देहरादून: राजधानी देहरादून के प्रेस क्लब में डिप्लोमा फार्मासिस्ट एसोसिएशन का दसवां वार्षिक अधिवेशन हुआ. इसमें मुख्य अतिथि के रूप में देहरादून के सीएमओ डॉक्टर संजय जैन ने दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम की शुरुआत की. इस दौरान डिप्लोमा फार्मासिस्टों ने सीएमओ के समक्ष 9 सूत्रीय मांगों को रखा. उन्होंने मुख्य मांग उठाई उनके टीए-डीए के बिलों का भुगतान यथा शीघ्र किया जाए, नहीं तो फार्मासिस्ट चारधाम यात्रा में ड्यूटी बहिष्कार करेंगे.
एसोसिएशन की अध्यक्ष सुधा कुकरेती ने कहा जबसे प्रदेश में आईपीएचएस मानक लागू किए गए हैं, तब से प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में फार्मासिस्टों के पदों की भारी कमी हो गई है. उन्होंने कहा बड़े सरकारी अस्पतालों में फार्मासिस्ट को इमरजेंसी ड्यूटी करने में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. सुधा कुकरेती ने कहा चारधाम यात्रा शुरू होने जा रही है, यात्रा को देखते हुए फार्मासिस्टों की भी ड्यूटियां लगाई गई हैं. ऐसे में हमने सीएमओ को एक पत्र प्रेषित किया था, जिसमें यात्रा शुरू होने से पदों में बढ़ोतरी की मांग की गई. अगर ऐसा नहीं होता है तो फार्मासिस्ट यात्रा ड्यूटी का बहिष्कार करेंगे.
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एसोसिएशन ने मांग उठाई है कि देहरादून में अक्सर वीआईपी और वीवीआईपी ड्यूटी अधिक होती है इसलिए या तो वीआईपी वीवीआईपी ड्यूटी के लिए अतिरिक्त फार्मासिस्टों की व्यवस्था की जाए या फिर जिले में कार्य की अधिकता को देखते हुए जिले के फार्मासिस्टों को चारधाम ड्यूटी से मुक्त रखा जाए. इसके अलावा सब सेंटर के फार्मासिस्ट जो लंबे समय से दुर्गम क्षेत्रों में अपनी सेवाएं दे रहे हैं, उनको विकल्प के आधार पर शहर के बड़े अस्पतालों में समायोजित किया जाए. एक अन्य मांग को लेकर एसोसिएशन का कहना है कि देहरादून के मुख्य चिकित्सा अधिकारी से यह मांग भी रखी गई है कि अस्पतालों में फार्मासिस्ट की संबद्धता यथावत रखी जाए, जिससे अस्पताल का कार्य प्रभावित न हो.