि रंभा नदी का संरक्षण बेहद ही आवश्यक हो चुका है।

बाईट--विनोद जुगलान(पर्यावरण प्रेमी)
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