देहरादून: देश में पेट्रोल-डीजल की लगातार बढ़ती कीमतों से हर कोई परेशान है. आम से लेकर खास हर कोई बढ़ते दामों से प्रभावित हो रहा है. पेट्रोल-डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी के बाद खाने-पीने की चीजों से लेकर लगभग हर वस्तुओं के दामों में इजाफा हुआ है. जिसकी मुख्य वजह पेट्रोलियम के दाम बढ़ने से ट्रांसपोर्टेशन का बढ़ा खर्च है. पेट्रोलियम की कीमतें बढ़ने से जहां एक ओर आम जनता पर महंगाई का बोझ बढ़ रहा है.
वहीं, घर-घर तक खाने पीने की चीजें और अन्य ऑनलाइन सामानों को पहुंचाने वाले डिलीवरी ब्वॉय भी इससे अछूते नहीं हैं. लोगों के घरों तक खाद्य सामग्री व अन्य वस्तुओं पहुंचाने वाले डिलीवरी ब्वॉय इन दिनों अपने सबसे बुरे दौर से गुजर रहे हैं. जिसके मुख्य वजह पेट्रोल-डीजल की बढ़ी कीमतें हैं. आखिर किस तरह से पेट्रोलियम की बढ़ी कीमतें डिलीवरी ब्वॉयज के काम पर असर डाल रही हैं, आइये जानते हैं.
किसी भी वस्तु के दाम के बढ़ने और घटने के तमाम कारण होते हैं, इन्हीं कारणों में एक कारण पेट्रोलियम की कीमतें भी हैं, जो वस्तु के दाम को बढ़ा-घटा सकती हैं. एक स्थान से दूसरे स्थान तक किसी भी सामान को ले जाने के लिए वाहनों का प्रयोग किया जाता है और इन वाहनों में इस्तेमाल होने वाले पेट्रोलियम की कीमतें ही ट्रांसपोर्टेशन की दरों को तय करती हैं.
अगर पेट्रोलियम पदार्थों की कीमत महंगी होगी तो ट्रांसपोर्टेशन का खर्च अधिक होगा. जिससे सीधे तौर पर इसका असर संबंधित वस्तु के दाम पर पड़ेगा. अगर इसकी कीमत कम होती है तो ढ़ुलाई या ट्रांसपोर्टेशन में लागत कम होगी, जिससे लोगों को भी फायदा मिलेगा. मगर इन दिनों पेट्रोल-डीजल की बढ़ी कीमतों ने गली मोहल्ले से लेकर बाजार तक का बजट बिगाड़ कर रख दिया है.
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जी हां, पेट्रोल और डीजल के दाम बढ़ गए हैं, जिससे बाजार में मिलने वाली तमाम वस्तुओं के दाम भी बढ़ा दिये गए हैं, लेकिन ऑनलाइन मिलने वाली खाद्य सामग्री व अन्य वस्तु के दामों में अभी फिलहाल कोई बढ़ोतरी नहीं देखी गई है. जिससे लोग आनलाइन डिलीवरी पर ज्यादा भरोसा कर रहे हैं. मगर पेट्रोल-डीजल की बढ़ी कीमतों का सीधा असर डिलीवरी ब्वॉयज की रोजमर्रा की जिंदगी पर पड़ रहा है. किसी भी सामान की डिलीवरी करने के लिए पहले डिलीवरी ब्वॉय को 30 रुपए प्रति आर्डर बचता था, वहीं, अब पेट्रोल की कीमतें बढ़ने के बाद इनकी बचत कम हो गई है, क्योंकि जितना पहले मिलता था, अब वो पेट्रोल भराने में ही निकल जाता है. जिसके कारण डिलीवरी ब्वॉयज इस काम से दूरी बना रहे हैं.
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ईटीवी भारत से बातचीत के दौरान खाद्य सामग्री वितरण करने वाले डिलीवरी ब्वॉय ने बताया कि डीजल-पेट्रोल के दाम बढ़ने की वजह से काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. जहां पहले प्रति ऑर्डर पर करीब 30 रुपए बच जाते थे, अब डीजल- पेट्रोल के दाम बढ़ने की वजह से समस्याएं बढ़ गई हैं, क्योंकि अब एक आर्डर पर ₹30 भी नहीं बच पाते.
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वहीं, अन्य सामान डिलीवरी करने वाले डिलीवरी ब्वॉय ने बताया कि वर्तमान समय में डीजल पेट्रोल के दाम ₹100 रुपये तक पहुंच गए हैं. जिसके चलते उन्हें तमाम तरह की समस्याएं हो रही हैं. डिलीवरी ब्वॉय ने बताया कि लॉकडाउन में उनका व्यवसाय ठप हो गया, जिसकी वजह से उन्होंने डिलीवरी का काम शुरू किया. मगर यह काम भी बस जैसे तैसे चल ही रहा है. डिलीवरी ब्वॉय के अनुसार पहले एक डिलीवरी पर 10 से 12 रुपये बचते थे. अब पेट्रोलियम पदार्थों के कीमत बढ़ने के बाद कुछ भी नहीं बच पाता.
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डिलीवरी बॉयज का कहना है कि आजकल पेट्रोल या डीजल पर बहुत ज्यादा खर्चा होने लगा है. बचत का एक बड़ा हिस्सा इसमें खर्च हो जाता है. जिसके कारण उनका बजट पूरी तरह बिगड़ गया है. हालात ये हैं कि अब उनके सामने घर और जेब खर्च चलाने की भी परेशानियां खड़ी होने लगी हैं.
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बढ़ते पेट्रोल की कीमतों के पीछे कारण चाहे जो भी हो, लेकिन इसकी वजह से कहीं न कहीं डिलीवरी बॉयज के घर का बजट जरूर बिगड़ गया है. वर्तमान परिस्थितियों को देखते हुए उनके हालातों में सुधार का कोई रास्ता भी नजर नहीं आ रहा है. ऐसे में इन डिलीवरी ब्वॉय की मुश्किलें दिनोंदिन बढ़ती जा रही हैं. अब देखना है कि उनकी मुश्किलों का समाधान कब तक होता है.