देहरादूनः उत्तराखंड के विद्युत कर्मचारियों को अब बिजली के दाम पहले से 50 फीसदी ज्यादा चुकाने होंगे. हाईकोर्ट में दायर याचिका के बाद ऊर्जा विभाग तीनों निगम के अधिकारियों और कर्मचारियों को मिलने वाली बिजली का मासिक शुल्क 50 फीसदी बढ़ाने की कवायद में जुट गया है. हालांकि, मामले में विद्युत कर्मचारियों की ओर से विरोध हो रहा है.
बता दें कि, उत्तराखंड विद्युत के तीनों निगमों में कार्यरत कर्मचारियों और अधिकारियों को अभी तक मुफ्त में बिजली मिलती थी. ऐसे में इस मामले के खिलाफ हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करने के बाद कोर्ट ने राज्य सरकार और विभाग से जवाब मांगा है. जिसके बाद देहरादून के कांवली रोड स्थित यूपीसीएल मुख्यालय में कर्मचारियों को मिलने वाली बिजली शुल्क को बढ़ाने की कवायद चल रही है.
ये भी पढ़ेंः ज्यादा बिजली बिल और खराब मीटर से लोग परेशान, कार्यायल से अधिकारी नदारद
जानकारी के मुताबिक, ऊर्जा निगम के निदेशक से लेकर चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी तक के लिए अलग-अलग यूनिट के हिसाब से शुल्क में बढ़ोतरी की गई है. क्लास वन अधिकारी को सालाना 15000 यूनिट जबकि, क्लास दो अधिकारी को 11000, क्लास 3 के कर्मचारी को 12000 और फोर्थ क्लास कर्मचारी को 11000 यूनिट प्रतिवर्ष बिजली देने का प्रस्ताव रखा गया है.
वहीं, तय सीमा से ज्यादा बिजली इस्तेमाल करने पर सभी अधिकारी और कर्मचारियों को प्रति यूनिट ₹3 के हिसाब से विद्युत भुगतान देना होगा. उधर, यूपीसीएल स्थित मुख्यालय में आला अधिकारियों ने कर्मचारी संगठन के साथ बैठक कर मंथन किया.